कोहरे की चादर ने पसारे अंचलों से शहर तक पांव, वाराणसी में पारा 15 डिग्री से भी कम
दूसरे पखवारे से तापमान में कमी आने के साथ ही कोहरा भी सघन होगा और बादलों की भी सक्रियता का दौर हो सकता है। माना जा रहा है कि पश्चिमी विक्षोभ का असर भी पूर्वांचल तक माह भर में नजर आने लगेगा। इसके बाद गलन का दौर स्थाई हो जाएगा।
वाराणसी, जागरण संवाददाता। पूर्वांचल में मौसम का रुख बदला हुआ है, गुलाबी ठंड के बाद अब मौसम पूरी तरह ठंड की ओर हो चला है। मौसम विज्ञानी मान रहे हैं कि आने वाले दिनों में मौसम का रुख और भी ठंड की ओर होगा। मौसम विभाग के सैटेलाइट तस्वीरों में पूर्वांचल में आसमान जहां पूरी तरह साफ है वहीं पहाड़ों पर ठंडक का असर उत्तर भारत में होने का अंदेशा जल्द ही जताया है। अब दूसरे पखवारे से तापमान में और कमी आने के साथ ही कोहरा भी सघन होगा और बादलों की भी सक्रियता का दौर हो सकता है। माना जा रहा है कि पश्चिमी विक्षोभ का असर भी पूर्वांचल तक माह भर में नजर आने लगेगा। इसके बाद गलन का दौर स्थाई हो जाएगा।
सोमवार की सुबह पूर्वांचल कोहरे की चादर में लिपटा रहा, वातावरण में गलन का भी असर सुबह नजर आया। सुबह सात बजे तक कोहरे की चादर में अंचल और शहर का काफी हिस्सा लिपटा नजर आया। दिन चढ़ा तो सात बजे के बाद आसमान में सूरज की रोशनी की वजह से कोहरा भी छंटने लगा और नौ बजे तक आसमान पूरी तरह से साफ हो गया। जबकि पारा सीजन में पहली बार 15 डिग्री के नीचे और अधिकतम पारा भी तीस डिग्री के नीचे आया है। इसकी वजह से अब वातारण में ठंडक और गलन का असर नजर आने लगेगा।
बीते चौबीस घंटों में अधिकतम तापमान 29.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया जो सामान्य से दो डिग्री कम रहा। न्यूनतम तापमान 13.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया जो सामान्य से दो डिग्री कम रहा। आर्द्रता अधिकतम 80 फीसद और न्यूनतम 59 फीसद दर्ज की गई। मौसम विज्ञान विभाग की ओर से अगले दो दिनों तक कोहरे का अंदेशा जताया गया है। मौसम विभाग ने इस सप्ताह तापमान में उतार चढ़ाव का संकेत दिया है। इस लिहाज से पूरे सप्ताह तापमान में एकरसता नहीं मिलेगी। वहीं सप्ताह के अंत तक अधिकतम तापमान तीस डिग्री से पूरी तरह कम होने की उम्मीद जताई है।