पांडवखोली में लगेगा आस्था का मेला

अज्ञातवास में पांडवों की शरणस्थली रही पांडवखोली में महंत बलवंत गिरि महाराज की पुण्यतिथि पर लगने वाले मेले की तैयारी शुरू हो गई है। दिसंबर दूसरे पखवाड़े में होने वाले कार्यक्रम को भव्य स्वरूप देने के लिए पर्यटन समेत अन्य सांस्कृतिक गतिविधियों का खाका तैयार कर लिया गया है।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 04 Dec 2021 05:30 PM (IST) Updated:Sat, 04 Dec 2021 05:30 PM (IST)
पांडवखोली में लगेगा आस्था का मेला
पांडवखोली में लगेगा आस्था का मेला

संवाद सहयोगी, रानीखेत: अज्ञातवास में पांडवों की शरणस्थली रही पांडवखोली में महंत बलवंत गिरि महाराज की पुण्यतिथि पर लगने वाले मेले की तैयारी शुरू हो गई है। दिसंबर दूसरे पखवाड़े में होने वाले कार्यक्रम को भव्य स्वरूप देने के लिए पर्यटन समेत अन्य सांस्कृतिक गतिविधियों का खाका तैयार कर लिया गया है। स्वर्गपुरी आश्रम के साथ ही भीम की गुदड़ी (रजाईनुमा ओढ़नी), आसपास के मैदान को विभिन्न खेल आयोजनों व अखाड़े के लिये तैयार किया जा रहा है। वहीं पांडु पुत्रों की विशेष पूजा अर्चना के लिए पाषाण प्रतिमाओं को रंगरोगन से संवारने का काम शुरू कर दिया है।

पौराणिक द्वारिका की ऊंची चोटियों में शुमार तथा शक्तिपीठ मां दूनागिरी के धाम से करीब सात किमी दूर द्वापरयुगीन पांडवखोली में चहल पहल शुरू हो गई है। 14 दिसंबर को स्वर्गपुरी महत बलवंतगिरि महाराज की 28वीं पुण्यतिथि पर भंडारा लगेगा। सांस्कृतिक विरासत को संजोए इस धार्मिक मेले में पर्यटन विकास के लिए साहसिक कार्यक्रम भी होंगे। पथ भ्रमण संघ (रानीखेत) के कार सेवकों ने उत्सव की तैयारी तेज कर दी है। ऐतिहासिक मैदान के साथ ही हिमदर्शन तथा योगाभ्यास को बने हवाई टावर को भी आकर्षक ढंग से सजाया जा रहा है। संघ अध्यक्ष हरीश लाल साह के अनुसार महंत बलवंतगिरि महाराज की पुण्यतिथि पर भंडारे के साथ ही विभिन्न खेल प्रतियोगिताओं के अलावा सांस्कृतिक कार्यक्रम भी होंगे। बताया कि 13 दिसंबर को गणेश पूजा, रुद्रीपाठ के बाद रात्रि आठ बजे से भजन कीर्तन तथा 14 को हवन, पूर्णाहुति, भंडारा के साथ महिलाओं व बच्चों की खेल प्रतियोगिताएं होंगी। उन्होंने भक्तों से भंडारे का प्रसाद ग्रहण कर पुण्य लाभ लेने का आह्वान किया है।

chat bot
आपका साथी