मई के खरीद टोकन भी हैं किसानों के पास
पंजीकरण और टोकन आवंटन के बाद भी गेहूं खरीद न होने की समस्या 15 जून को भी सामने आई थी। राहत की बात यह रही थी कि सरकार ने खरीद 22 जून तक करने का निर्णय लिया था।
शामली, जागरण टीम। पंजीकरण और टोकन आवंटन के बाद भी गेहूं खरीद न होने की समस्या 15 जून को भी सामने आई थी। राहत की बात यह रही थी कि सरकार ने खरीद 22 जून तक करने का निर्णय लिया था।
भाकियू जिलाध्यक्ष कपिल खाटियान ने कहा कि जिन किसानों से गेहूं खरीद नहीं हुई है, उन किसानों के पास मई के पहले सप्ताह तक के टोकन हैं। पांच दिन से लगातार गेहूं लेकर किसान मंडी में डटे हैं। 600 कुंतल से अधिक गेहूं हैं और खरीद होने तक आंदोलन चलता रहेगा। कुछ भी हो जाए, गेहूं घर लेकर नहीं जाएंगे।
पिडौरा के किसान अमित कुमार ने बताया कि चार मई को पंजीकरण हुआ था और हथछोया समिति के क्रय केंद्र से 12 मई को गेहूं लाने के लिए कहा गया था, लेकिन खरीद नहीं हुई। कई दिन बाद कहा गया कि शामली के केंद्र पर जाएं। पांच दिन से अब यहीं पर हैं और परेशान हैं। एक रुपया भी कम नहीं लेंगे
जिलाधिकारी से वार्ता कर आए एक किसान नेता ने कहा कि वार्ता में कहा गया कि 1975 नहीं तो 1900 रुपये गेहूं का दाम दिलवा दें। इस पर किसानों ने साफ कहा कि ऐसा कुछ मंजूर नहीं होगा। 1975 रुपये का भाव ही लेकर रहेंगे। डायवर्जन से लोगों को हुई परेशानी
शामली: यातायात प्रभारी भंवर सिंह ने शामली कलक्ट्रेट में भाकियू के धरने के कारण मुजफ्फरनगर की ओर जाने वाले वाहनों को एसटी तिराहे से होते ही थानाभवन वाया चरथावल वाहनों को मुजफ्फरनगर की ओर निकाला गया। वहीं मुजफ्फरनगर से आने वाले वाहनों को बुटराडा से हिड की ओर से सहारनपुर रोड को होते हुए शामली निकाला गया। इस दौरान लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। वहीं कलक्ट्रेट में के बाहर धरना-प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने कलक्ट्रेट के गेट बंद कर दिए थे। इस दौरान अधिकारियों के पास अपनी समस्या लेकर पहुंचे फरियादियों को परेशानी का सामना करना पड़ा। देर शाम को कलक्ट्रेट का गेट खुला और किसान कलक्ट्रेट के अंदर पहुंचे और वहां उन्होंने धरना-प्रदर्शन शुरू कर दिया।