पानी को तरसी तीन गांवों की साढ़े तीन हजार की आबादी

पेयजल संकट झेल रहे माट मटेना व गधोली के बाशिंदों का धैर्य अब जवाब देने लगा है। पिछले दो माह से लगातार आवाज बुलंद करने के बावजूद विभागीय स्तर पर सुचारू जलापूर्ति को ठोस कदम न उठाए गए तो पंचायत प्रतिनिधियों ने जिला मुख्यालय कूच कर कार्यालय घेराव का एलान किया है।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 09 Oct 2021 06:07 PM (IST) Updated:Sat, 09 Oct 2021 06:07 PM (IST)
पानी को तरसी तीन गांवों की साढ़े तीन हजार की आबादी
पानी को तरसी तीन गांवों की साढ़े तीन हजार की आबादी

संस, अल्मोड़ा : पेयजल संकट झेल रहे माट, मटेना व गधोली के बाशिंदों का धैर्य अब जवाब देने लगा है। पिछले दो माह से लगातार आवाज बुलंद करने के बावजूद विभागीय स्तर पर सुचारू जलापूर्ति को ठोस कदम न उठाए गए तो पंचायत प्रतिनिधियों ने जिला मुख्यालय कूच कर कार्यालय घेराव का एलान किया है। इधर जलापूर्ति ठप होने से क्षेत्र की साढ़े तीन हजार की आबादी बूंद-बूंद को तरसने लगी है। गांव वालों ने बताया कि बारिश थमने से जलस्रोतों का पानी कम होने से किल्लत और बढ़ गई है।

कोसी कसारदेवी पंपिंग पेयजल योजना हवालबाग ब्लाक के सुदूर गांवों को मुंह चिढ़ा रही है। आलम यह है कि बीते 12 वर्षो से विभाग सब्जी उत्पादक बेल्ट माट, मटेना व गधोली गांव के लिए सुचारू जलापूर्ति का पुख्ता बंदोबस्त नहीं कर सका है। पहले इन क्षेत्रों को रुक-रुक कर ही सही, पानी पहुंचता था। मगर बीते दो माह से नलों से बूंद तक नहीं टपक रही।

ग्राम प्रधान गधोली अर्जुन सिंह मुस्यूनी ने बताया कि पेयजल योजना से कसारदेवी जलाशय तक तो पानी की आपूर्ति हो रही है। इससे आगे टीकमगढ़ सप्लाई टैंक तक पेयजल नहीं पहुंचने से संकट बढ़ गया है। उन्होंने कहा कि जनदबाव में विभागीय टीम स्थलीय निरीक्षण कर गई लेकिन अब तक समस्या का स्थायी समाधान देने के बजाय आश्वासन ही दिए जा रहे हैं। उधर ईई जल संस्थान केएस खाती ने कहा कि समस्या जल्द दूर कर ली जाएगी। खामी छिपाने को जर्जर बता दी लाइन

ग्राम प्रधान अर्जुन सिंह ने आरोप लगाया कि टीकमगढ़ टैंक तक जलापूर्ति करने वाली पाइपलाइन में कोई कमी नहीं है। मगर विभागीय अधिकारी उसे खस्ताहाल बता पल्ला झाड़ रहे। बेपानी कनेक्शन का बिल पूरा

मटेना की प्रधान गुड्डी बिष्ट के अनुसार तीनों गांवों को अरसे से पानी तो नहीं मिला लेकिन विभाग बिल समय से पहुंचा रहा। बगैर पानी के भारीभरकम बिल पहुंचने से नाराज पंचायत प्रतिनिधियों ने इसे घपला करार देते हुए उच्चस्तरीय जांच की मांग उठाई है। विभागीय लापरवाही से पानी नहीं मिल रहा है। शिकायत कर थक गए हैं। अब और बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। जल्द पेयजल संकट दूर न किया गया तो विभाग के खिलाफ जिला मुख्यालय में धरना प्रदर्शन करेंगे। जरूरत पड़ी तो जल संस्थान कार्यालय में तालाबंदी भी करेंगे।

- ममता मेहरा, ग्राम प्रधान, माट

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