वाराणसी में विश्वेश्वगंज मंडी में ढक जाए कूड़ा घर की छत, तो लोगों को मिले जाम से निजात

बेतरतीब खड़े वाहन सड़कों पर बहती नालियां अब पूर्वांचल की सबसे बड़ी किराना मंडी विश्वेश्वगंज की अब यही पहचान है। हर माह किराया चुकाने के बाद भी मंडी के कारोबारियों को दुर्वव्यवस्थाओं का सामना करना पड़ता है। खुले में कूड़ा घर होने से हमेशा संक्रमण का सामना करना पड़ता है।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Publish:Sat, 25 Sep 2021 09:10 AM (IST) Updated:Sat, 25 Sep 2021 09:10 AM (IST)
वाराणसी में विश्वेश्वगंज मंडी में ढक जाए कूड़ा घर की छत, तो लोगों को मिले जाम से निजात
खुले कूड़ाखाने में दिनभर भरा रहता कूड़ा, बरसात होते ही सड़क पर बहने लगता है। दुर्गंध से परेशान है दुकानदार।

जागरण संवाददाता, वाराणसी। बेतरतीब खड़े वाहन, सड़कों पर बहती नालियां अब पूर्वांचल की सबसे बड़ी किराना मंडी विश्वेश्वगंज की अब यही पहचान है। हर माह किराया चुकाने के बाद भी मंडी के कारोबारियों को दुर्वव्यवस्थाओं का सामना करना पड़ता है। हालांकि मंडी की कुछ छोटी-छोटी समस्याओं का निस्तारण निगम प्रशासन कर दे तो व्यवस्था की सूरत बदल सकती है।

खुले में है कूड़ा, बिमारियों को मिल रहा आमंत्रण

मंडी के व्यापारियों ने कहा कि यदि कूड़ा घर की ढक जाए तो जाम से निजात मिल सकता है। करीब छह माह पहले कूड़ा घर की दीवार गिर गई थी। जिसे नगर निगम ने अस्थाई तौर पर मरम्मत तो करवा दिया। लेकिन कूड़ा घर की छत ढकना और गेट लगाना भूल गए। अब दुर्गंध के कारण वहां जगह होने के बावजूद व्यापारी अपनी गाड़ी नहीं खड़ी करते हैं। अपने दुकान के सामने ही व्यापारी गाड़ी खड़ी करते हैं। वहीं देखा देखी ट्रांसपोर्टर भी अपने मालवाहक वाहनों को मौका मिलते ही बेतरतीब खड़े कर देते हैं। जिससे मंडी खुलने से लेकर बंद होने तक जाम लगा रहता है। खुले में कूड़ा घर होने से मंडी के व्यापारियों को हमेशा संक्रमण का सामना करना पड़ता है।

सीवर है चोक, बजबजा रहीं है नालियां

सीवर चोक होने से मंडी में बने नालियों के चैंबर बजबजा रहे हैं। नालियों का गंदा पानी सड़क पर दुकानों के सामने फैला हुआ है। बरसात के दिनों में तो सीवर का पानी दुकानों में भर आता है।

नौ माह से निगम ने नहीं वसूला किराया

मंडी के व्यापारियों ने यह भी बताया कि नौ माह से नगर निगम ने दुकानों का किराया ही नहीं वसूला है। अब एक साथ कई महीने का किराया देना व्यापारियों को भार समझ आ रहा है।

नहीं है शौचालय

सौ वर्ष पुरानी मंडी में नगर निगम अब तक व्यापारियों के लिए शौचालय नहीं बनवा सका है। कई बार व्यापारियों के कहने पर निगम प्रशासन केवल आश्वासन ही देता है।

बोले व्यापारी

नगर निगम को किराया देने के बावजूद हम व्यापारियों को मूलभूत सुविधाएं नहीं मिल रही हैं।

-अमरेश जायसवाल

खराब सड़कों और बेतरतीब वाहनों के खड़े होने के कारण मंडी में सुबह से शाम तक जाम लगा रहता है।

-संतोष जायसवाल

नगर निगम पार्किंग की सुविधा व्यापारियों के लिए कर दे तो व्यापारी नियत स्थान पर अपनी गाड़ी पार्क करेंगे। जिससे जाम नहीं लगेगा।

-रवि जायसवाल

इधर कई माह से नगर निगम व्यापारियों से किराया नहीं वसूला है। अब इकठ्ठा किराया देना व्यापारियों के बहुत मुश्किल होगा।

-विजय शंकर गुप्ता

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