बहनों ने भाई की कलाई पर बांधी स्नेह की डोर

कोरोना काल में सतर्कता के साथ भाई-बहन के स्नेह का पर्व रक्षा बंधन जिले में उल्लास के साथ मनाया गया। बहनों ने भाइयों की कलाई पर राखी बांधी और लंबी उम्र की कामना की। भाइयों ने रक्षा वचन देते हुए शगुन के तौर पर धनराशि व उपहार भी भेंट किए। साथ ही बहनों ने भी भाइयों को रिटर्न गिफ्ट दिए।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 03 Aug 2020 11:13 PM (IST) Updated:Tue, 04 Aug 2020 06:02 AM (IST)
बहनों ने भाई की कलाई पर बांधी स्नेह की डोर
बहनों ने भाई की कलाई पर बांधी स्नेह की डोर

शामली, जेएनएन। कोरोना काल में सतर्कता के साथ भाई-बहन के स्नेह का पर्व रक्षा बंधन जिले में उल्लास के साथ मनाया गया। बहनों ने भाइयों की कलाई पर राखी बांधी और लंबी उम्र की कामना की। भाइयों ने रक्षा वचन देते हुए शगुन के तौर पर धनराशि व उपहार भी भेंट किए। साथ ही बहनों ने भी भाइयों को रिटर्न गिफ्ट दिए। सोमवार सुबह से ही बाजार में खासी भीड़ रही। राखियों के साथ ही मिठाइयों की भी खूब खरीददारी हुई। बसों में भी भीड़ रही। ट्रेनों का संचालन बंद होने से रेलवे स्टेशन पर सन्नाटा पसरा रहा।

राखी को किया सैनिटाइज, मिठाई की जगह खिलाया च्यवनप्राश

रक्षा बंधन पर्व मनाते हुए कोरोना से बचाव के लिए सावधानी भी बरती गई। मास्क लगाने के साथ ही बहनों ने अपने हाथों के साथ राखी को भी सैनिटाइज किया और इसके बाद भाइयों की कलाई पर बांधी। कई बहनों ने भाई को बतौर उपहार इम्युनिटी किट दी। इसमें च्वयनप्राश का डिब्बा, तुलसी अर्क, गिलोय घनवटी, काढ़ा और मास्क आदि था। कोरोना काल में रोग प्रतिरोधक क्षमता यानि इम्यनुटिी बढ़ाने पर जोर है। ऐसे में कुछ बहनों ने भाई को मिठाई के बजाय एक चम्मच च्वयनप्राश खिलाया।

भद्रा के बाद ही बांधी गई राखी

सोमवार को भद्राकाल सुबह 9.26 बजे तक रहा। इस काल को शुभ नहीं माना जाता है। अधिकांश ने भद्राकाल बीतने के बाद ही रक्षा बंधन का पर्व मनाया। हालांकि कुछ लोगों ने भद्राकाल पर गौर नहीं किया और सुबह ही राखी बंधवाने के बाद अपने काम पर चले गए।

वर्चुअल भी मनाया पर्व

कोरोना के प्रकोप को देखते हुए काफी बहन-भाई एक-दूसरे से दूर रहे। ऐसे में वाट्सएप वीडियो कॉलिग व जूम एप आदि माध्यमों से संपर्ककर वर्चुअल रक्षा बंधन मनाया। शिखा चौधरी ने बताया कि कोरोना बढ़ रहे केस के चलते सावधानी बरतना जरूरी है। भाई-बहन वीडियो कॉलिग से जुड़े। पोस्ट से भाई को राखी भेजी थी और कॉलिग के दौरान ही राखी बांधी। कुछ देर बाद शगुन की धनराशि पेटीएम में आ गई। चांदनी गर्ग ने बताया कि न तो वह भाई के पास गई और न ही भाई आया। वीडियो कॉलिग पर रक्षा बंधन मनाया।

राखियों की भी हुई खरीददारी

लॉकडाउन के तहत शनिवार को दुकानें बंद रही थी, लेकिन रविवार को प्रशासन ने सुबह नौ से शाम चार बजे तक राखी और मिठाई की दुकानें खोलने की अनुमति दी थी। लेकिन राखियों का काफी स्टॉक बच गया था। सोमवार को सुबह से ही दोपहर तक राखियों की बिक्री होती रही। व्यापारी नीरज तायल ने बताया कि लगभग पूरा माल बिक गया है।

मिठाई की दुकानों पर रही भीड़

मिठाइयों की दुकानों पर सुबह से शाम तक भीड़ रही। घेवर सबसे अधिक बिका। भीड़ को देखते हुए मिठाई विक्रेताओं के चेहरे खिले रहे। इसके अलावा कंफेक्शनरी की दुकानों पर भी भीड़ दिखी। बच्चों के लिए चॉकलेट, चिप्स आदि की गिफ्ट पैक की बिक्री हुई।

सोशल मीडिया पर भी रही धूम

सोशल मीडिया पर रक्षा बंधन पर्व छाया रहा। राखी बंधवाने के फोटो भी खूब शेयर किए गए। वहीं जो भाई-बहन एक-दूसरे से दूर थे, उन्होंने पुराने फोटो शेयर कर उस पल को याद किया।

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