हेडमास्टरों ने निकाल ली एमडीएम की धनराशि, रोका वेतन
जिले के दो हेडमास्टरों ने कोरोना काल में बच्चों के अभिभावकों के खाते में भेजी जाने वाली एमडीएम की धनराशि स्वयं के नाम से निकाल लिया। इसकी जानकारी मिलने पर प्रभारी बीएसए ने दोनो हेडमास्टरों का वेतन रोकते हुए अभिलेख तलब किए हैं। इसके साथ ही जिले के सभी स्कूलों में एमडीएम की धनराशि की जांच करने का निर्देश खंडशिक्षा अधिकारियों को दिया है।
संसू, प्रतापगढ़ : जिले के दो हेडमास्टरों ने कोरोना काल में बच्चों के अभिभावकों के खाते में भेजी जाने वाली एमडीएम की धनराशि स्वयं के नाम से निकाल लिया। इसकी जानकारी मिलने पर प्रभारी बीएसए ने दोनो हेडमास्टरों का वेतन रोकते हुए अभिलेख तलब किए हैं। इसके साथ ही जिले के सभी स्कूलों में एमडीएम की धनराशि की जांच करने का निर्देश खंडशिक्षा अधिकारियों को दिया है।
नगर क्षेत्र के कंपोजिट विद्यालय पल्टन बाजार बालिका एवं कंपोजिट विद्यालय मकंद्रूगंज तृतीय का चार्ज हेड मास्टर जफर हुसैन के पास है। उन्होंने दोनों स्कूलों के बच्चों को कोरोना काल में दी जाने वाली एमडीएम की धनराशि लगभग दो लाख तीस हजार रुपये स्वयं के नाम से नकद निकाल लिया। इसकी रिपोर्ट खंड शिक्षा अधिकारी नगर सीमा गौतम ने बीएसए को दी तो उन्होंने हेड मास्टर का वेतन रोकते हुए अभिलेख तलब किए हैं। इसी प्रकार रानीगंज तहसील क्षेत्र के विकासखंड गौरा के प्राथमिक विद्यालय हरपुरसौंध के हेडमास्टर ने 154 छात्रों में से कुछ छात्रों को 76 दिन का राशन और पैसा तो दिया। उसके बाद 49 दिन के रुपये 37503 व 138 दिन का 105622 रुपये को अपने निजी खाते में ट्रांसफर कर लिया। खंड शिक्षा अधिकारी विमलेश तिवारी की रिपोर्ट पर बीएसए सुधीर कुमार सिंह ने हेड मास्टर का वेतन रोकते हुए अभिलेख तलब किया है। कोरोना महामारी में स्कूल बंद होने के बाद राज्य सरकार ने बच्चों को तीन किस्तों में राशन व रुपये को उनके माता पिता के खाते में भिजवाने का आदेश दिया था। पहली बार 76 दिन, दूसरी बार 49 दिन तथा तीसरी ़िकस्त में 138 दिन का राशन व पैसे बच्चों को देकर उसकी डिटेल प्रेरणा पोर्टल पर अपलोड करनी थी। प्रधानाध्यापक द्वारा लगभग दो लाख चार हजार रुपये निकालकर हजम कर लिया गया। बीएसए सुधीर कुमार सिंह ने बताया कि जांच की जा रही है। दोनों हेडमास्टरों का वेतन रोकते हुए अभिलेख तलब किया गया है। जांच के बाद कार्रवाई करते हुए धन की रिकवरी की जाएगी। उन्होंने बताया कि कोरोना काल में सभी स्कूलों में अभिभावकों के खाते में भेजी गई धनराशि व खाद्यान्न की जांच करने का निर्देश खंड शिक्षा अधिकारियों को दिया गया है।