जैक सिस्टम से पांच फीट ऊपर हवा में उठेगा मकान

हाईवे बनने के बाद सड़क से पांच फीट नीचे हो गया था मकान

By JagranEdited By: Publish:Sat, 26 Jun 2021 11:17 PM (IST) Updated:Sat, 26 Jun 2021 11:17 PM (IST)
जैक सिस्टम से पांच फीट ऊपर हवा में उठेगा मकान
जैक सिस्टम से पांच फीट ऊपर हवा में उठेगा मकान

संतकबीर नगर : भाई अपने जीवनभर की कमाई से बनाए गए मकान की सतह सड़क से नीची हो जाए तो निराश मत होयिए। अब तो इसे ऊंचा करने की भी व्यवस्था बन चुकी है। जी हां ऐसा हो रहा है। देखना हो तो खलीलाबाद के नेदुला आइए।

गोरखपुर-लखनऊ राष्ट्रीय राजमार्ग के किनारे समरेंद्र सिंह ने वर्ष 2017 में दो मंजिला मकान बनवाया था। राजमार्ग बनने के बाद मकान का सतह नीचा हो जाने से समस्या पैदा हो गई। बारिश के समय में मकान में पानी भर जाता था। उनके सामने मकान को फिर से बनवाने का संकट हो गया था। लगभग तीन माह पहले उन्होंने एक मित्र से समस्या बताई तो जैक सिस्टम से मकान को ऊंचा उठाने की व्यवस्था के बारे में जानकारी मिली। अब उनका मकान जैक सिस्टम से पांच फीट हवा में उठाया जा रहा है। इस कार्य में बहराइच जिले की एक निजी कंपनी के 15 कारीगरों की टीम लगी है। समरेंद्र सिंह का कहना है कि नए सिरे से मकान बनवाने में उनका लगभग 30 लाख खर्च होता। कंपनी के साथ मकान को पांच फिट ऊंचा उठाने के लिए उनका तीन लाख 80 हजार रुपयों में करार हुआ है। नई तकनीक से उन्हें बड़ी राहत मिली है। ऐसे उठाया जा रहा मकान

कंपनी के कारीगरों ने मकान के फर्श को तोड़कर हटाने के बाद नींव के नीचे लोहे के गर्डर के सहारे जैक लगाया है। धीेरे-धीरे जैक को टाइट करने के बाद गर्डर के नीचे कंकरीट डाली जा रही है। क्षतिग्रस्त पुल का एप्रोच से हादसे की आशंका

संतकबीर नगर : सांथा ब्लाक के जमया गांव में स्थित बूढ़ी राप्ती नदी पर बने पुल का एप्रोच पिछले कुछ महीनों से बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो चुका है। पुल के दोनों तरफ लगभग तीन फिट तक मिट्टी कट गई है। जिससे लोगों को आवागमन की समस्या का सामना करना पड़ रहा है। दो पहिया वाहन तो जैसे- तैसे निकल रहे हैं, लेकिन चार पहिया वाहनों के लिए इस पुल से आवागमन करना खतरे से खाली नहीं है।

एक दशक पूर्व बेहतर आवागमन के लिए इस पुल का निर्माण कराया गया था। यह पुल धर्मसिंहवा क्षेत्र को गोरखपुर जनपद से जोड़ता है। जमया घाट से जखनिया, बरघाट व सेवहा बाबू होते हुए गोरखपुर जनपद को यह सड़क जाती है। आसपास के कई गांव के लोग गोरखपुर जाने के लिए तथा गोरखपुर से धर्मसिंहवा आने के लिए इस पुल का प्रयोग करते हैं। वर्तमान समय में पुल का एप्रोच क्षतिग्रस्त हो चुका है। लंबे समय से पुल के एप्रोच के मरम्मत की मांग उठ रही है लेकिन महकमे के जिम्मेदार पुल की मरम्मत से कतरा रहे हैं। हालांकि पुल अभी पूरी तरह से सुरक्षित है लेकिन अब एप्रोच के क्षतिग्रस्त होने से लोगों को खतरे की सवारी करनी पड़ रही है। दिन में तो जैसे-तैसे करके लोग यात्रा सकुशल पूरी करते हैं। रात के समय में इस पुल से यात्रा करना खतरनाक है। स्थानीय लोगों ने पुल के एप्रोच के मरम्मत की मांग की है।

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