Varanasi Zilla Panchayat Chunav Result 2021 : अधिकृत जीते सात, समर्थन के दम पर 16 प्लस भाजपा का दावा

जिला पंचायत सदस्य की सीटों पर जीत को लेकर मंगलवार को देर रात तक आंकड़ा बदलता रहा है। शेयर बाजार के सूचकांक की तरह ही प्रत्याशियों की जीत के आधार पर दलों के दावे की संख्या में उतार-चढ़ाव होता रहा। सबसे अधिक अनिश्चितता का माहौल भाजपा में था।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Publish:Wed, 05 May 2021 07:40 AM (IST) Updated:Wed, 05 May 2021 11:28 AM (IST)
Varanasi Zilla Panchayat Chunav Result 2021 : अधिकृत जीते सात, समर्थन के दम पर 16 प्लस भाजपा का दावा
वाराणसी के भाजपा जिलाध्यक्ष हंसराज विश्वकर्मा ने यह दावा जरूर किया कि उनकी संख्या 16 प्लस हो गई है।

वाराणसी, जेएनएन। Varanasi Zilla Panchayat Chunav Result 2021 :पंचायत चुनाव में जिला पंचायत सदस्य की सीटों पर जीत को लेकर मंगलवार को देर रात तक आंकड़ा बदलता रहा है। शेयर बाजार के सूचकांक की तरह ही प्रत्याशियों की जीत के आधार पर दलों के दावे की संख्या में उतार-चढ़ाव होता रहा। सबसे अधिक अनिश्चितता का माहौल भाजपा में था। अधिकृत प्रत्याशियों की जीत की संख्या एक दिन पहले ही स्पष्ट हो चुकी थी। हालांकि, भाजपा की ओर से अधिकारिक तौर सूची नहीं जारी की गई। मंगलवार को भी देर रात तक भाजपा ने सूची नहीं जारी की। हालांकि जिलाध्यक्ष हंसराज विश्वकर्मा ने यह दावा जरूर किया कि उनकी संख्या 16 प्लस हो गई है।

खास यह कि इसमें अधिकृत व समर्थित दोनों शामिल हैं। अधिकृत प्रत्याशियों की संख्या स्पष्ट करने से उन्होंने इंकार किया। कहा कि, अब पूरा जोर जिला पंचायत की सरकार बनाने में है जो भाजपा बना रही है। सरकार बनाने के लिए 21 सदस्यों के समर्थन की जरूरत है। इसआंकड़े को भाजपा पार कर रही है

वहीं, सपा के अधिकृत 12 प्रत्याशियों ने जीत हासिल की तो तीन बागी प्रत्याशियों को भी सपा अपने खेमे में मानते हुए 15 प्रत्याशियों की जीत का दावा कर रही है। वहीं, री-काउंटिंग में बसपा के एक और प्रत्याशी ने जीत हासिल की जिसे लेकर उसके पास जिला पंचायत सदस्यों की संख्या चार हो गई।

जिला पंचायत सदस्य की सीटों पर अधिकृत प्रत्याशियों की उम्मीद से कम जीत को लेकर भाजपा में आकलन शुरू हो गया है। प्रदेश में संगठन ने यह पहली बार प्रयोग किया था कि इन सीटों पर अधिकृत प्रत्याशियों को उतारने का निर्णय लिया था। इसलिए आकलन भी बारीकी से होने लगी है। प्रारंभिक आकलन में अपना दल से अधिक नुकसान बताया जा रहा है। इसकी वजह प्रत्याशियों के चयन में जातिगत समीकरणों का आकलन ठीक से नहीं करना रहा है। जिले में कुर्मी मतदाताओं की संख्या अधिक है। इसे देखते हुए भाजपा व अपना दल दोनों ने ज्यादातर इस जाति पर दांव अधिक खेला है। चुनाव मैदान में दोनों पार्टियों के अलग-अलग उतरने से सपा को इसलिए फायदा हुआ क्योंकि उसने अपने बेस वोट यादव जाति पर अधिक भरोसा करते हुए अधिकतर सीटों पर इस जाति को टिकट दिया।

