वाराणसी से सेना को मिले 94 रंगरूट, पासिंग आउट परेड में खाई देश के लिए मर मिटने की कसम

वाराणसी में छावनी क्षेत्र स्थित गोरखा ट्रेनिंग सेंटर में 42 सप्ताह के कठिन प्रशिक्षण के बाद 94 रंगरूट मंगलवार को थलसेना का अभिन्न हिस्सा बने। उन्होंने पसिंग आउट परेड के दौरान देश की सेवा में मरमिटने की कसम ली।

By Abhishek sharmaEdited By: Publish:Tue, 23 Feb 2021 01:46 PM (IST) Updated:Tue, 23 Feb 2021 01:46 PM (IST)
वाराणसी से सेना को मिले 94 रंगरूट, पासिंग आउट परेड में खाई देश के लिए मर मिटने की कसम
कठिन प्रशिक्षण के बाद 94 रंगरूट मंगलवार को थलसेना का अभिन्न हिस्सा बने।

वाराणसी, जेएनएन। छावनी क्षेत्र स्थित गोरखा ट्रेनिंग सेंटर में 42 सप्ताह के कठिन प्रशिक्षण के बाद 94 रंगरूट मंगलवार को थलसेना का अभिन्न हिस्सा बने। उन्होंने पसिंग आउट परेड के दौरान देश की सेवा में मरमिटने की कसम ली। इसके पूर्व मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित मेजर जनरल आइएम लाम्बा ने गोरखा जवानों को उनका पारम्परिक शस्त्र खुखरी भेंट किया। उन्होंने शानदार परेड के लिए जवानों को बधाई दी।

 

जवानों को सम्बोधित करते हुए अनुशासन, शारीरिक क्षमता और लक्ष्य के प्रति हमेशा ईमानदार बने रहने का सुझाव दिया। शपथ ग्रहण समारोह के उपरांत मुख्य अतिथि ने शहीद स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित की। साथ ही आगन्तुक पुस्तिका पर हस्ताक्षर किया। इस मौके पर गोरखा प्रशिक्षण केंद्र के अफसर, स्कूली बच्चे और एनसीसी कैडेट्स भी मौजूद रहे।

इन्हें मिला पुरस्कार

कठिन प्रशिक्षण के दौरान बेहतर प्रदर्शन करने वाले रंगरूट विजय गुरुंग को बेस्ट टेक्टिस, सूजन तमंग को बेस्ट इन बेटल फिजिकल, अमित बहादुर थापा को बेस्ट इन फायरिंग,क्षितिज साही को बेस्ट इन ड्रिल, कमल कफील को बियोंड एवं खुखरी फाइटिंग, विकास साही को लेफ्टिनेंट कपाड़िया ट्राफी,सागर वर्मा लेफ्टिनेंट जनरल एमके लहरी मेडल और नावेल कंवर मंगल को गौरव खुखरी फॉर आल राउंड बेस्ट ट्रेनी का पुरस्कार मिला।

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