वाराणसी में बाहर से आने वालों पर विशेष नजर, निगरानी समिति की रिपोर्ट पर भी हो सकती है कार्रवाई

बाहर से आने वाले श्रमिकों समेत अन्य लोगों की एयरपोर्ट रेलवे स्टेशन रोडवेज बस स्टैंड और जनपद में प्रवेश करने वाले मार्गों पर बनाए गए बैरियर पर थर्मल स्कैनिंग कराई जाए। उनका नाम पता मोबाइल नंबर एक रजिस्टर में दर्ज कर होम क्वारंटाइन रहने को कहा जाए।

By Abhishek SharmaEdited By: Publish:Thu, 15 Apr 2021 11:23 AM (IST) Updated:Thu, 15 Apr 2021 11:23 AM (IST)
वाराणसी में बाहर से आने वालों पर विशेष नजर, निगरानी समिति की रिपोर्ट पर भी हो सकती है कार्रवाई
बाहर से आने वालों की डिटेल दर्ज कर होम क्वारंटाइन रहने को कहा गया है।

वाराणसी, जेएनएन। जिले में बाहर से आने वाले श्रमिकों को होम क्वारंटाइन कराने के साथ ही उन्हें किसी भी दशा में बाहर टहलने नहीं दिया जाए। यदि उनकी तबीयत ज्यादा खराब है तो तत्काल कोविड अस्पताल में भर्ती कराएं। इनकी मानीटरिंग करने के लिए शहर में मोहल्ला निगरानी समिति और ग्रामीण क्षेत्र में ग्राम निगरानी समिति तत्काल गठित किया जाए। समिति बाहर से आने वाले श्रमिकों पर पूरी नजर रखेगी। यह आदेश अपर मुख्य सचिव अमित मोहन प्रसाद ने जारी कर सभी मंडलायुक्त और जिलाधिकारी को अमल में लाने का निर्देश दिया है। 

अपर मुख्य सचिव ने कहा कि बाहर से आने वाले श्रमिकों समेत अन्य लोगों की एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन, रोडवेज बस स्टैंड और जनपद में प्रवेश करने वाले मार्गों पर बनाए गए बैरियर पर थर्मल स्कैनिंग कराई जाए। उनका नाम, पता, मोबाइल नंबर एक रजिस्टर में दर्ज कर होम क्वारंटाइन रहने को कहा जाए। रजिस्टर पर उनके दस्तखत भी कराएं जाएं जिससे बाद में मिलान करने में कोई परेशानी नहीं हो। इसकी सूचना जिला प्रशासन को दें जिससे उन पर पूरी नजर रखी जा सके। पूर्व की तरह ग्रामीण क्षेत्रों में प्राथमिक, माध्यमिक समेत अन्य विद्यालयों को क्वारंटाइन सेंटर बनाया जाए। इतना ही नहीं, बाहर से आने वाले श्रमिकों की सूची जिला प्रशासन की ओर से मोहल्ला निगरानी समिति और ग्राम निगरानी समिति को उपलब्ध कराई जाए जिससे उन्हें मानीटरिंग करने में कोई परेशानी नहीं हो।

अपर मुख्य सचिव ने निर्देश दिया है कि आशा कार्यकर्ता भी क्वारंटाइन किए गए श्रमिकों की हर तीसरे दिन जाकर उनके बारे में जानकारी हासिल करेंगी, यदि कोरोना संक्रमण के लक्षण अधिक दिखाई पड़ते हैं तो तत्काल इसकी सूचना उच्च अधिकारियों को दें जिससे उनका उचित उपचार हो सके। स्थानीय प्रभारी चिकित्साधिकारी आशा कार्यकर्ताओं की सूचनाओं को गंभीरता से लें। क्वारंटाइन किए गए श्रमिकों या उनके परिवार के किसी सदस्य द्वारा लापरवाही बरती जाती है तो उनके खिलाफ तत्काल कार्रवाई की जाए।

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