सांसद आजम खां के शहर रामपुर का जिला अस्पताल अब बनेगा मेडिकल कालेज, योगी सरकार ने दी मंजूरी
Rampurs District Hospital be Medical College रामपुर समेत आसपास के जिले के लोगों को अब इलाज के लिए ज्यादा मशक्कत नहीं करनी पड़ेगी। उन्हें अपने ही शहर रामपुर में हर गंभीर बीमारी का इलाज मिलेगा। प्रदेश सरकार ने 16 जिलों में मेडिकल कालेज खोले जाने का फैसला लिया है।
मुरादाबाद, जेएनएन। Rampurs District Hospital be Medical College : रामपुर समेत आसपास के जिले के लोगों को अब इलाज के लिए ज्यादा मशक्कत नहीं करनी पड़ेगी। उन्हें अपने ही शहर रामपुर में हर गंभीर बीमारी का इलाज मिलेगा। प्रदेश सरकार ने 16 जिलों में मेडिकल कालेज खोले जाने का फैसला लिया है। इसमें रामपुर भी शामिल है। यहां पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप (थ्री पी) माडल पर मेडिकल कालेज बनाया जाएगा। दो सितंबर को हुई कैबिनेट की बैठक में इसे मंजूरी मिल गई है।
अब जिला अस्पताल को ही मेडिकल कालेज में तब्दील कर दिया जाएगा। इसके बाद यहां इलाज के साथ ही मेडिकल की पढ़ाई भी शुरू हाे जााएगी। युवाओं को मेडिकल की पढ़ाई के लिए बाहर नहीं जाना पड़ेगा। जिला अस्पताल को मेडिकल कालेज बनाने के लिए शासन ने रिपोर्ट मांगी थी। 26 अगस्त को जिला अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डा. एचके मित्रा द्वारा रिपोर्ट भेजी गई। कैबिनेट की बैठक से एक दिन पहले मुख्य चिकित्सा अधीक्षक द्वारा मेडिकल कालेज के लिए नक्शा भी भेजा गया था।
मेडिकल कालेज में होगा 500 बेड का अस्पतालः जिला अस्पताल में वर्तमान में पुरुष और महिला संयुक्त चिकित्सालय चल रहा है। दोनों काे मिलाकर यहां मेडिकल कालेज बनाया जाएगा। इस मेडिकल कालेज में 500 बेड की सुविधा होगी। वर्तमान में जिला पुरुष अस्पताल में 210 बेड हैं। 100 बेड का आइसोलेशन वार्ड है, जिसे कोरोना काल में एल-टू हास्पिटल बनाया गया था। 100 बेड महिला चिकित्सालय में हैं। 50 बेड का एक वार्ड जिला अस्पताल की दूसरी मंजिल पर बना है, जिसमें डेंगू वार्ड भी शामिल है। 50 बेड की और व्यवस्था की जाएगी। इस तरह मेडिकल कालेज के लिए 500 बेड हो जाएंगे। प्रशासनिक भवन जिला अस्पताल के भूतल पर बना हुआ है। इसके अलावा अस्पताल में जितनी भी खाली जगह है, उसका इस्तेमाल किया जाएगा।
नर्सिंग मैस में बनेगा लैक्चर थियेटरः जिला अस्पताल में नर्सिंग मैस को तुड़वाकर लैक्चर थियेटर बनवा दिया जाएगा। यहां तीन लैक्चर थियेटर बनाए जाएंगे। पैथोलोजी लैब पहले से है। कोरोना की आरटीपीसीआर के लिए पुरानी बिल्डिंग में एक नई लैब बनाई जा रही है। एक्सरे डिपार्टमेंट पहले से है। मेडिकल कालेज में फोरेंसिक लैब और फार्मेसी की भी जरूरत हाेगी, जिसे नर्सिंग सेंटर के सामने खाली जगह में बनाया जाएगा।
इन 16 जिलों में खुलेंगे मेडिकल कालेजः बागपत, बलिया, भदोही, चित्रकूट, हमीरपुर, हाथरस, कासगंज, महाराजगंज, महोबा, मैनपुरी, मऊ, रामपुर, सम्भल, संत कबीर नगर, शामली व श्रावस्ती।
क्या बोले अधिकारीः जिला अस्पताल के सीएमएस डा. एचके मित्रा ने बताया कि मेडिकल कालेज के लिए हमें किसी दूसरे विभाग से जगह नहीं मांगनी पड़ेगी। जिला अस्पताल में पर्याप्त जगह है। कैबिनेट की बैठक से एक दिन पहले भी हमने मेडिकल कालेज के लिए नक्शा और जरूरी रिपोर्ट भेजी थी। इसमें कहां क्या बनाया जा सकता है, इसकी रिपोर्ट दी थी। इसमें अस्पताल की खाली जगह के अलावा सीएमएस और सीएमओ की कोठी को भी शामिल किया गया है। हमारे नक्शे और रिपोर्ट से संतुष्ट होने के बाद ही मेडिकल कालेज के लिए मंजूरी दी गई है।
सीएमओ डा. संजीव यादव ने बताया कि मेडिकल कालेज बनने के बाद जिले में हर गंभीर बीमारी का इलाज संभव हो सकेगा। यहां न्यूराे और हार्ट सर्जरी भी हो सकेगी। लोगों को इलाज मिल सकेगा तो युवाओं को मेडिकल की पढ़ाई के लिए दूसरे शहरों में नहीं जाना पड़ेगा। थ्री पी माडल के तहत बनने वाले मेडिकल कालेज में 50 प्रतिशत बेड पर सरकारी मेडिकल कालेजों की तर्ज पर इलाज की सुविधा होगी। बाकी 50 फीसद के लिए सरकार प्राइवेट सेक्टर से प्रस्ताव मांगेगी। मेडिकल कालेज बनने के बाद जिला अस्पताल स्वास्थ्य विभाग से शिक्षा विभाग के अधीन हो जाएगा।