किसानों को बकाया गन्ना भुगतान दिलाए सरकार
शामली जेएनएन। किसानों ने बकाया गन्ना भुगतान पेट्रोल डीजल के दामों में वृद्धि और बिजली बिला
शामली, जेएनएन।
किसानों ने बकाया गन्ना भुगतान, पेट्रोल डीजल के दामों में वृद्धि और बिजली बिलों को कम करने की मांग को लेकर कलक्ट्रेट पहुंचकर विरोध प्रदर्शन किया। किसानों ने सरकार पर 14 दिनों के भीतर भुगतान न होने और कानून व्यवस्था को लेकर भी वादा खिलाफी का आरोप लगाया। इस दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को संबोधित ज्ञापन एसडीएम संदीप कुमार को सौंपा गया।
सोमवार को किसान नेता राजन जावला किसानों को लेकर कलक्ट्रेट पहुंचे। यहां विरोध प्रदर्शन करते हुए कहा कि ऊन व थानाभवन चीनी मिलों पर 500 करोड़ के लगभग किसानों का बकाया चल रहा है। प्रदेश सरकार ने वायदा किया था कि 14 दिनों में भुगतान करा दिया जाएगा और यदि भुगतान न हुआ तो मिलों पर कार्रवाई की जाएगी। लेकिन सरकार वायदे पर खरी नहीं उतर सकी है। उन्होंने कहा कि कोरोना काल चल रहा है। ऐसे में किसानों के सामने आर्थिक संकट मुहं बाए खड़ा हुआ है। किसान अपना इलाज समय से नहीं करा पा रहे हैं, वहीं, रोजी रोटी का संकट भी है। उन्होंने पेट्रोल डीजल के दामों में कमी करने, कानून व्यवस्था ध्वस्त होने पर राष्ट्रपति शासन, बिजली व गैस की कीमत कम करने समेत पांच सूत्रीय ज्ञापन दिया। ज्ञापन देने वालों में विशाल कुमार, सुरेश प्रधान, हरपाल सिंह, आयुष राणा, अरश चौधरी, सागर, प्रांशु, बबलू आदि शामिल रहे।
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गन्ना समिति के सदस्य बनने
को आनलाइन होगा आवेदन
शामली, जेएनएन। किसानों की सुविधा के लिए गन्ना विभाग डिजिटल व्यवस्था को लगातार लागू कर रहा है। अब सहकारी गन्ना विकास समिति का सदस्य बनने के लिए किसान गन्ना विभाग की वेबसाइट इंक्वायरी डाट केनयूपी डाट इन पर आवेदन कर सकते हैं।
जिला गन्ना अधिकारी विजय बहादुर सिंह ने बताया कि कागज की पर्ची की जगह एसएमएस से पर्ची भेजने की व्यवस्था पिछले साल से शुरू हो गई है। वेबसाइट पर जाने पर न्यू मेंबरशिप का विकल्प मिलेगा। इस पर जाकर राजस्व खतौनी, बैंक पासबुक, फोटो आदि दस्तावेज अपलोड करने होंगे। इसके बाद एक रसीद मिल जाएगी और चार दिन में उक्त रसीद को संबंधित समिति कार्यालय में दिखाकर निर्धारित शुल्क 221 रुपये जमाकर दूसरी रसीद ले सकते हैं। किसान का आवेदन स्वीकृत और अस्वीकृत होने की जानकारी पंजीकृत मोबाइल नंबर पर एसएमएस से मिल जाएगी। सदस्यता प्राप्त करने के एक सप्ताह के भीतर अंश प्रमाणपत्र भी दे दिया जाएगा। कुल मिलाकर घर बैठे ही सदस्यता मिलेगी। किसानों के धन और समय दोनों की बचत होगी। सदस्यता की प्रक्रिया को सरल भी किया गया है। किसानों की विभिन्न समस्याओं के समाधान के लिए टोल फ्री नंबर की व्यवस्था भी पूर्व से चल रही है।