खत्म हो गया है कोरोना, लेकिन लिया जा रहा नमूना
कोरोना के आरटीपीसीआर की जांच के लिए अभी तक नमूने लखनऊ भेजे जा रहे हैं लेकिन अब इसकी जांच खलीलाबाद में ही करने की तैयारी है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) खलीलाबाद में तीन कमरों वाला भवन चिह्नित कर लिया गया है। इसमें कोरोना के अलग-अलग वैरिएंट की जांच के लिए प्रयोगशाला स्थापित करने की तैयारी चल रही है।
संतकबीर नगर : जनपद कोरोना मुक्त हो चुका है, लेकिन स्वास्थ्य विभाग अभी कोई कसर नहीं छोड़ना चाहता। हर दिन करीब डेढ़ हजार लोगों के नमूने लिए जा रहे हैं। नमूने जनपद के अलग-अलग स्थानों से लिए जा रहे हैं। इसके साथ ही कोरोना पर प्रभावी नियंत्रण के लिए सभी चिकित्सकों और स्टाफ नर्स को प्रशिक्षित कर दिया गया है। विशेषज्ञ सप्ताह में एक दिन सभी को आनलाइन कोरोना से बचाव के बारे में जानकारी भी दी जा रही है, ताकि कोरोना के मामले आए तो सही से उपचार हो सके। कोरोना से लड़ने के लिए जनपद स्तर पर पूरी तैयारी है। आक्सीजन, दवा, बेड व मैन पावर की कमी न रहे, इस पर विशेष ध्यान है।
लखनऊ की जगह खलीलाबाद में ही होगी नमूनों की जांच
कोरोना के आरटीपीसीआर की जांच के लिए अभी तक नमूने लखनऊ भेजे जा रहे हैं, लेकिन अब इसकी जांच खलीलाबाद में ही करने की तैयारी है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) खलीलाबाद में तीन कमरों वाला भवन चिह्नित कर लिया गया है। इसमें कोरोना के अलग-अलग वैरिएंट की जांच के लिए प्रयोगशाला स्थापित करने की तैयारी चल रही है। 1200 वर्ग फीट क्षेत्रफल वाले इस भवन में अत्याधुनिक उपकरण लगेंगे। इसके बनकर तैयार हो जाने पर कोरोना के नमूनों की जांच यहीं पर हो जाएगी। इसकी वजह से गोरखपुर, अयोध्या के अलावा किग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (केजीएमयू) लखनऊ में जांच के लिए कोरोना के नमूने भेजे जाते रहे हैं।
कोविड हास्पिटल में जरूरी दवाएं उपलब्ध
कोविड हास्पिटल में एंटीबायोटिक, स्टेरायड, ईटी ट्यूब, आक्सीजन मास्क सहित सभी जरूरी दवाएं व संसाधन उपलब्ध हैं। अस्पताल में चिकित्सक कोरोना संक्रमित मरीज की परिस्थितियों और जांच रिपोर्ट के अनुसार इलाज करते हैं। न्यूमेरिन, रेमडेसिविर, टैक्लू इंजेक्शन लगाए जाते हैं। जरूरत पड़ने पर स्टेरायड, एमाक्सीसिलिन आदि एंटीबायोटिक, एसप्रीन टेबलेट दिए जाते हैं। यदि मरीज को डायबिटीज है तो इसे नियंत्रित करने के लिए पहले इंसुलिन लगाया जाता है। इसी प्रकार ब्लड प्रेशर के मरीजों को दवा देकर उनका उच्च रक्तचाप नियंत्रित किया जाता है। जबकि होम आइसोलेशन के दौरान कोरोना संक्रमितों को मेडिकल किट दिए जाते हैं। इसमें तीन दिन के लिए आइवरमेट्रीन, एजिथ्रोमाइसीन, पैरासीटामाल टेबलेट दिए जाते हैं। इसके बाद चौथे से दसवें दिन के लिए डाक्सीसाइक्लीन, जिक-50 एमजी प्रतिदिन एक बार, विटामिन-सी 500 एमजी प्रतिदिन तीन बार, विटामिन-डी3 सप्ताह में एक बार के हिसाब से दिया जाता है।
डा. मोहन झा, अपर मुख्य चिकित्साधिकारी ने बताया कि
कोरोना जनपद में पूरी तरह समाप्त है। इसके बाद भी विभाग इस पर नजर रखे है। हर दिन करीब डेढ़ हजार नमूने लिए जा रहे हैं। आक्सीजन, जरूरी दवा, बेड, मैन पावर की कमी न रहे, इस पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। डाक्टर और स्टाफ नर्स को प्रशिक्षित किया जा चुका है। सीएचसी खलीलाबाद में लैब के बन जाने पर कोरोना के नमूनों की जांच यहीं हो जाएगी।