कंटेनमेंट जोन में सिर्फ कागजों में हो रही संदिग्ध संक्रमितों की निगरानी
जागरण संवाददाता नोएडा कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए जिले के लोगों मं
जागरण संवाददाता, नोएडा : कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए जिले के लोगों में दहशत माहौल है। अनलॉक-1 के चलते अब अधिकांश लोग घरों से बाहर निकलते हैं। गाइडलाइन के अनुसार कंटेनमेंट जोन के नियमों में भी फेरबदल हुआ है। इस समय जिले में कंटेनमेंट जोन की संख्या 152 है। इन्हें श्रेणी-1 व श्रेणी-2 के नियमानुसार सील किया गया है। आगामी आदेश तक आवागमन प्रतिबंधित है। लेकिन यह सिर्फ कागजों में हो रहा है। कई सेक्टर व सोसायटियों को कंटेनमेंट जोन में तब्दील करने के बाद भी जिला प्रशासन ने वहां के आरडब्ल्यूए को इसकी खबर नहीं की है। पदाधिकारियों को पता तक नहीं है कि उनके सेक्टर में कौन मरीज मिला है और जिला प्रशासन ने किस क्षेत्र को सील किया है, जबकि यहां के लोग बेखौफ होकर शहर में काम करने और बाजार पहुंच रहे हैं।
सेक्टर 92बी को जिला प्रशासन ने श्रेणी-1 कंटेनमेंट जोन में शामिल किया हुआ है। गाइडलाइन के अनुसार मरीज मिलने वाले स्थान को 250 मीटर रेडियस के तहत सील किया जाना चाहिए। साथ ही सेक्टर के आरडब्ल्यूए पदाधिकारियों को भी इसकी खबर होनी आवश्यक है, ताकि वह भी अपने स्तर से वायरस के फैलाव को रोकने में मदद कर सकें। लेकिन प्रशासनिक अधिकारी आरडब्ल्यूए पदाधिकारियों को इस संबंध में जानकारी देना जरूरी नहीं समझ रहे हैं। हालात यह है कि आरडब्ल्यूए और न ही स्थानीय लोगों को इस बात का पता है कि उन्हें किस क्षेत्र में अधिक सावधानी बरतने की आवश्यकता है। सेक्टर में जिला प्रशासन द्वारा कोई नोटिस भी चस्पा नहीं किया गया है। सेक्टर-92बी निवासी एके भारद्वाज का कहना है कि जिला प्रशासन ने सेक्टर को कंटेनमेंट जोन बनाया हुआ है। लेकिन यहां किसी तरह की कोई बंदिश नहीं है। अफसरों को ट्वीट के जरिए भी जानकारी दी गई है, लेकिन बेपरवाही जारी है और वायरस के संक्रमण का खतरा फैलने की पूरी आशंका बनी हुई है। सिर्फ सेक्टर-92बी ही नहीं बल्कि सेक्टर 100 में भी यही हाल है।
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कोट--
सेक्टर-100 की सोसायटी कंटेनमेंट जोन श्रेणी-1 में शुमार है, लेकिन जिला प्रशासन द्वारा यहां कोई बंदिशें नहीं लगाई गई, किसी को नहीं पता कि मरीज कहां मिला और कहां ज्यादा सावधानी बरतने की जरूरी है।
पवन यादव, आरडब्ल्यूए अध्यक्ष, सेक्टर-100
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प्रशासन ने बी ब्लॉक को कंटेनमेंट जोन बनाया है, यहां 400 प्लॉट है। लेकिन इसकी अभी तक जानकारी नहीं दी कि मरीज कहां मिला है। इसके अलावा सैनिटाइजेशन का काम भी नहीं हुआ।
डॉ. बिमला बोरा, आरडब्ल्यूए अध्यक्ष, सेक्टर-92बी
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मामला संज्ञान में नहीं है, जिला सर्विलांस ऑफिसर को इस संबंध में सख्त निर्देश दिए जाएंगे। ताकि आरडब्ल्यूए की मदद से वायरस के फैलाव को रोका जा सके।
सुहास एल वाई, डीएम गौतमबुद्ध नगर