मरचूला महोत्सव में आकर्षण रहेंगे साहसिक खेल
पर्यटन गतिविधियों को बढ़ावा देने तथा पहाड़ से पलायन रोकने के मकसद से मरचूला में दूसरे मरचूला महोत्सव की तैयारी पूरी कर ली गई है।
संवाद सहयोगी, मानिला (अल्मोड़ा): पर्यटन गतिविधियों को बढ़ावा देने तथा पहाड़ से पलायन रोकने के मकसद से मरचूला में दूसरे मरचूला महोत्सव की तैयारी पूरी कर ली गई है। शुक्रमवार से शुरू होने जा रहे पांच दिनी महोत्सव में मुख्य रूप से साहसिक पर्यटन से जुड़े कार्यक्रमों का आयोजन खास आकर्षण रहेगा। इसका मकसद से क्षेत्र में देश दुनिया के पर्यटन मानचित्र में नई पहचान दिलाना है।
सल्ट विकासखंड के टूरिस्ट स्पाट मरचूला में हालिया इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल 'कौतिक' के बाद अब शुक्रवार से मरचूला महोत्सव का श्रीगणेश होगा। गुरुवार को तैयारी को अंतिम रूप दे दिया गया। महोत्सव का शुभारंभ जिला प्रभारी एवं उच्च शिक्षा राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डा. धन सिंह रावत करेंगे। तहसीलदार दिलीप सिंह के अनुसार डा. रावत हेलीकाप्टर से प्रात: 10:30 बजे जीआइसी देवायल स्थित हेलीपैड पर उतरेंगे। यहां से कार के जरिये मरचूला पहुंचेंगे, जहां 11 बजे महोत्सव का शुभारंभ बाइक रैली को हरी झंडी दिखा कर करेंगे। दिन में 12.30 बजे वह वापस देहरादून लौट जाएंगे।
तहसीलदार ने बताया कि महोत्सव में प्रत्येक दिन हाट एयर बैलून राइड, राक क्लाइंबिंग, जंबरिग, वाटर रोलर, फ्लाइंग फाक्स, क्लिक जंपिंग, जिप लाइन, क्याकिंग, वाटर मेडिटेशन, विंड ट्रेनिंग, पैरासेलिंग डेमोस्ट्रेशन आदि साहसिक पर्यटन से जुड़े खेल प्रमुख आकर्षण रहेंगे। महोत्सव में विधायक लैंसडाउन महंत दिलीप सिंह तथा पौड़ी के विधायक मुकेश सिंह विशेष आमंत्रित अतिथि रहेंगे।
इधर, अल्मोड़ा में कोसी कटारमल में उत्तर भारत के एकमात्र ऐतिहासिक सूर्य मंदिर में पूस के अंतिम रविवार को हरेक वर्ष की भांति इस बार भी मेला लगेगा। मगर सादगी के साथ। सूर्यदेव की विशेष उपासना से जुडे़ इस अनूठे सूर्य महोत्सव पर हालांकि इस दफा वैश्विक महासंकट कोरोना का असर भी दिखाई दे रहा है। महामारी के कारण अबकी ज्यादा भीड़ नहीं जुटने दी जाएगी। ग्राम प्रधान बलवीर सिंह बिष्ट के मुताबिक 10 जनवरी को होने वाले धार्मिक आयोजन में बहुत कम संख्या में लोगों को प्रवेश दिया जाएगा। उसमें भी शारीरिक दूरी, मास्क व सैनिटाइजर अनिवार्य किया गया है। भंडारा नहीं लगेगा। कोरा प्रसाद ही बांटा जाएगा।