चीनी मिल ने सचिव को दी क्रय केंद्रों की जानकारी

-जाम की समस्या कम करने के लिए बनाया गया था बुढ़ाना रोड पर यार्ड -क्रय केंद्रों से चीनी मिल

By JagranEdited By: Publish:Fri, 05 Mar 2021 05:48 PM (IST) Updated:Fri, 05 Mar 2021 05:48 PM (IST)
चीनी मिल ने सचिव को दी क्रय केंद्रों की जानकारी
चीनी मिल ने सचिव को दी क्रय केंद्रों की जानकारी

-जाम की समस्या कम करने के लिए बनाया गया था बुढ़ाना रोड पर यार्ड

-क्रय केंद्रों से चीनी मिल की दूरी में करीब 450 मीटर का हुआ है इजाफा

जागरण संवाददाता, शामली: क्रय केंद्रों से चीनी मिल तक गन्ना लाने में वसूले जाने वाले ट्रांसपोर्ट शुल्क के मामले में जांच शुरू हो गई है। हालांकि अभी तक शामली चीनी मिल ने मौजूदा पेराई सत्र का कोई भुगतान नहीं किया है। जांच को पहुंचे सहकारी गन्ना विकास समिति के सचिव मुकेश राठी और गन्ना विकास निरीक्षण प्रेमनारायण शुक्ला को मिल प्रबंधन ने क्रय केंद्रों से चीनी मिल की बढ़ी दूरी के बारे में विस्तृत जानकारी दी है।

शहर में गन्ने की आवक बढ़ने पर जाम की समस्या बनती है। ऐसे में मौजूदा पेराई सत्र में बुढ़ाना रोड पर यार्ड बनाया गया था। क्रय केंद्रों से गन्ना लेकर आने वाले ट्रक यार्ड में आते हैं और स्थिति अनुसार गन्ना मिल में भेजा जाता है। यार्ड बनने से क्रय केंद्रों से चीनी मिल की दूरी में करीब 450 मीटर बढ़ी है। गन्ना विकास परिषद शामली के पूर्व चेयरमैन राजवीर सिंह ने मामले में शिकायत की है और कहा है कि किसान से यार्ड के नाम पर अधिक वसूली ठीक नहीं है। इस पर जिला गन्ना अधिकारी विजय बहादुर सिंह ने जांच सौंपी है। शुक्रवार को जांच अधिकारी चीनी मिल पहुंचे और प्रबंधन से बात की। प्रबंधन ने 31 क्रय केंद्रों से चीनी मिल की बढ़ी दूरी के बारे में विस्तार से जानकारी दी है। सचिव का कहना है कि जिला गन्ना अधिकारी को अवगत कराया जाएगा और अभी जांच पूरी नहीं हुई है।

जिला गन्ना अधिकारी विजय बहादुर सिंह का कहना है कि पेराई सत्र 2020-21 का शामली चीनी मिल ने अभी तक कुछ भी भुगतान नहीं किया है तो वसूली कैसे हो सकती है। क्रय केंद्रों से गन्ना लाने का ट्रांसपोर्ट शुल्क निर्धारित होता है। नियम के अनुसार 42 पैसे प्रति किलोमीटर प्रतिकुंतल या अधिकतम 8.35 रुपये प्रतिकुंतल ट्रांसपोर्ट शुल्क काटा जाता है। वह दिखवा रहे हैं कि क्या स्थिति बन रही है। नियमों के अनुसार ही ट्रांसपोर्ट शुल्क काटा जाएगा। ज्यादा शुल्क नहीं लिया जाएगा। वहीं, चीनी मिल के वरिष्ठ प्रबंधक (गन्ना) दीपक राणा का कहना है कि जो भी नियम हैं, उनका पालन किया जाता है। चीनी मिल की एक कमेटी होती है, जो क्रय केंद्रों से चीनी मिल की दूरी नापती है और उसी हिसाब से ट्रांसपोर्ट का शुल्क दिया जाता है।

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