चम्पावत में बेमियादी कार्य बहिष्कार पर आशा वर्कर
विभिन्न मांगों को लेकर लंबे समय से आंदोलनरत आशा वर्कर्स की बेमियादी हड़ताल चम्पावत जिले में शुरू हो गई है।
संवाद सहयोगी, लोहाघाट/चम्पावत : विभिन्न मांगों को लेकर लंबे समय से आंदोलनरत आशा वर्कर्स ने अनिश्चितकालीन कार्य बहिष्कार शुरू कर दिया है। सोमवार को उन्होंने जिला मुख्यालय समेत तहसील मुख्यालयों में धरना प्रदर्शन कर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। उन्होंने सरकार पर आशा कार्यकर्ताओं की अनदेखी का आरोप लगाया। कहा कि बार-बार आंदोलन के बाद भी उनकी आवाज की अनदेखी की जा रही है।
कलक्ट्रेट में ब्लॉक अध्यक्ष रुक्मणी जोशी एवं जिला उपाध्यक्ष हेमा जोशी के नेतृत्व में आशाओं ने प्रदर्शन किया। वक्ताओं ने कहा कि सरकार आशा कार्यकर्ताओं के प्रति दोहरा रवैया अपना रही है। जबकि आशाएं तन्मयता के साथ अपनी ड्यूटी कर रही हैं। उन्होंने 12 सूत्रीय मांगें पूरी होने तक आंदोलन जारी रखने का एलान किया। इस मौके पर पुष्पा बिष्ट, लक्ष्मी पांडेय, मीरा पंत, संगीता, उमा जोशी आदि मौजूद रहीं। एसडीएम कार्यालय परिसर लोहाघाट में आशा संगठन की जिलाध्यक्ष सरस्वती पुनेठा के नेतृत्व में कार्यकर्ताओं ने सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया। इस दौरान आशा वर्करों को सरकारी सेवक का दर्जा और न्यूनतम मानदेय 21 हजार करने, नियमित कर्मचारी का दर्जा देने, सेवानिवृत्त होने पर पेंशन का प्रावधान करने, कोविड कार्य में लगी सभी आशा वर्कर्स को दस हजार मासिक वेतन भत्ता भुगतान करने, पचास लाख का जीवन बीमा और दस लाख का स्वास्थ्य बीमा लागू करने, कोरोना ड्यूटी में मृत आशा वर्करों के आश्रितों को पचास लाख का बीमा और चार लाख का अनुग्रह अनुदान भुगतान करने समेत 12 सूत्रीय मांगों को प्रमुखता से रखा गया। प्रदर्शन में रीता सिंह, पदमा प्रथोली, रेखा पुजारी, चम्पा राय, रीना सिंह, कौशल्या पांडेय, हेमा जोशी, पार्वती देवी, पुष्पा बोहरा, चम्पा पांडेय आदि मौजूद रहे। चम्पावत, टनकपुर और बनबसा में भी आर्शा वर्करों ने सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया। कहा कि जब तक मांगें पूरी नहीं होती कार्यबहिष्कार जारी रहेगा। पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष हिमेश कलखुड़िया व सामाजिक कार्यकर्ता राजू पुनेठा ने लोहाघाट एसडीएम कोर्ट परिसर पहुंचकर आशा वर्करों के आंदोलन को समर्थन दिया। कहा कि आशाओं की मांग पूरी तरह जायज हैं। सरकार को इस दिशा में शीघ्र जरूरी कदम उठाने चाहिए।