चार माह में विधायक विजय मिश्र पर दर्ज हुए पांच मुकदमे, कुल केस हुए 78
विधायक विजय मिश्र पर चार माह में सरकारी भूमि कब्जा करने के साथ ही पांच आपराधिक मुकदमे दर्ज किए गए हैं। विजय पर जुलाई से पुलिस ने शिकंजा कस दिया है। एक व्यवसायी का ऑडियो वायरल होने पर उन पर औराई कोतवाली में गुंडा एक्ट की कार्रवाई की गई।
भदोही, जेएनएन। विधायक विजय मिश्र पर चार माह में सरकारी भूमि कब्जा करने के साथ ही पांच आपराधिक मुकदमे दर्ज किए गए हैं। जिले में पहली बार उनके खिलाफ गैंगरेप के आरोप में केस पंजीकृत हुआ है। इस तरह मुकदमों का आंकड़ा बढ़कर 78 हो गया है। हालांकि जेल जाने से पहले उनका दावा था कि वह अधिसंख्य मामलों में वह अदालत से दोषमुक्त हो चुके हैं।
ज्ञानपुर से चौथी बार विधायक बने विजय पर जुलाई से पुलिस ने शिकंजा कस दिया है। एक व्यवसायी का ऑडियो वायरल होने पर उन पर औराई कोतवाली में गुंडा एक्ट की कार्रवाई की गई। कौलापुर निवासी रिश्तेदार कृष्णमोहन तिवारी ने भवन और फर्म हड़पने के आरोप में गोपीगंज कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया। इसके बाद से ही उनकी मुसीबत बढ़ती गई। नवधन में सरकारी भूमि पर कब्जा करने के अलावा असलहा लाइसेंस निरस्त करने की कार्रवाई की गई। लेटरपैड का दुरुपयोग करने के मामले में कौलापुर की ग्राम प्रधान ऊषा मिश्रा ने जालसाजी केस पंजीकृत कराया है। अभी यह मामला चल रही रहा था कि वाराणसी की एक गायिका ने सामूहिक दुष्कर्म का आरोप लगाकर आपराधिक आंकड़े की फेहरिस्त और लंबी कर दी।
सोशल मीडिया पर पीडि़ता की पहचान उजागर
सोशल मीडिया पर पीडि़ता की पहचान उजागर हो गई है। विधायक के साथ हुआ वीडियो चैट वायरल होने लगा है। कई भाजपा नेताओं ने एफआइआर की कापी भी फेसबुक पर अपलोड कर दी गई है। उसे जमकर शेयर भी किया जा रहा है। सुप्रीम कोर्ट ने पीडि़ता का पहचान उजागर करने पर प्रतिबंध लगाया हुआ है।
बचाव में उतरी विधायक की पुत्री
विधायक की पुत्री रीमा पांडेय का कहना है कि तीन साल तक सब कुछ ठीक रहा लेकिन जैसे ही जिला पंचायत का चुनाव नजदीक आने लगा वैसे ही पिता पर फर्जी मुकदमे लाद दिए गए। चार माह में मुकदमे की बाढ़ सी आ गई है। यह सब पिता के सियासी धुर विरोधियों के इशारे पर हो रहा है।