पुलिस की सक्रियता बढ़ने से 2019 में अपराध का गिरा ग्राफ

पुलिस की सक्रियता के चलते 2019 के दौरान अपराध का ग्राफ काफी नीचे गिरा है। हत्या लूट समेत अन्य घटनाओं में काफी कमी आई है। जो घटनाए हुई है उसका शतप्रतिशत पर्दाफाश किया गया है। अपराधी भी कानून व्यवस्था चुस्त दुरूस्त होने के कारण अपराध करने से डरने लगे हैं।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 02 Jan 2020 07:44 PM (IST) Updated:Thu, 02 Jan 2020 07:44 PM (IST)
पुलिस की सक्रियता बढ़ने से 2019 में अपराध का गिरा ग्राफ
पुलिस की सक्रियता बढ़ने से 2019 में अपराध का गिरा ग्राफ

जागरण संवाददाता, मीरजापुर : पुलिस की सक्रियता के चलते 2019 के दौरान अपराध का ग्राफ काफी नीचे गिरा है। हत्या, लूट समेत अन्य घटनाओं में काफी कमी आई है। जो घटनाएं हुई है उसका शत-प्रतिशत पर्दाफाश किया गया है। अपराधी भी कानून व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त होने के कारण अपराध करने से डरने लगे हैं। यहीं कारण है कि जनपद में अमन चैन कायम हुआ है। ये बाते पुलिस अधीक्षक डा. धर्मवीर सिंह ने नववर्ष पर बातचीत के दौरान बताई।

उन्होंने बताया कि वर्ष 2019 में हुई घटनाओं की बात करें तो 25 हत्याएं हुई। इसमें 71 आरोपितों की गिरफ्तारी की गई। लूट की छह घटनाओं में 19 आरोपितों को गिरफ्तार कर दो लाख 70 हजार 50 रुपये बरामद किए गए। वाहन चोरी की 107 घटनाएं हुई जिसमें 48 लोगों को पकड़कर 70 वाहन बरामद किए गए। चोरी की 61 घटनाओं के आरोप में 35 आरोपितों को गिरफ्तार करते हुए आठ लाख 75 हजार रुपये के जेवरात समेत अन्य सामान बरामद किए गए। वहीं 80 अन्य चोरियां हुई जिसमें 73 लोग पकड़े गए। इनके पास से 84 लाख दो हजार 180 रुपये का सामान बरामद हुआ। एनडीपीएस में 73 मुदकमे दर्ज हुए 89 लोगों को गिरफ्तार किया गया। इसमें भारी मात्रा में गांजा, हेराइन, नशीला पाउडर भांग आदि बरामद हुआ। आबकारी एक्ट में 400 मुकदमा दर्ज किया गया तथा 432 लोगों को पकड़ा गया। शस्त्र अधिनियम में 65 मुकदमे लिखे गए और 65 की गिरफ्तारी की गई। इसमें देशी रिवाल्वर, देशी तमंचा, कारतूस, पिस्टल व चाकू बरामद हुए। जुआ अधिनियम में 43 मुकदमे दर्ज किए गए इसमें 202 गिरफ्तारी हुई। मालफड़ से सात लाख 79 हजार 545 रुपये बरामद किए गए। गोवध अधिनियम के मामले में 37 मामले पंजीकृत करते हुए 48 तस्करों को पकड़ा गया। 843 गोवंश बरामद हुए। गैंगस्टर में 20 मुकदमे लिखे गए 60 की गिरफ्तारी की गई। गुंडा अधिनियम में 278 मामले दर्ज करते हुए 278 को पकड़ा गया। 56 जिला बदर किए गए। एमवी एक्ट में 38 हजार 279 मामले दर्ज किए गए। 38279 लोग पकड़ा गया। इनसे 46 लाख 20 हजार 200 रुपये शमन शुल्क वसूले गए।

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