आरक्षण से चुनावी सरगर्मी तेज, चौपालों पर बिछ रही बिसातें
पंचायत चुनाव का आरक्षण तय होने के बाद ग्राम प्रधान पद की तैयारी कर रहे कुछ उम्मीदवारों के अरमानों पर पानी फिर गया। आरक्षण जारी होने के बाद अब चुनाव को लेकर सरगर्मिया तेज होने लगी हैं। चुनाव को लेकर संभावित प्रत्याशियों के चेहरे भी सामने आने लगे हैं।
सहारनपुर, जेएनएन। पंचायत चुनाव का आरक्षण तय होने के बाद ग्राम प्रधान पद की तैयारी कर रहे कुछ उम्मीदवारों के अरमानों पर पानी फिर गया। आरक्षण जारी होने के बाद अब चुनाव को लेकर सरगर्मिया तेज होने लगी हैं। चुनाव को लेकर संभावित प्रत्याशियों के चेहरे भी सामने आने लगे हैं।
बिहारीगढ़ : पंचायत चुनाव के आरक्षण की घोषणा के बाद अब चुनाव को लेकर सरगर्मिया तेज होने लगी हैं, जबकि आरक्षण की घोषणा के बाद क्षेत्र की शेरपुर, नौरंगपुर, समसपुर, कालूवाला जहानपुर व गणेशपुर ग्राम पंचायतें पहली बार अनुसूचित जाति में आने के बाद कई लोगों के चुनाव लड़ने के सपने अधूरे ही रह जाएंगे। जबकि विकास खण्ड मुजफ्फराबाद ही नहीं जनपद सहारनपुर की 17 मजरों की सबसे बड़ी ग्राम पंचायत थापुल इस्माईलपुर अनारक्षित होने से यहां जोरदार मुकाबला होने का अनुमान लगाया जा रहा है। वहीं दूसरी ओर आरक्षण की घोषणा के बाद नए चेहरे भी चुनाव मैदान में नजर आ रहे हैं तो कई पुराने चेहरे भी दोबारा अपनी किस्मत आजमाने को तैयार हैं। जबकि चुनाव को लेकर अब गांव की चौपाल भी चर्चा तेज हो गई है।
मुजफ्फराबाद : ब्लाक की कई बड़ी व मालदार कहलाने वाली ग्राम पंचायत इस बार आरक्षित हो गई है। जिन गावों में प्रधान पद अनुसूचित वर्ग के लिए आरक्षित कर दिया है वहा स्थिति और भी अलग बन गई है। ग्राम मुजफ्फराबाद सहित शेरपुर खाना जादपुर, संसारपुर, ताजपुरा, खिड़का भटकव्वा, संसारपुर, दतौली मुगल,गणेशपुर, शेखुपुर मुजाहिदपुर मुस्त, कालुवाला जहानपुर, अनवरपुर बरौली, जैतपुर खुर्द, नौरंगपुर, समसपुर, पथरवा, मांझीपुर, रायपुर कला सहित करीब डेढ़ दर्जन से अधिक ग्राम पंचायतों में चुनाव की धमक हल्की पड़ती दिखाई दे रही है।
नानौता : त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के लिए शासन द्वारा जारी की गई आरक्षण सूची में इस मर्तबा पहली बार ओबीसी वर्ग की महिला को चुनाव जीतकर ब्लाक प्रमुख बनने का मौका मिलेगा। जबकि पिछले 48 सालों के बीच 7 बार राजपूत, दो बार जाट तथा एक बार अनुसूचित जाति के व्यक्ति ब्लाक प्रमुख बने हैं। यानी नानौता ब्लाक प्रमुख पद के अस्तित्व में आने के बाद से इस सीट पर राजपूत समाज का ही कब्जा रहा है।
नकुड़ : त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में ग्राम प्रधान, क्षेत्र पंचायत व जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे कुछ उम्मीदवारों के सपनों पर चक्रानुसार तय किए गए आरक्षण ने पानी फेर दिया। नकुड़ ब्लाक में गांव टाबर, मन्धौर व साहबामाजरा पिछड़ा वर्ग, काजीबांस व लतीफपुर एससी वर्ग के लिए आरक्षित हुआ है। इन सभी ग्राम पंचायतों में सामान्य वर्ग के व्यक्ति प्रधान पद के लिए कुछ दिनों से उम्मीदवारी को लेकर तैयारी कर रहे थे, परंतु आरक्षण सूची जारी होते ही उन सभी लोगों को झटका लगा।