फेस्टिव सीजन में ऑनलाइन शापिग का बढ़ा रुझान

युवाओं में जिस तरह से आनलाइन शापिग का क्रेज बढ़ रहा है वह खुदरा दुकानदारों व बड़े शो रूम के लिए खतरे की घंटी है। दिवाली नजदीक आने के बाद भी बाजार से रौनक गायब है और रुटीन कारोबार ही हो रहा है। जबकि आनलाइन बाजार में ढेरों आफर्स के साथ पल-पल बदलते ट्रेंड्स युवाओं को आकर्षित कर रहे हैं। रही सही कसर डिलीवरी करने वालों ने पूरी कर दी जो आनलाइन सामान की सही समय पर डिलीवरी कर रहे हैं।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 16 Oct 2019 05:45 PM (IST) Updated:Thu, 17 Oct 2019 12:31 AM (IST)
फेस्टिव सीजन में ऑनलाइन शापिग का बढ़ा रुझान
फेस्टिव सीजन में ऑनलाइन शापिग का बढ़ा रुझान

जागरण संवाददाता, मीरजापुर : युवाओं में जिस तरह से आनलाइन शापिग का क्रेज बढ़ रहा है, वह खुदरा दुकानदारों व बड़े शो रूम के लिए खतरे की घंटी है। दिवाली नजदीक आने के बाद भी बाजार से रौनक गायब है और रुटीन कारोबार ही हो रहा है। जबकि आनलाइन बाजार में ढेरों आफर्स के साथ पल-पल बदलते ट्रेंड्स युवाओं को आकर्षित कर रहे हैं। रही सही कसर डिलीवरी करने वालों ने पूरी कर दी जो आनलाइन सामान की सही समय पर डिलीवरी कर रहे हैं।

इस समय चल रहे त्योहारी सीजन में आनलाइन कारोबार जोरों पर है। शहर तो शहर अब गांवों में भी इसका चलन बढ़ता जा रहा है। काफी संख्या में ग्रामीण युवा अब मोबाइल से ही सामान की खरीदारी कर रहे हैं। ग्रामीण युवक रिशु मिश्रा ने बताया कि आनलाइन बाजार में इतने आप्शन हैं कि सही चयन करने में आसानी होती है जबकि बाजार के दुकान में लिमिटेड आफर ही उपलब्ध रहते हैं। ग्रामीण युवक अब मोबाइल, कपड़े, जूते और कई फैशन एसेसरीज आनलाइन खरीदना ही पसंद कर रहे हैं। युवक प्रसून ने बताया कि जो मोबाइल बाजार में 14 हजार का मिल रहा है, वहीं आनलाइन दस हजार से भी कम कीमत पर उपलब्ध है, जिससे लोग आनलाइन बाजार से खरीदारी करने के प्रति आकर्षित हो रहे हैं। अब गांव के लोग भी मोबाइल पर सामान देखकर उसके आर्डर दे रहे हैं जिससे कूरियर कारोबार में भी उछाल आ रहा है। इसके अलावा शहरी क्षेत्र की कामकाजी महिलाओं की पसंद भी आनलाइन शापिग बनती जा रही है क्योंकि इसके लिए उन्हें बाजार जाकर समय नहीं गवाना पड़ता। कामकाजी महिला अनामिका सिंह ने बताया कि इससे समय व धन दोनों की बचत हो रही है।

बोले उपभोक्ता

इस समय त्योहार का सीजन है और काम भी करना है तो बाजार जाकर शापिग करने का समय नहीं मिलता। आनलाइन सुविधा बेहतर लगती है।

- निधि मधेशिया

---------------

आनलाइन शापिग काफी आसान है और इसमें च्वाइस भी ज्यादा मिलती है। आप जो सोच रहे हैं वैसे सामान आनलाइन मिल जाएंगे लेकिन बाजार में बहुत घूमना पड़ेगा।

- रजनी दूबे

-------------------

आनलाइन शापिग के फायदे तो हैं, कुछ नुकसान भी है। जैसे आपको सामान वापसी में दिक्कत होती है या फिर गलत सामान मिल गया तो परेशानी उठानी पड़ेगी।

-श्रृंखला सिंह

-------------------

इतने आफर्स मिलते हैं और कीमत भी कम लगती है जिसकी वजह से आनलाइन शापिग का मोह नहीं छोड़ पाते। हां अपने यहां डिलीवरी सिस्टम अभी अच्छा नहीं है।

- उषा तिवारी

-------------------

हम तो हमेशा से ही बाजार में जाकर ही सामान लेते रहे हैं लेकिन आनलाइन शापिग की जानकारी होने से यह आसान लग रहा है। कुछ सामान इस बार खरीदा है।

- सीता सिंह

---------------

हर जगह बदलाव हो रहा है तो अब खरीदारी का ट्रेंड भी बदल रहा है। अब तो छोटे-छोटे बच्चे भी मोबाइल पर ही आर्डर दे रहे हैं और सामान घर पहुंचने पर पता चलता है कि यह मंगाया गया है।

- वंदना बरनवाल

chat bot
आपका साथी