सोमनाथ की साइकिल में घूम रहा राष्ट्रसेवा का पहिया

लंबी सफेद दाढ़ी सिर पर गोल टोपी और सफेद लिबास में साइकिल पर सवार 71 वर्ष के सोमनाथ भाटिया की पहचान गांधी कालोनी की हर गली में राष्ट्रसेवक के रूप हो चुकी है। परिवार की जिम्मेदारियों के बीच बीते एक दशक से वह बिजली बचाने के लक्ष्य के साथ अन्य सेवाओं का जिम्मा उठाकर नौजवानों को सेवा और संस्कृति का पाठ पढ़ा रहे हैं। गांधी कालोनी में सभी स्ट्रीट लाइटों को बंद कर वह बिजली की बर्बादी बचाने की मुहिम पर चलने के साथ रोजाना महापुरुषों की प्रतिमाओं की धुलाई भी करते हैं।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 23 Jun 2021 11:40 PM (IST) Updated:Wed, 23 Jun 2021 11:40 PM (IST)
सोमनाथ की साइकिल में घूम रहा राष्ट्रसेवा का पहिया
सोमनाथ की साइकिल में घूम रहा राष्ट्रसेवा का पहिया

जेएनएन, मुजफ्फरनगर, तरुण पाल। लंबी सफेद दाढ़ी, सिर पर गोल टोपी और सफेद लिबास में साइकिल पर सवार 71 वर्ष के सोमनाथ भाटिया की पहचान गांधी कालोनी की हर गली में राष्ट्रसेवक के रूप हो चुकी है। परिवार की जिम्मेदारियों के बीच बीते एक दशक से वह बिजली बचाने के लक्ष्य के साथ अन्य सेवाओं का जिम्मा उठाकर नौजवानों को सेवा और संस्कृति का पाठ पढ़ा रहे हैं। गांधी कालोनी में सभी स्ट्रीट लाइटों को बंद कर वह बिजली की बर्बादी बचाने की मुहिम पर चलने के साथ रोजाना महापुरुषों की प्रतिमाओं की धुलाई भी करते हैं।

शहर की गांधी कालोनी के निवासी सोमनाथ भाटिया करीब दस वर्षो से सेवा कार्य में लगे हैं। हजारों परिवारों की जनसंख्या वाली गांधी कालोनी में लगी सैकड़ों स्ट्रीट लाइटों के खराब होने या दिन में जलने की परेशानी से क्षेत्र के लोग परेशान हैं। राष्ट्रसेवा की सोच लेकर सोमनाथ भाटिया हर दिन सुबह सूरज निकलने से पहले सभी स्ट्रीट लाइटों को बंद करते हैं। क्षेत्र की स्ट्रीट लाइट खराब होने की भी रोजाना जानकारी लेकर साइकिल से विद्युत अधिकारियों के पास पहुंचते हैं, और इन्हें ठीक कराते हैं। इस काम को वह राष्ट्रसेवा के भाव से करते हैं। सुबह पैदल घूमकर लाइटें बंद करते हैं। शरीर को स्वस्थ रखने के लिए साइकिल का प्रयोग करते हैं। उन्होंने बताया कि परिवार में बेटा, पुत्रवधू और पत्नी भी उन्हें समाजसेवा के लिए प्रेरित करते हैं।

बगिया और प्रतिमाओं का रख रहे ध्यान

सोमनाथ भाटिया ने बताया कि वह गांधी वाटिका में लगी सुभाषचंद बोस और शहीद भगत सिंह की प्रतिमा की सफाई करते हैं। इसके अलावा स्वामी विवेकानंद उद्यान के नाम से एक बगिया बनाकर पौधारोपण कर रहे हैं। क्षेत्र के कई नौजवान भी प्रेरित होकर उनके इस काम में हाथ बंटाते हैं।

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