खेत में बोया गन्ना, कागजों में बिक गया गेहूं
भास्कर सिंह रामपुर शासन की तमाम कोशिशों के बावजूद गेहूं खरीद में फर्जीवाड़ा नहीं रुक सका।
भास्कर सिंह, रामपुर : शासन की तमाम कोशिशों के बावजूद गेहूं खरीद में फर्जीवाड़ा नहीं रुक सका। बिचौलियों ने बटाईदार बनकर दूसरे गांव के किसानों की जमीन बटाई पर जोतना दर्शाकर उनके नाम से पंजीकरण करा लिया। उस जमीन पर गेहूं की फसल दिखाकर क्रय केंद्र पर अपना गेहूं दिया, जबकि किसान ने खेत में गन्ना बोया है। फर्जीवाड़ा सामने आने पर जांच बैठा दी गई है। इसमें बिचौलियों के साथ कई केंद्र प्रभारियों की गर्दन भी फंस सकती है।
गेहूं खरीद में जिन किसानों के नाम से फर्जीवाड़ा किया गया है, उनकी लंबी फेहरिस्त है। अकेले शाहबाद के नईमगंज गांव में ही करीब 30 किसान हैं, जिनके नाम से फर्जीवाड़ा किया गया है। इनमें शिकायत करने वाले दुर्जन सिंह का कहना है कि कुंवरपाल नाम के व्यक्ति ने उनकी जमीन का बटाईदार बनकर 57 क्विंटल गेहूं क्रय केंद्र पर बेच दिया, जबकि उन्होंने इस बार गेहूं की फसल नहीं बोई है। उनके खेत में गन्ने की फसल लगी है। इसी गांव के पूर्व प्रधान प्रेमपाल सिंह का कहना है कि शानू और भूरी देवी ने उनकी जमीन का बटाईदार बनकर पंजीकरण कराया और 95 क्विंटल गेहूं क्रय केंद्र पर बेच दिया। हकीकत यह है कि उन्होंने अपनी गेहूं की फसल आढ़ती को बेची थी। नईमगंज गांव के राम कुंवर ने शिकायत की है कि उनकी जमीन का बटाईदार बनकर सुल्ताना बेगम नाम की महिला ने पंजीकरण कराया और 93 क्विंटल गेहूं क्रय केंद्र पर बेच दिया, जबकि उन्होंने गेहूं की फसल बोई नहीं थी। उनके खेत में पापुलर लगा है। फर्जीवाड़े के खिलाफ 13 दिन से धरना दे रहे किसान
गेहूं खरीद में इस फर्जीवाड़े के खिलाफ भारतीय किसान यूनियन के जिलाध्यक्ष बाबू अली 13 दिन से जिला खाद्य विपणन अधिकारी कार्यालय के बाहर धरना दे रहे हैं। जिलाध्यक्ष का कहना है कि उनके पास फर्जीवाड़े की शिकायतें मिल रही थीं। इसकी जांच के लिए उन्होंने बटाईदारों द्वारा दर्शाए गए नाम पते पर जाकर संपर्क किया तो पता चला कि उन किसानों ने अपनी जमीन बटाई पर नहीं दी और न ही पंजीकरण कराया। कई किसानों ने तो गेहूं बोया भी नहीं था। इन किसानों की शिकायतें जिला खाद्य विपणन अधिकारी को दे दी हैं। जब तक इनकी जांच कर दोषियों पर कार्रवाई नहीं की जाएगी, तब तक धरना जारी रहेगा। किसानों ने गेहूं खरीद में धांधली की शिकायत की है। उनकी शिकायतों पर जांच कराई जा रही है। किसानों ने जिन क्रय केंद्रों पर धांधली का आरोप लगाया है, वे सभी को-आपरेटिव सोसाइटी के हैं। ऐसे में जांच भी एआर को-आपरेटिव को सौंप दी है। किसानों के शिकायती प्रार्थना पत्रों को भी उनके पास भिजवा दिया है।
अनुपम कुमार निगम, जिला खाद्य विपणन अधिकारी।