बीएचयू में बना शरीफा का एनर्जी ड्रिंक देगा वर्ष भर ताजगी, प्री-क्लीनिकल ट्रायल में मिली सफलता

सालभर में दो से तीन महीने तक ही मिलने वाले शरीफा का आनंद अब रसना की तरह सालभर लिया जा सकता है। बीएचयू में कस्टर्ड एपल (शरीफा) से एक जायकेदार एनर्जी ड्रिंक तैयार की गई है। जल्द ही इंसानों पर ट्रायल के बाद बाजार में उतारा जाएगा।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Publish:Tue, 27 Jul 2021 01:55 PM (IST) Updated:Tue, 27 Jul 2021 01:55 PM (IST)
बीएचयू में बना शरीफा का एनर्जी ड्रिंक देगा वर्ष भर ताजगी, प्री-क्लीनिकल ट्रायल में मिली सफलता
शरीफा का आनंद अब रसना की तरह सालभर लिया जा सकता है।

वाराणसी, हिमांशु अस्थाना। सालभर में दो से तीन महीने तक ही मिलने वाले शरीफा का आनंद अब रसना की तरह सालभर लिया जा सकता है। बीएचयू में कस्टर्ड एपल (शरीफा) से एक जायकेदार एनर्जी ड्रिंक तैयार की गई है जो आपको भरपूर ताजगी देने के साथ डायबिटिज और कैंसर (इसमें एंटी कैंसर तत्व एसिटोजेनिन पाया जाता) से भी दूर रखेगा।

विश्वविद्यालय के दुग्ध एवं खाद्य प्रौद्योगिकी विभाग में पहली बार स्प्रे डाइंग तकनीक से शरीफा के गूदे से पल्प पाउडर तैयार किया गया है। एक लीटर पानी में 100 ग्राम पाउडर का मिश्रण तैयार किया जा सकता है। विभाग के खाद्य वैज्ञानिक डा. अभिषेक त्रिपाठी और उनकी टीम द्वारा किए गए एक प्री-क्लीनिकल ट्रायल में पाया गया कि इसे पीने से ब्लड शुगर का स्तर भी सामान्य है। यह शोध हाल ही में एक जर्नल एल डब्ल्यूटी और इंटरनेशनल जर्नल एंड फूड साइंस टेक्नोलाजी में प्रकाशित हो चुका है।

ट्रायल में चूहों के ब्लड शुगर का स्तर घटा

डा. त्रिपाठी के साथ टीम के सदस्य बीएचयू में खाद्य प्रौद्योगिकी विभाग के अध्यक्ष प्रो. डीसी राय, अॢपत श्रीवास्तव और वीणा पाल ने कुछ स्वस्थ चूहों को एलेक्सस ड्रग देकर मधुमेह से पीडि़त किया। इसके बाद आधे चूहों को रोज कस्टर्ड एपल का ड्रिंक दिया गया और शेष को नहीं। जिन चूहों को ड्रिंक दिया गया था, तीन सप्ताह में उनका ब्लड शुगर का स्तर सामान्य हो गया, वहीं बाकी चूहों का ब्लड शुगर स्तर काफी उच्च था। अब इंसानों पर ट्रायल की भी तैयारी चल रही है।

दो से तीन घंटे में स्प्रे ड्रायर मशीन में होता है तैयार

डा. अभिषेक त्रिपाठी ने बताया कि सबसे पहले शरीफा का गूदा निकालकर गर्म पानी धुलते हैं। इससे रंग भूरा नहीं होता। ऐसा इसलिए क्योंकि काटने के बाद शरीफा भी सेब की तरह लाल होने लगता है। इसके बाद पल्पर से बीज और गूदा अलग कर गूदे को पीस (ग्राइंड) लेते हैं। इसमें सात फीसद माल्टो डेक्सट्रीन (एक प्रकार का पाली सेकेराइड) मिलाते हैं, जो पाउडर में नमी की मात्रा को पांच फीसद से भी कम कर देता है। अब तैयार मिश्रण को दो से तीन घंटे तक स्प्रे ड्रायर मशीन में सुखाने के बाद इस पल्प पाउडर की वैक्यूम पैकिंग कर दी जाती है। एक किलो शरीफा में 150-200 ग्राम तक पल्प पाउडर तैयार होता है।

शरीफा प्रदेश का सबसे प्रमुख मौसमी फल

शरीफा उप्र में मिलने वाला प्रमुख मौसमी फल है। कटाई के बाद करीब 25 फीसद फल सड़ जाते हैं, क्योंकि कटने के बाद यह अधिकतम दो से तीन दिन तक ही ठीक (शेल्फ लाइफ) रहते हैं। इसमें कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन, फाइबर, एंटी आक्सीडेंट, विटामिन, खनिज और फाइटो न्यूट्रियंस जैसे तत्वों का भरमार होता है। स्टोरज क्षमता बेहतर न होने और जल्दी खराब होने के कारण किसानों को इससे नुकसान ही ज्यादा होता है।

ट्रायल के बाद बाजार में उतारा जाएगा

किसानों तक यह तकनीक पहुंचानी है। शरीफा बहुत जल्दी खराब होने वाला मौसमी फल है। इसकी नमी को खत्म करना बेहद चुनौतीपूर्ण था। जल्द ही इंसानों पर ट्रायल के बाद बाजार में उतारा जाएगा।

: प्रो. डीसी राय, विभागाध्यक्ष, दुग्ध विज्ञान एवं खाद्य प्रौद्योगिकी विभाग

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