बलिया में लखपति 477 किसानों का राशन कार्ड से कटा नाम, आधार से लिंक होने के बाद मामला आया सामने

विभागीय जांच में 10 किसान गाजीपुर जिले के निकले। जिसे गाजीपुर जिले के संबंधित विभाग को भेज दिया गया। जिले में 874 किसान जांच के घेरे में हैं। इसमें से 477 जांच में सही पाये गए। इनका नाम राशन कार्ड से काट दिया गया है।

By Abhishek SharmaEdited By: Publish:Sun, 26 Sep 2021 07:01 AM (IST) Updated:Sun, 26 Sep 2021 07:01 AM (IST)
बलिया में लखपति 477 किसानों का राशन कार्ड से कटा नाम, आधार से लिंक होने के बाद मामला आया सामने
बलिया में 874 किसान जांच के घेरे में हैं। इसमें से 477 जांच में सही पाये गए।

बलिया, जागरण संवाददाता। साल में तीन लाख रुपये से अधिक का धान व गेहूं बेचने वाले 477 लखपति किसानों का नाम राशन कार्ड से काट दिया गया है। अभी शेष बचे 397 किसानों की जांच चल रही है। इन सभी के सत्यापन का कार्य चल रहा है। जिले में 884 राशन कार्ड ऐसे मिले थे, जो साल में तीन लाख रुपये से अधिक गेहूं व धान क्रय केंद्रों पर बेच देते थे। आधार से लिंक होने पर पता चला कि यह सस्ते गल्ले की दुकानों से मुफ्त में ही राशन उठा रहे है। 27 अगस्त को शासन ने इसकी सूची जिला प्रशासन को भेजी थी। इसमें 792 काश्तकार ऐसे हैं, जो राशनकार्ड बनवाकर सरकारी सस्ते गल्ले की दुकान से राशन ले रहे हैं। इसके बाद दूसरी सूची में 92 और किसानों की मिली। इस तरह किसानों की संख्या 884 हो गई। विभागीय जांच में 10 किसान गाजीपुर जिले के निकले। जिसे गाजीपुर जिले के संबंधित विभाग को भेज दिया गया। जिले में 874 किसान जांच के घेरे में हैं। इसमें से 477 जांच में सही पाये गए। इनका नाम राशन कार्ड से काट दिया गया है।

ऐसे हुआ था खुलासा : इसमें बैंक खाता, मोबाइल नंबर, आधार कार्ड के साथ खतौनी का दस्तावेज भी लगता है। आपूर्ति विभाग को आधार के माध्यम से जिले के ऐसे 2492 बड़े किसानों की जानकारी मिली है जिन्होंने तीन लाख से अधिक रुपये का धान, गेहूं सरकारी क्रय केंद्र पर बेचा है। इसके बाद भी वह हर महीने कोटे की दुकान से राशन उठान कर रहे हैं।

यह है नियम : राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (एनएफएसए) के तहत ग्रामीण व शहरी क्षेत्र में पात्र राशन कार्ड धारक और निष्कासन के नियम तय हैं। ग्रामीण क्षेत्र में निष्कासन आधार के तहत ऐसे परिवार जिनके पास पांच एकड़ से अधिक सिंचित जमीन या सभी सदस्यों की आय दो लाख सालाना से अधिक है उन्हें सस्ते राशन का लाभ नहीं मिल सकता।

बोले अधिकारी : शासन से प्राप्त सूची के अनुसार सत्यापन किया गया। इसमें 477 किसान ऐसे मिले जो पात्र नहीं थे। उनका नाम राशन कार्ड से काट दिया गया है। अन्य की जांच चल रही है। -कृष्ण गोपाल पांडेय, जिला पूर्ति अधिकारी।

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