वर्ष 2015 में भाजपा को मिली थीं नौ सीटें

वर्ष 2015 में भाजपा को नौ सीटों पर जीत मिली थी तब सपा की सरकार थी। इस बार के परिणाम में भाजपा के अधिकृत प्रत्याशियों की बात करें तो चार ब्लाक में एक भी सीट नहीं मिली। इसमें चिरईगांव, हरहुआ, बड़ागांव और आराजी लाइन ब्लाक शामिल है। भाजपा ने चोलापुर ब्लाक में सबसे बेहतरीन प्रदर्शन किया। पांच सेक्टर में तीन सीट पर बाजी मारी। इसके बाद पिंडरा ब्लाक है जहां पर दो प्रत्याशी जीते। सेवापुरी व काशी विद्यापीठ ब्लाक में एक-एक प्रत्याशी ने जीत हासिल की।

भाजपा के जीते अधिकृत प्रत्याशी

-चोलापुर सेक्टर दो से अंजनी नंदन पांडेय

-चोलापुर सेक्टर चार से राजेश सिंह

-चोलापुर सेक्टर पांच से सरोजा देवी

-पिंडरा सेक्टर छह से अरुण सिंह बिन्नी

-पिंडरा सेंटर दो से गौमत सिंह

-सेवापुरी सेक्टर दो से इंदू सिंह

-काशी विद्यापीठ ब्लाक सेक्टर एक से सरिता प्रजापति

विधायकों का नहीं चला प्रभाव

जिला पंचायत सदस्य पदों पर जीत के लिए विधायकों का प्रभाव नहीं चला। अंदाजा इससे ही लगाया जा सकता है कि जिस सेक्टर में सुरेंद्र नारायण सिंह का आवास आता है उसमें भाजपा की अधिकृत प्रत्याशी 11 वें स्थान पर रहीं। इस सीट पर निर्दल प्रत्याशी पूनम मौर्या ने बाजी मारी जिसको 9854 मत मिले। दूसरे नंबर पर अपना दल एस की सुनीता सिंह पटेल थीं जिनको 5309 मत मिले। वहीं, भाजपा प्रत्याशी सरोज सिंह को महज 547 मत मिले। इसी प्रकार जिस बड़ागांव के सेक्टर दो में विधायक अवधेश सिंह का कार्यालय है उसमें भाजपा प्रत्याशी शशिकला पटेल को करारी हार मिली है। अपना दल एस की बागी प्रत्याशी पूजा वर्मा ने जीत हासिल की है। भाजपा प्रत्याशी शशिकला पटेल पूर्व चेयरमैन जिला पंचायत संकठा पटेल की पत्नी हैं। इसी प्रकार जिस हरहुआ ब्लाक के सेक्टर नंबर में कैबिनेट मंत्री अनिल राजभर का कार्यालय है उसमें भाजपा प्रत्याशी प्रकाश राजभर को भी हार का सामना करना पड़ा है। खास यह कि प्रकाश राजभर मंडल अध्यक्ष लमही भी हैं। इससे पहले के चुनाव में भी वे हार गए थे।

भाजपा ने पांच सीटों पर की री-काउंटिंग की मांग जिलाध्यक्ष हंसराज विश्वकर्मा ने पांच सीटों पर री-काउंटिंग की मांग की है। हरहुआ सेक्टर दो, सेवापुरी सेक्टर पांच व सात, आराजी लाइन सेक्टर छह समेत कई प्रत्याशियों ने मतगणना पर सवाल उठाते हुए संगठन से री-काउंटिंग की गुहार लगाई थी। इसे जिला इकाई ने गंभीरता से लेते हुए जिलाधिकारी से मांग की है।

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