ग्रहों की स्थिति और सूर्य सिद्धांत का पता लगाएगा बीएचयू में बना पंचांग साफ्टवेयर

बीएचयू स्थित संस्कृति विद्या धर्म विज्ञान संकाय में ज्योतिष विभाग के छात्र अमित कुमार मिश्र ने पंचांग गणित की प्रक्रिया को मुफ्त में जानने के लिए एक साफ्टवेयर बनाया है। प्रामाणिक आर्ष ग्रंथ सूर्य सिद्धांत के गणितीय उदाहरण से निर्मित सूत्रों को कंप्यूटर की प्रोग्रामिंग में पिरोया है।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Publish:Wed, 13 Jan 2021 06:40 PM (IST) Updated:Wed, 13 Jan 2021 07:04 PM (IST)
ग्रहों की स्थिति और सूर्य सिद्धांत का पता लगाएगा बीएचयू में बना पंचांग साफ्टवेयर
ज्योतिष विभाग के छात्र अमित कुमार मिश्र ने पंचांग गणित की प्रक्रिया को जानने के लिए एक साफ्टवेयर बनाया है।

वाराणसी, जेएनएन। बीएचयू स्थित संस्कृति विद्या धर्म विज्ञान संकाय में ज्योतिष विभाग के छात्र अमित कुमार मिश्र ने पंचांग गणित की प्रक्रिया को मुफ्त में जानने के लिए एक साफ्टवेयर बनाया है। ज्योतिष शास्त्र के सर्वमान्य व प्रामाणिक आर्ष ग्रंथ सूर्य सिद्धांत के गणितीय उदाहरण से निर्मित सूत्रों को कंप्यूटर की प्रोग्रामिंग में पिरोया है।

साफ्टवेयर के माध्यम से छात्रों को ग्रह गणना करने व प्रत्यक्ष देखने मे सहायता मिलेगी। इससे घंटों का कार्य कुछ ही क्षण में किया जा सकता है। इसके द्वारा भविष्य में पंचांगों में आ रही भिन्नता भी दूर होंगी और समाज को सर्वशुद्ध पंचांग प्राप्त हो सकेगा। अमित ने बताया कि इसमें किसी प्रकार की त्रुटि की संभावना नहीं होगी। इससे छात्र आदिकाल से लेकर वर्तमान काल तक की गणितीय प्रकिया को भलीभांति समझ सकेंगे। आकाशीय ग्रह व पिंडों का गणितीय पद्धति द्वारा पता लगाया जा सकता है। विगत दो वर्षों से अमित ज्योतिष विभाग के विभागाध्यक्ष प्रो. विनय कुमार पांडेय और आचार्य डा. सुभाष पांडेय के निर्देशन में कर रहे हैं। वहीं केंद्रीय विद्यालय, रानीखेत उत्तराखंड के कंप्यूटर शिक्षक गौरव शर्मा ने साफ्टवेयर तैयार करने में काफी योगदान दिया है। बुधवार को संस्कृति विद्या धर्म विज्ञान संकाय में एक कार्यक्रम के दौरान अमित के इस साफ्टवेयर का लोकार्पण किया गया।

प्रो. पांडेय ने बताया कि महामारी के बाद से कागजी कार्यवाही बंद है,  इसलिए यह साफ्टवेयर ज्योतिष के छात्रों व शोधार्थियों के लिए काफी लाभप्रद होगा। प्रो. चंद्रमा पांडेय ने कहा कि 21वीं सदी में शिक्षार्थियों के अनुशासन, पेशे या करियर में डिजिटल साक्षरता अनिवार्य है। छात्रों में इसके लिए आवश्यक कौशल एवं क्षमताओं को विकसित करना ही इस साफ्टवेयर का उद्देश्य है। मुख्य अतिथि प्रो. रामचंद्र पांडेय ने कहा कि सूर्य सिद्धांत की गणितीय पद्धति के वास्तविक स्वरूप का ज्ञान अब ज्योतिष प्रेमियों को आसानी से हो सकेगा।

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