जिले में टीकाकरण की रफ्तार मंद

स्वास्थ्य विभाग को पर्याप्त मात्रा में वैक्सीन नहीं मिल पाने की वजह से टीकाकरण की गति मंद पड़ गई है। पहली जुलाई से पूरे जिले में क्लस्टर योजना के तहत टीकाकरण अभियान शुरू नहीं हो सका। अलबत्ता रूटीन टीकाकरण के लिए पूरे जिले में कुल 30 सत्र आयोजित हुए जिनमें 2846 लोगों को टीका लगाया गया।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 01 Jul 2021 11:20 PM (IST) Updated:Thu, 01 Jul 2021 11:20 PM (IST)
जिले में टीकाकरण की रफ्तार मंद
जिले में टीकाकरण की रफ्तार मंद

पीलीभीत,जेएनएन : स्वास्थ्य विभाग को पर्याप्त मात्रा में वैक्सीन नहीं मिल पाने की वजह से टीकाकरण की गति मंद पड़ गई है। पहली जुलाई से पूरे जिले में क्लस्टर योजना के तहत टीकाकरण अभियान शुरू नहीं हो सका। अलबत्ता रूटीन टीकाकरण के लिए पूरे जिले में कुल 30 सत्र आयोजित हुए , जिनमें 2846 लोगों को टीका लगाया गया।

इन दिनों दो तरह के टीकाकरण हो रहे हैं। एक तो 18 साल से अधिक आयु वाले सभी लोगों को टीका लगाया जा रहा है। उन्हें वैक्सीन की पहली डोज दी जा रही। दूसरे वे लोग हैं, जो पहली डोज ले चुके थे। समय पूरा हो जाने के बाद दूसरी डोज का टीका लगवाने के लिए पहुंच रहे हैं। पिछले कई दिन से स्वास्थ्य विभाग को वैक्सीन कम मिल पा रही हैं। औसतन रोजाना आठ हजार वैक्सीन की मांग है लेकिन इसकी आधी मात्रा भी नहीं मिल पा रही है। गत दिवस तीन हजार वैक्सीन मिली थीं। उन्हीं से गुरुवार को काम चलाया गया। सीएमओ डा. सीमा अग्रवाल के अनुसार पर्याप्त मात्रा में वैक्सीन उपलब्ध नहीं हो पाने के कारण क्लस्टर योजना के तहत गांवों में सेंटरों की संख्या बढ़ाकर टीकाकरण शुरू नहीं हो सका है। वैक्सीन मिल जाने के बाद इसे संचालित किया जाएगा।

कोविड जैसी महामारी में यह टीका सुरक्षा कवच का काम करेगा। सभी लोगों को टीका अवश्य लगवाना चाहिए। इससे किसी तरह का कोई नुकसान नहीं होता है। कोरोना की तीसरी लहर की संभावना व्यक्त की जा रही है। ऐसे में टीका सुरक्षा देगा।

संकल्प गौतम सरकार की ओर से सभी लोगों के लिए मुफ्त टीका लगाने की व्यवस्था कराई गई है। ऐसे में यह टीका अवश्य लगवाना चाहिए। इसमें किसी प्रकार का संकोच न करें। तीसरी लहर के दौरान यह टीका ही जीवन को सुरक्षित रखेगा।

प्रीति टीका लगवाने के लिए आनलाइन बुकिग कराना भी बेहद आसान है। सभी को इसका फायदा उठाना चाहिए। कोरोना जैसी महामारी से लोगों को बचाने के लिए काफी शोध के बाद यह टीका तैयार किया गया है। ऐसे में कोई भ्रम नहीं रहना चाहिए।

पुष्पा पाल

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