प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाएगा वाराणसी के आइआइवीआर में बना सहजन का सूप व जलजीरा, कैंसर के रोकथाम में भी सहायक

सहजन में औषधीय गुणों की भंडार है। 2.2 मिलियन टन सहजन उत्पादन के साथ भारत अग्रीण देश है। इसमें पाए जाने वाले प्रोटीन एवं अन्य तत्व प्रतिरोधक क्षमता को भी बढ़ाने में काफी कारगर है। इस प्रोडक्ट के लिए संस्थान की ओर से पेटेंट फाइल की जा चुकी है।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Publish:Fri, 05 Mar 2021 03:08 PM (IST) Updated:Fri, 05 Mar 2021 05:19 PM (IST)
प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाएगा वाराणसी के आइआइवीआर में बना सहजन का सूप व जलजीरा, कैंसर के रोकथाम में भी सहायक
सहजन में औषधीय गुणों की भंडार है।

वाराणसी [मुकेश चंद्र श्रीवास्तव]। सहजन में औषधीय गुणों की भंडार है। 2.2 मिलियन टन सहजन उत्पादन के साथ भारत अग्रीण देश है। इसमें पाए जाने वाले प्रोटीन एवं अन्य तत्व प्रतिरोधक क्षमता को भी बढ़ाने में काफी कारगर है। इसकी पत्तियों, फली, बीज में एंटी ऑक्सीडेंट शरीर के विभिन्न भागों में सूजन को कम करने की क्षमता, कैंसर के रोकथाम, मधुमेह नियंत्रण एवं शरीर के अंदर जीवाणु हरण की क्षमता मौजूद है। इसे देखते हुए वाराणसी स्थित भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान (आइआइवीआर) ने अनुसंधान कर सहजन का सूप व जलजीरा विकसित किया है। सहजन के इस सूप व जलजीरा के चूर्ण को कमरे के तापक्रम पर 6-8 माह तक संरक्षित रखा जा सकता है। इसकी गुणवत्ता भंडारण के दौरान प्रभावित नहीं होगी। इस प्रोडक्ट के लिए संस्थान की ओर से पेटेंट फाइल की जा चुकी है।

एक ग्राम चूर्ण में एक लीटर सूप तैयार

सूप बनाने में इसकी सहजन की पत्तियों एवं फलों को प्रशीतन (ड्रायर) से सूखाकर उसका चूर्ण बनाया जाता है। इन पत्तियों एवं फली के चूर्ण में निर्धारित मात्रा में प्रोटीन चूर्ण, परिवर्तित स्टार्च, मक्के का आटा, काली मिर्च व जीरा के चूर्ण को मिलाकर 21-23 प्रतिशत प्रोटीन युक्त सहजन का सूप बन जाएगा। बस इसे एक ग्राम मात्रा को एक लीटर पानी में घोलकर मिश्रण को 2-5 मिनट उबाला जाएं तो सूप तैयार हो जाएगा।

प्रोटीन युक्त स्वास्थ्य वर्धक शीतल पेय

सुखाई सहजन की पत्तियों के चूर्ण में निर्धारित मात्रा में व्हे (छेना-पनीर फाडऩे वाला तत्व) प्रोटीन चूर्ण, चीनी का चूर्ण, जलजीरा का पूर्ण व सइाट्रिक अम्ल (छेना का पानी या नीबू) प्रोटीन युक्त स्वास्थ्य वर्धक शीतल पेय बना सकते हैं। 150 ग्राम मात्रा को एक लीटर ठंडे पानी में मिलाकर पी सकते हैं। जलजीरा का यह सूर्ण सामान्य तापक्रम में 6-8 माह तक संरक्षित कर सकते हैं, जिसकी गुणवत्ता प्रभावित नहीं होगी।

- डा. सुधीर सिंह, प्रधान वैज्ञानिक, भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान

सूप व पेय दोनों ही पौष्टिक

सहजन मानव शरीर की रोग प्रतिरोधी क्षमता को बढ़ाता है। इसका सूप व पेय दोनों ही पौष्टिक एवं स्वास्थ्यवर्धक होगा। संस्थान ने तकनीक विकसित कर ली है। अब आवश्यकता है कि इसे उद्योग के रूप में इसकी उपलब्धता को बढ़ाया जा सके। पेटेंट के लिए आवेदन किया जा चुका है। इसके व्यवसायीकरण के लिए कोई भी कंपनी या समूह तकनीक का लाइसेंस प्राप्त कर सकता है।

- डा. जगदीश सिंह, निदेशक, भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान

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