बागेश्वर में ऑक्सीजन सिलिडरों के भरोसे कोविड हेल्थ सेंटर, प्लांट का पता नहीं

बागेश्वर में ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट नहीं होने से बढ़ते कोविड संक्रमितों की दिक्कतें बढ़ सकती हैं।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 21 Apr 2021 03:22 PM (IST) Updated:Wed, 21 Apr 2021 03:22 PM (IST)
बागेश्वर में ऑक्सीजन सिलिडरों के भरोसे कोविड हेल्थ सेंटर, प्लांट का पता नहीं
बागेश्वर में ऑक्सीजन सिलिडरों के भरोसे कोविड हेल्थ सेंटर, प्लांट का पता नहीं

जागरण संवाददाता, बागेश्वर: ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट नहीं होने से बढ़ते कोविड संक्रमितों की दिक्कतें बढ़ सकती है। जिला कोविड हेल्थ केयर व कोविड केयर सेंटर ऑक्सीजन सिलिडरों के भरोसे ही चल रह है। एक करोड़ 14 लाख से प्रस्तावित ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट पैसों के कारण नहीं बन रहा है। गंभीर संक्रमितों को रेफर ही किया जा रहा है।

एक साल बाद भी शासन-प्रशासन की कोविड-19 महामारी को लेकर तैयारी अधूरी ही दिखाई दे रही है। जिले में वर्तमान में एक 26 बिस्तरों का जिला कोविड हेल्थ केयर सेंटर और 50 बेडों का डिग्री कालेज में कोविड केयर सेंटर खोला गया है। जहां पर कोरोना के संक्रमित मरीजों को रखा जा रहा है। जिला अस्पताल के पास स्थित डीसीएचसी कोविड अस्पताल में दो वेंटिलेटर है। जरूरत पड़ने पर यह वेंटिलेटर जंबो ऑक्सीजन सिलेंडर से चलाए जाते हैं। ऐसे ही प्रत्येक बेड में ऑक्सीजन की सप्लाई की जाती है। इसके अलावा 50 बेड के कोविड केयर सेंटर में ऑक्सीजन सिलिडरों की व्यवस्था की गई है। स्वास्थ्य महकमे का दावा है कि वर्तमान में पर्याप्त ऑक्सीजन सिलिडरों की व्यवस्था है। गंभीर मरीजों के लिए नहीं है व्यवस्था

महामारी के एक साल बाद भी जिले में गंभीर संक्रमित मरीजों के इलाज के लिए कोई व्यवस्था नही है। मुख्यालय में संक्रमितों के इलाज के लिए डेडिकेटेड कोविड हास्पिटल नहीं है। डीसीएच सुशीला तिवारी अस्पताल हल्द्वानी है। इसी कारण गंभीर संक्रमित रोगियों को वहीं भेजा जा रहा है। छह घंटे में पहुंचते है हल्द्वानी

अगर किसी गंभीर मरीज को रेफर किया जाता है तो उसे हल्द्वानी स्थित सुशीला तिवारी अस्तपाल भेजा जाता है। यहां पहुंचने में छह घंटे लगते है। इसके लिए स्वास्थ्य महकमे के पास आठ एंबुलेंस हैं। एक हजार बेड के लिए जगह चिहित

जिलाधिकारी विनीत कुमार ने बताया कि अभी पांच करोड़ की धनराशि है। जिससे इस महामारी से निपटने के लिए काम में प्रयोग में लाया जाएगा। जिले में एक हजार बेड की अतिरिक्त व्यवस्था की जा रही है। जगह चिहित कर ली गई है। वैक्सीन उपलब्ध नहीं

स्वास्थ्य महकमे को अभी तक रेमिडेसिविर दवाई उपलब्ध नहीं हुई है। डिमांड दी है। अब दवा आने का इंतजार किया जा रहा है।

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