चैत्र नवरात्र के दूसरे दिन वाराणसी में ज्येष्ठा गौरी व ब्रह्माचारिणी के दरबार में गूंजा जयकारा

वासंतिक नवरात्र के दूसरे दिन बुधवार को कर्णघंटा व ब्रह्माघाट का इलाका माता के जयकारे से गूंजता रहा। श्रद्धालुओं ने गौरी दर्शन के क्रम में कर्णघंटा स्थित ज्येष्ठा गौरी के मंदिर में मत्था टेक स्वस्थ व सुख-समृद्धि भरे जीवन की कामना की।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Publish:Wed, 14 Apr 2021 11:14 PM (IST) Updated:Wed, 14 Apr 2021 11:14 PM (IST)
चैत्र नवरात्र के दूसरे दिन वाराणसी में ज्येष्ठा गौरी व ब्रह्माचारिणी के दरबार में गूंजा जयकारा
नवरात्र के दूसरे दिन बुधवार को कर्णघंटा व ब्रह्माघाट का इलाका माता के जयकारे से गूंजता रहा।

वाराणसी, जेएनएन। वासंतिक नवरात्र के दूसरे दिन बुधवार को कर्णघंटा व ब्रह्माघाट का इलाका माता के जयकारे से गूंजता रहा। श्रद्धालुओं ने गौरी दर्शन के क्रम में कर्णघंटा स्थित ज्येष्ठा गौरी के मंदिर में मत्था टेक स्वस्थ व सुख-समृद्धि भरे जीवन की कामना की। वहीं, ब्रह्माघाट इलाके में ब्रह्मïचारिणी देवी के मंदिर में भी बड़ी तादाद में लोगों ने दर्शन-पूजन किए। इस दौरान कोविड के गाइडलाइन का हर स्तर पर पालन किया गया। मंदिर प्रबंधन के लोग खुद इसके लिए ताकीद करते देखे गए। श्रद्धालु भी मास्क लगाने के साथ एक-दूसरे से दूरी बनाकर रखे थे। कोरोना संक्रमण का ही असर रहा कि सामान्य स्थिति की अपेक्षा भीड़ कम थी।

दोनों ही मंदिरों में भोर से ही श्रद्धालुओं के पहुंचने का सिलसिला शुरू हो गया था। सुबह दस बजे के बाद भीड़ में कमी आई। हालांकि शाम पांच के बाद श्रद्धालु कुछ बढ़ गए थे। रात आठ बजे के बाद इक्का-दुक्का लोग ही मंदिर पहुंच रहे थे। खास यह रहा कि लोगों को अपनी बारी का काफी देर तक इंतजार नहीं करना पड़ा। पांच से अधिक लोगों को एक बार में मंदिर के अंदर प्रवेश नहीं करने दिया जा रहा था। पुलिसकर्मी व मंदिर प्रबंधन श्रद्धालुओं से आग्रह कर रहा था कि देर तक वे न रुकें। श्रद्धालु फूल-माला, चुनरी व प्रसाद दूर से ही पुजारी को सौंप रहे थे। लोगों ने मंत्र, जप व जयकारा के बीच मंगल कामनाओं का पिटारा माता रानी के चरणों में रखा।  इसके अलावा दुर्गाकुंड स्थित मां दुर्गा मंदिर, विशालाक्षी देवी, संकठा मंदिर, भोजूबीर में दक्षिण काली मंदिर, में भी श्रद्धालुओं ने हाजिरी लगाई।

आज सौभाग्य गौरी के दर्शन की मान्यता : वासंतिक नवरात्र के तीसरे दिन यानी गुरुवार को गौरी दर्शन यात्रा के क्रम में सौभाग्य गौरी के दर्शन-पूजन का विधान है। इनका विग्रह ज्ञानवापी क्षेत्र स्थित सत्यनारायण मंदिर परिसर में है। साथ ही चौक स्थित चित्रघंटा देवी का भी दर्शन-पूजन किया जाता है।

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