Inflation: आम आदमी की थाली से छिन गया आलू और प्याज
सब्जियों पर महंगाई बढ़ती ही जा रही है। आलम यह है कि आम आदमी की थाली से धीरे-धीरे कई सब्ज़ियां गायब हो रही हैं। अभी टमाटर के भाव स्वाद बिगाड़ रहे थे तो अब प्याज और आलू भी महंगाई के एक्सप्रेस वे पर सवार हो गए हैं।
मुरादाबाद, जेएनएन। पिछले तीन से चार महीनों से सब्जियों पर महंगाई बढ़ती ही जा रही है। आलम यह है कि आम आदमी की थाली से धीरे-धीरे कई सब्ज़ियां गायब हो रही हैं। अभी टमाटर के भाव स्वाद बिगाड़ रहे थे, तो अब प्याज और आलू भी महंगाई के एक्सप्रेस वे पर सवार हो गए हैं। ऐसा तब है जब मंडी में दोनों सब्ज़ियों की आवक भरपूर है, लेकिन दामों ने थाली का 'नूर' छीन लिया है।
आलू और प्याज के भाव पहले से बढ़े हुए थे। लेकिन, बीते एक सप्ताह में ही प्याज दोगुनी तो आलू भी दस रुपये तक महंगा हो गया है। फुटकर मंडी में जहां प्याज 70 से 80 रुपये तो आलू 40 से 50 रुपये किलो तक बिक रहा है। जबकि, पिछले एक सप्ताह में दोनों की आवक पर कोई फर्क नहीं पड़ा है। मुरादाबाद में प्रतिदिन 150 से 170 क्विंटल प्याज और 500 से 700 क्विंटल की खपत हैं। एक सप्ताह में आलू और प्याज की आवक भी औसतन खपत के बराबर रही है। इसके बावजूद थोक मंडी में जहां प्याज 30 से 42 रुपये तो आलू 16 से 26 रुपये किलो बिक रहा है।
कालाबाज़ारी बिगाड़ रही बाज़ार का संतुलन
मुरादाबाद में आलू की आवक सम्भल, आगरा, चंदौसी, रामपुर जैसे शहरों से होती है। लेकिन, बीते कुछ दिनों से मंडी में सम्भल पर निर्भर है। आढ़ती अकबर तुर्की का कहना है कि नया आलू आने में अभी करीब दो महीने हैं। ऐसे में कई बड़े कारोबारी माल स्टोर कर रहे हैं, जिस कारण इसके भाव बिगड़े हुए हैं। वहीं यही हाल प्याज का है और इसकी आवक नासिक से ही हो रही है। जिस कारण वहीं से प्याज महंगा होकर आए रहा है।
आलू और प्याज की एक सप्ताह की आवक
आलू
21 अक्टूबर - 713 क्विंटल
22 अक्टूबर - 987 क्विंटल
23 अक्टूबर - 690 क्विंटल
24 अक्टूबर - 844 क्विंटल
25 अक्टूबर - 520 क्विंटल
26 अक्टूबर - 314 क्विंटल
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प्याज
21 अक्टूबर - 430 क्विंटल
22 अक्टूबर - 170 क्विंटल
23 अक्टूबर - 545 क्विंटल
24 अक्टूबर - 194 क्विंटल
25 अक्टूबर - ---------
26 अक्टूबर - 180 क्विंटल