वाराणसी में आशा ट्रस्ट ने लड़कियों के लिये खोला सिलाई प्रशिक्षण केंद्र, आत्‍मनिर्भरता की रखी बुनियाद

प्रशिक्षण केन्द्र का उद्घाटन जिला पंचायत सदस्य ललित यादव व लोक समिति संयोजक नन्दलाल मास्टर ने संयुक्त रूप से फीता काटकर किया। इस दौरान प्रेरणा कला मंच के कलाकारों ने नुक्कड़ नाटक के माध्यम से लड़कियों को शिक्षा और आत्मनिर्भर बनाने के प्रति जागरूक किया।

By Abhishek SharmaEdited By: Publish:Fri, 24 Sep 2021 02:04 PM (IST) Updated:Fri, 24 Sep 2021 02:04 PM (IST)
वाराणसी में आशा ट्रस्ट ने लड़कियों के लिये खोला सिलाई प्रशिक्षण केंद्र, आत्‍मनिर्भरता की रखी बुनियाद
आर्थिक रूप से कमजोर हो चुके परिवारों के लिए भी सामाजिक संस्‍थाओं की ओर से पहल की जा रही है।

वाराणसी, जागरण संवाददाता। कोरोना संक्रमण के दौर में आर्थिक रूप से कमजोर हो चुके परिवारों के लिए भी सामाजिक संस्‍थाओं की ओर से पहल की जा रही है। वाराणसी में सामाजिक संस्‍थाएं कोरोना संक्रमण के दौरान मदद करने के बाद अब लोगों को उनके पैरों पर खड़ा करने की तैयारी में जुटी हुई हैं। इसी कड़ी में सामाजिक संस्‍था आशा ट्रस्‍ट की ओर से महिलाओं को सिलाई- कढ़ाई के जरिए आत्‍मनिर्भर करने की तैयारी के क्रम में प्रशिक्षण दिया जा रहा है।  

ग्रामीण अंचल की किशोरियों और युवतियों को 'आत्मनिर्भर' बनाने के लिए सामाजिक संस्था आशा ट्रस्ट व लोक समिति संस्था ने शुक्रवार को कोइली (ढढोरपुर) गांव में सिलाई कढ़ाई प्रशिक्षण केंद्र खोला है। प्रशिक्षण केन्द्र का उद्घाटन जिला पंचायत सदस्य ललित यादव व लोक समिति संयोजक नन्दलाल मास्टर ने संयुक्त रूप से फीता काटकर किया। इस दौरान प्रेरणा कला मंच के कलाकारों ने नुक्कड़ नाटक के माध्यम से लड़कियों को शिक्षा और आत्मनिर्भर बनाने के प्रति जागरूक किया।

लोक समिति संयोजक नन्दलाल मास्टर ने कहा कि आशा ट्रस्ट और लोक समिति दो दशक से बच्चों,किशोरियों और महिलाओं के लिए शिक्षा,स्वास्थ्य, अधिकार, और स्वावलम्बन के लिये काम कर रही है। महिलाएं अगर स्वावलंबी बनीं तो वे न केवल अपने परिवार की आर्थिक उन्नति का आधार बन जाएंगी, बल्कि उनके भीतर स्वाभिमान भी पैदा होगा। मुख्य अतिथि ललित यादव ने कहा कि सिलाई एक ऐसा हुनर है, जिससे महिला घरेलू कामकाज के दौरान बचने वाले थोड़े से समय का सदुपयोग कर अपने और अपने परिवार का भविष्य बेहतर बना सकती हैं। लड़कियों को सिलाई सिखने के बाद स्वरोजगार की तरफ ध्यान देना चाहिए। महिलाएं जब तक पुरुषों के बराबर प्रयास नहीं करेंगी, तब तक देश आगे नहीं बढ़ सकता है। कार्यक्रम का संचालन सोनी, स्वागत सिताबुन, धन्यवाद अनीता पटेल ने किया। इस अवसर पर सरोज, सोनी, आशा, अनीता, बेबी, सिताबु, सीमा, मैनब बानो, अरविंद, जलालुद्दीन, नन्दलाल मास्टर आदि लोग शामिल रहे।

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