मुरादाबाद में आलू तीन रुपये क‍िलो, गोभी की हालत ज्‍यादा खराब, मंडी में फेंके जा रहे गोभी

Vegetable prices in Moradabad डीजल और पेट्रोल के दाम बढ़ने से माल भाड़े में बढ़ोतरी हो गई है इसका ज्‍यादा खाम‍ियाजा क‍िसानों को उठाना पड़ रहा है। सब्जियों के दाम में भारी ग‍िरावट से वाहन का खर्च तक न‍िकालना मुश्किल हो गया है।

By Narendra KumarEdited By: Publish:Sun, 21 Feb 2021 03:10 PM (IST) Updated:Sun, 21 Feb 2021 03:10 PM (IST)
मुरादाबाद में आलू तीन रुपये क‍िलो, गोभी की हालत ज्‍यादा खराब, मंडी में फेंके जा रहे गोभी
गाड़ी का किराया नहीं निकला तो मंडी में गोभी फेंक गए गोभी।

मुरादाबाद [मोहसिन पाशा]। डीजल और पेट्रोल के दाम बढ़ते दामों की आग में किसान बुरी तरह से झुलस गया है। सभी तरह के वाहनों का माल भाड़ा बढ़ गया है। किसान आंदोलन और भाड़ा बढ़ने की वजह से बाहर की मंडियों में सब्जी नहीं जा पा रही है। इसकी वजह से सब्जी उत्पादक किसान का बुरा हाल है।

आलू तीन रुपये किलो से कम में बिक रहा है। टमाटर के दाम सात रुपये किलो हैं। गोभी की हालत सबसे खराब है। गोभी बेचने आए किसानों की गाड़ी का भाड़ा (किराया) भी नहीं निकला। इसकी वजह से किसान गोभी मंडी में आढ़त के सामने ही फेंककर चले गए। आढ़ती की दुकान के बाहर प़ड़ी गोभी को पशुओं ने खाकर पेट भरा। जनवरी की शुरुआत में दिल्ली जाने के लिए ट्रक का भाड़ा 21 हजार रुपये था। लेकिन, डीजल के दाम बढ़ने की वजह से दिल्ली जाने वाला ट्रक अब 25 हजार रुपये में मिल रहा है। चार हजार रुपये अधिक किराए का असर सीधा सब्जियों के दामों पर पड़ा है। दिल्ली सब्जियां भेजने में किसान आंदोलन भी आड़े आ रहा है। इसके वजह से स्थानीय सब्जी उत्पादकों की सब्जियों की बेकद्री हो रही है। बघी गांव का किसान रामवीर सैनी छोटा हाथी 800 रुपये किराए पर लेकर मंडी में गोभी बेचने आया था। लेकिन, उसकी गोभी से किराए की धनराशि भी नहीं मिल पाई। इसकी वजह से वह वह आढ़ती के सामने ही गोभी फेंक गया। ऐसा ही हाल गोभी के तमाम किसानों का है। रोजाना मंडी में दाम बढ़ने की आस लेकर किसान गोभी भर तो लाते हैं।

कौड़‍ियों के दाम बेचने को मजबूर हैं

पालक चार रुपये किलो तक बिक रहा है। दिसंबर और जनवरी में आल पचास रुपये किलो और टमाटर 80 रुपये किलो तक बिका था। अब दोनों की सब्जियों के दाम बुरी तरह गिरे हैं, इससे सब्जी उत्पादक किसानों को बड़ा नुकसान हो रहा है।

स्थानीय सब्जी उत्पादकों द्वारा तैयार की गई सीजनल सब्जियों के थोक के दाम

सब्जी                पहले (प्रतिकिलो)                       अब (प्रतिकिलो)

आलू                 4 से 5 रुपये,                              3 से 3.60 रुपये

मटर                  5 से 8 रुपये,                             3 से 4 रुपये

गोभी                 3 से 4 रुपये,                             1.50 से 2 रुपये

टमाटर              9 से 12 रुपये,                            7 से 8 रुपये

इन दिनों बाहर की मंडियों से आने वाली सब्जियों के थोक के दाम

सब्जी                     पहले (प्रतिकिलो)                          अब की बिक्री (प्रतिकिलो)

प्‍याज                       28 से 32 रुपये,                           30 से 35 रुपये

कटहल                     18 से 20 रुपये,                            22 से 24 रुपये

भिंडी                        30 से 32 रुपये,                            35 से 45 रुपये

अरबी                        14 से 18 रुपये,                           20 से 21 रुपये

नींबू                          55 से 60 रुपये,                           65 से 70 रुपये

फ्रास बीन                  29 से 31 रुपये,                            31 से 36 रुपये

लौकी                        09 से 10 रुपये,                           12 से 13 रुपये

ट्रांसपोर्टर मुंशाद अली के मुताबिक डीजल के भाव बढ़ने से वाहनों के भाड़े पर एक नजर वाहन

स्थान                 पहले                                      अब 10 टायरा ट्रक

दिल्ली              11 से 12 हजार,                       14 से 15 हजार ट्रक

लखनऊ              21 से 22 हजार,                      25 से 26 हजार कैंटर(19 फुटा)

लखनऊ 13 से 14 हजार,                                  17 से 18 हजार कैंटर (14 फुटा)

लखनऊ           7 हजार से 7500,                       9 से साढ़े 9500

छोटा हाथी लोकल 800 से 900 तक,                   14 सौ से 15 सौ रुपये

मिनी लोडर लोकल 2000-2200 तक                    2800 से 3000 हजार 

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