जिसने विरोध किया उसके ही उत्तराधिकारी बने विकास जैन, सदस्य बनाए जाने पर भाजपा में घमासान
विकास प्राधिकरण में विकास जैन को सदस्य बनाए जाने के बाद से भाजपा में घमासान मचा हुआ है। हालांकि कोई भी इस पर खुलकर बोलने को तैयार नहीं है लेकिन प्रदेश कार्यकारिणी में शिकायत किए जाने के दावे किए जा रहे हैं।
मुरादाबाद, जागरण संवाददाता। विकास प्राधिकरण में विकास जैन को सदस्य बनाए जाने के बाद से भाजपा में घमासान मचा हुआ है। हालांकि कोई भी इस पर खुलकर बोलने को तैयार नहीं है, लेकिन प्रदेश कार्यकारिणी में शिकायत किए जाने के दावे किए जा रहे हैं। वहीं, प्राधिकरण में सदस्य बनाए जाने पर पूर्व सांसद सर्वेश सिंह ने इसे विकास जैन की पार्टी के प्रति निष्ठा का पुरस्कार बताया गया है।
विकास जैन लंबे समय से भाजपा में सक्रिय रहे हैं। हालांकि, 2017 के विधानसभा चुनाव में उन पर पार्टी विरोध का आरोप लगा था। पूर्व महानगर अध्यक्ष महेंद्र गुप्ता ने उनके खिलाफ तत्कालीन प्रदेश अध्यक्ष को 13 फरवरी 2017 को पत्र लिखा था। इसमें पूर्व विधानसभा प्रत्याशी रहे विकास जैन दूसरे प्रत्याशी का समर्थन कर भाजपा के उम्मीदवार रितेश गुप्ता को हराने के लिए काम कर रहे हैं। हालांकि, इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुई। 2019 में नई कार्यकारिणी घोषित होने के बाद धर्मेंद्र नाथ मिश्रा को महानगर अध्यक्ष बनाया गया और महेंद्र गुप्ता एमडीए बोर्ड में सदस्य मनोनीत हुए। काेरोना के कारण उनका निधन होने पर उनका स्थान रिक्त चल रहा था। इस स्थान पर महानगर के कई नेता दावेदारी कर रहे थे। महानगर अध्यक्ष की ओर से दो महीने पहले एक पैनल भेजा गया था। लेकिन, संगठन के पैनल से इतर राज्यपाल की ओर से जारी सूची में विकास जैन को एमडीए बोर्ड का सदस्य मनाेनीत किया गया है। विकास जैन भाजपा के सक्रिय और कर्मठ कार्यकर्ता रहे हैं। अकबरपुर चेंदरी के लाउडस्पीकर कांड में वह तीन महीने जेल में रहे।
पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने के आरोप निराधार हैं। यह पद उन्हें मिलना अच्छी बात है, अभी उन्हें और आगे जाना है।
सर्वेश सिंह, पूर्व सांसद
विकास जैन को एमडीए बोर्ड का सदस्य बनाए जाने के बारे में हमें कोई जानकारी नहीं है। न ही उनका नाम शासन को भेजा गया था। किस आधार पर उनका चयन हुआ है, इसके बारे में भी पता नहीं है।
धर्मेंद्र नाथ मिश्रा, महानगर अध्यक्ष