हड़ताल करने पर जिलाध्यक्ष समेत 14 एंबुलेंसकर्मी बर्खास्त

जिले में अपनी मांगों को लेकर पिछले तीन दिन से कार्य बहिष्कार कर रहे एंबुलेंस कर्मचारियों पर बुधवार को कार्रवाई कर दी गई। उन्हें नियुक्त करने वाली कंपनी ने जिलाध्यक्ष समेत 14 एंबुलेंसकर्मियों की सेवाएं समाप्त कर दी है। जबकि अन्य को नियमानुसार सेवाएं देने का मौका दिया है। मरीजों की दिक्कतों को देख गुरुवार से 70 फीसद से अधिक एंबुलेंस चालू कर दी गई है

By JagranEdited By: Publish:Thu, 29 Jul 2021 12:47 AM (IST) Updated:Thu, 29 Jul 2021 12:47 AM (IST)
हड़ताल करने पर जिलाध्यक्ष समेत 14 एंबुलेंसकर्मी बर्खास्त
हड़ताल करने पर जिलाध्यक्ष समेत 14 एंबुलेंसकर्मी बर्खास्त

जेएनएन, शाहजहांपुर : जिले में अपनी मांगों को लेकर पिछले तीन दिन से कार्य बहिष्कार कर रहे एंबुलेंस कर्मचारियों पर बुधवार को कार्रवाई कर दी गई। उन्हें नियुक्त करने वाली कंपनी ने जिलाध्यक्ष समेत 14 एंबुलेंसकर्मियों की सेवाएं समाप्त कर दी है। जबकि अन्य को नियमानुसार सेवाएं देने का मौका दिया है। मरीजों की दिक्कतों को देख गुरुवार से 70 फीसद से अधिक एंबुलेंस चालू कर दी गई है। वहीं सेवाएं समाप्त होने से नाराज यूनियन के पदाधिकारियों ने अब लखनऊ जाकर धरना प्रदर्शन करने की चेतावनी दी है।

जीवनदायिनी स्वास्थ्य विभाग 108, 102 एंबुलेंस कर्मचारी संघ से जुड़े चालक व ईएमटी सात सूत्रीय मांगों को लेकर 23 जुलाई से राजकीय मेडिकल कालेज में धरने पर बैठे थे। लेकिन उनकी मांगों पर जब गौर नहीं किया गया तो 26 जुलाई से बरेली मोड़ स्थित मैदान पर एंबुलेंस खड़ी कर कार्य बहिष्कार शुरू कर दिया था। जिस वजह से मरीजों को परेशान होना पड़ रहा था। ऐसे में कंपनी ने संघ के जिलाध्यक्ष सिकंदर खान, महामंत्री सुधीर कुमार सिंह, कांट के चालक राकेश कुमार, जलालाबाद के मनोज कुमार, देवेंद्र कुमार, कलान के राकेश सिंह, बंडा के मनदीप सिंह, भावलखेड़ा के एमटी सुधीर कुमार सिंह, पुवायां के आशुतोष सिंह, शहर के अनुभव गुप्ता, सौरभ गुप्ता, अल्हागंज के राजकपूर कुशवाहा, खुटार के सुवेंद्र प्रताप, तिलहर के जितेंद्र पाल व अतेंद्र पाल की गुरुवार से सेवाएं समाप्त कर दी है। अधिकारियों के साथ हुई थी वार्ता

मरीजों की दिक्कतों को देख मंगलवार को एसपी एस आनंद व एडीएम प्रशासन रामसेवक द्विवेदी ने चालक व एमटी से अजीजगंज चौकी में बैठकर वार्ता की थी। लेकिन प्रदर्शनकारी समस्याओं का निस्तारण होने के बाद ही हड़ताल खत्म करने की जिद पर अड़े रहे। हालांकि वार्ता के दौरान मरीजों के हित में 70 फीसद से ज्यादा एंबुलेंस शुरू करा दी गई। यह हैं मांगे

- एएलएस व एंबुलेंस पर तैनात कर्मचारियों को न बदला जाए

- कर्मचारी समायोजन के दौरान संचालन करता कंपनी द्वारा प्रशिक्षण के नाम पर डीडी न लिया जाए।

- कर्मचारियों को हरियाणा की तरह नेशनल हेल्थ मिशन के अधीन करना चाहिए।

- कोरोना संक्रमण से मरने वाले कर्मचारियों को सहायता राशि दी जाए।

- जब तक नेशन हेल्थ मिशन के अधीन नहीं किया जाता है तब तक 18 हजार न्यूनतम वेतन दिया जाए।

प्रदेश नेतृत्व की मौजूदगी में अब लखनऊ में धरना प्रदर्शन किया जाएगा। जब तक संघ की मांगे पूरी नहीं होगी तब तक आंदोलन जारी रहेगा। किसी कर्मचारी का रोजगार छिनने नहीं दिया जाएगा।

सिकंदर खान, जिलाध्यक्ष

हड़ताल की वजह से मरीजों को परेशानी हो रही थी। ऐसे में जिलाध्यक्ष समेत 14 एंबुलेंसकर्मियों की सेवाएं समाप्त कर दी गई है। एंबुलेंस सेवा भी शुरू करा दी गई है। जिस कंपनी के तहत अब एंबुलेंस चलाई जाएगी वह सेवा समाप्त कर्मचारियों को छोड़ सभी से नियमानुसार सेवाएं लेने को तैयार है।

अनुराग पांडेय, रीजनल मैनेजर 108 एंबुलेंस सेवा

chat bot
आपका साथी