गाजीपुर में 217 भेड़ों की मौत, कई दिनों से खिलाया जा रहा था बचा हुआ खाना
गुरुवार की रात फूड प्लाइजनिंग से 217 भेड़ों की एक साथ मौत हो गई। इससे क्षेत्र में हड़कंप मच गया। दो शवों का पोस्टमार्टम किया गया जिसमें फूड प्वाइजनिंग की बात सामने आई। पशु चिकित्सक को जांच का निर्देश दिया।
गाजीपुर, जेएनएन। सुहवल थाना क्षेत्र के स्थानीय गांव में गुरुवार की रात फूड प्लाइजनिंग से 217 भेड़ों की एक साथ मौत हो गई। इससे क्षेत्र में हड़कंप मच गया। आनन-फानन जमानियां एसडीएम शैलेंद्र प्रताप सिंह दलबल के साथ पहुंचे। स्वजनों से आवश्यक पूछताछ के बाद स्थानीय पशु चिकित्सक को जांच का निर्देश दिया। इस पर दो शवों का पोस्टमार्टम किया गया, जिसमें फूड प्वाइजनिंग की बात सामने आई।
मलसा निवासी शरण पाल की 217 भेड़ों को शाम चार बजे के बाद एक हाते में डालकर गेट में ताला बंद कर दिया गया। रात में स्वजन काम निपटा कर सो गए। प्रतिदिन की तरह देर रात दो बजे हाते में गए तो देखा कि सभी भेड़ें एक पर एक लदे हुए मृत पड़ी हैं। आनन-फानन घर के अन्य सदस्यों और अगल-बगल के लोगों को बुलाकर दिखाया। बताया कि भेड़ों के चिल्लाने या चीखने तक की आवाज भी नहीं आई थी। भेड़ों का इस तरह रहस्मय ढंग मर जाना क्षेत्र में चर्चा का विषय है। जमानियां एसडीएम शैलेंद्र प्रताप सिंह ने पहुंचकर घटना की जानकारी ली। उन्होंने हलका के पशु चिकित्सक डा. संतोष पासवान को जांच का निर्देश दिया। इस पर पूरी टीम के साथ डा. संताेष पहुंचे। उन्होंने दो शवों का पोस्टमार्टम किया। इसमें पाया गया कि सभी की मौत फूड प्वाइजनिंग के वजह से हुई है। इसके बाद गड्ढा खोदवाकर सभी का दफन कर दिया गया। एसडीएम ने स्वजनों को आश्वस्त किया कि जो भी सरकारी मदद होगी दी जाएगी। वहीं एक साथ 217 भेड़ों की मौत हो जाने से स्वजन पूरी तरह से हैरान-परेशान हैं।
सुहवल थाना क्षेत्र के मलसा निवासी राघशरण पाल के 217 भेड़ों की फूड प्वाइजनिंग से हुई मौत से उन्हें करीब 15 लाख रुपये का नुकसान हुआ है। इनकी खेतीबारी भी नहीं। अपने भाई भैरानाथ के साथ पूरे दिन भेड़ों के चराने के साथ उनके साथ लगे रहते हैं। दोनों के दो-दो लड़के हैं। राघनशरण पाल का बड़ा पुत्र लखनऊ एसटीएफ में तैनात है, वहीं दूसरा रंजन पाल और भैरोनाथ के दोनों जितेंद्र व सत्येंद्र पेसगी पर खेत लेकर खेती बारी करते हैं। सभी भेड़ों की एक साथ मौत हो जाने से परिवार के लोग सदमें हैं। वहीं एक पर एक सभी भेंड़ों के लदे होने के कारण लोगों में तरह-तरह की चर्चाएं हो रही है। जिलाधिकारी ने मंगला प्रसाद सिंह ने बताया कि गांव में शादी के दौरान बचे हुए खाने को लोगों ने इधर-उधर फेंक दिया था, जिसे खाने के कारण इन सभी भेड़ों की फूड प्वाइजनिंग से मौत हुई।
जिलाधिकारी के निर्देश पर क्षेत्रीय पशु चिकित्सक ने दो शवों का पोस्टमार्टम किया
जिलाधिकारी के निर्देश पर क्षेत्रीय पशु चिकित्सक ने दो शवों का पोस्टमार्टम किया। इसमें ज्ञात हुआ कि सभी की फूड प्वाइजनिंग से मौत हुई है। इसकी रिपोर्ट बनाकर उच्चाधिकारियों को प्रेषित कर दी जाएगी।
- वीएस त्रिपाठी, मुख्य पशु चिकित्साधिकारी।