श्रावण के पहले दिन भगवान आशुतोष का जलाभिषेक

शामली जेएनएन। शिव की आराधना का माह श्रावण रविवार से शुरू हो गया है। शिवालियों में पह

By JagranEdited By: Publish:Sun, 25 Jul 2021 10:57 PM (IST) Updated:Sun, 25 Jul 2021 10:57 PM (IST)
श्रावण के पहले दिन भगवान आशुतोष का जलाभिषेक
श्रावण के पहले दिन भगवान आशुतोष का जलाभिषेक

शामली, जेएनएन। शिव की आराधना का माह श्रावण रविवार से शुरू हो गया है। शिवालियों में पहुंचकर श्रद्धालुओं ने जलाभिषेक किया और विधि-विधान के साथ पूजा-अर्चना की। काफी श्रद्धालुओं ने कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए घर में ही आराधना की। 26 जुलाई को श्रावण मास का पहला सोमवार है तो शिवालयों में भीड़ रहने की उम्मीद है।

शहर के सिद्धपीठ गुलजारीवाला मंदिर, भाकूवाला मंदिर, सदाशिव मंदिर, सतीवाला मंदिर, मनकामेश्वर मंदिर हनुमान धाम समेत तमाम शिवालयों में सुबह से ही श्रद्धालुओं का आना शुरू हो गया था। कई मंदिरों को सजाया भी गया है।

श्रद्धालुओं ने गंगाजल, धतूरा, भांग, बिल्वपत्र आदि से शिवलिग का अभिषेक किया और विधि-विधान के साथ पूजा की। पंचाक्षरी मंत्र, रुद्राष्टक जाप और शिव स्त्रोत के पाठ भी हुए। गुलजारीवाला मंदिर में सबसे अधिक श्रद्धालु पहुंचे। सेवादारों ने शारीरिक दूरी के पालन करने की अपील भी की।

पिछले साल भी कोरोना का प्रकोप था और इस बार दूसरी लहर कमजोर हुई है, लेकिन कोरोना का खतरा है। ऐसे में भीड़ जैसी स्थिति कहीं नहीं रही। जबकि अब सुबह से ही हमेशा लंबी लाइन लगी रहती थी। ज्योतिषाचार्य पंडित प्रभु शंकर शास्त्री ने बताया कि शिव का अर्थ परमकल्याणी है। वह ऐसे देव हैं, जिनके अधीन लय और प्रलय हैं। श्रावण मास शिव की पूजा और अभिषेक करने पर मनवांछित फल की प्राप्ति होती है। महादेव को प्रसन्न करने के लिए छप्पन भोगों की जरूरत नहीं है। वह तो जल की कुछ बूंदों से ही प्रसन्न हो जाते हैं। तभी तो उन्हें भोलेनाथ कहा जाता है। कोरोनाकाल में मंदिर नहीं जा रहे हैं तो घर पर ही मिट्टी आदि का शिवलिग स्थापित कर जलाभिषेक कर सकते हैं।

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शिवालियों में किया जलाभिषेक

शामली, जेएनएन। शामली के

कांधला नगर में श्रावण मास में शिवालयों में शारीरिक दूरी के साथ गाइडलाईन का पालन करते हुए श्रद्धालुओं द्वारा जलाभिषेक किया गया।

रविवार को श्रावण मास का शुभारंभ होने के बाद भगवान भोलेनाथ का अभिषेक व पूजा अर्चना को लेकर नगर के शिवालयों में पूरी तैयारी की गई है। शासन व प्रशासन की गाइड लाइन के अनुसार शिवालयों में 50 से अधिक लोगों द्वारा पूजा अर्चना को लेकर मंदिर समिति और पुजारी को भी पुलिस द्वारा दिशा निर्देश दिए गए हैं। मंदिर शिवालयों में पत्राचार और बोर्ड के माध्यम से आने वाले श्रद्धालुओं को कोविड नियमों व शारीरिक दूरी का पालन करने की हिदायत दी गई। इसके चलते नगर के प्राचीन शिवालयों में श्रावण मास के प्रथम दिन भगवान भोलेनाथ का विधिवत रूप से अभिषेक कर आशीर्वाद प्राप्त किया गया।

श्रावण मास के प्रथम सोमवार को लेकर शिवालयों को सुंदर व भव्य रूप से सजाया जा रहा है। आचार्या शशि भूषण शर्मा ने बताया कि सनातन धर्म के श्रावण मास में भगवान शिव की पूजा अर्चना का विशेष महत्व माना जाता है। इस माह में भगवान शिव की पूजा अर्चना करने से मन इच्छा फल की प्राप्ति है। श्रावण मास में सोमवार का दिन भी पूजा के लिये विशेष माना जाता है।

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