विध्य कारिडोर के 92 प्रभावितों को मिलेगा मुआवजा, सूची जारी
विध्याचल में विध्य कारिडोर के निर्माण की प्रक्रिया तेजी से चल रही है इसके तहत विध्य कारिडोर परिक्षेत्र में आने वाले लोगों को सरकार द्वारा उचित मुआवजा भी दिया जा रहा है। विध्य कारिडोर परिक्षेत्र से प्रभावित 92 परिवार की सूची स्टेट बैंक तिराहा स्थित प्रशासनिक भवन में सोमवार को जारी कर दी गई।
जागरण संवाददाता, विध्याचल (मीरजापुर) : विध्याचल में विध्य कारिडोर के निर्माण की प्रक्रिया तेजी से चल रही है, इसके तहत विध्य कारिडोर परिक्षेत्र में आने वाले लोगों को सरकार द्वारा मुआवजा भी दिया जा रहा है। विध्य कारिडोर परिक्षेत्र से प्रभावित 92 परिवार की सूची स्टेट बैंक तिराहा स्थित प्रशासनिक भवन में सोमवार को जारी कर दी गई। प्रशासन द्वारा जारी सूची में मूल्य वर्ग मीटर की दर से निर्धारित किया जा रहा है।
समेकित पर्यटन विकास के क्रम में मां विध्यवासिनी देवी मंदिर के चारों तरफ 50 फीट परिक्रमा पथ प्रस्तावित है। जिसका भौतिक सत्यापन करने पर पाया गया कि प्रस्तावित परिक्रमा पथ में 92 भवन शामिल हैं। इन 92 भवनों के स्वामियों की सूची तैयार की गयी है। अब सूची का निरीक्षण करने के लिए तथा किसी भी तरह की आपत्ति होने पर भवन स्वामी लिखित रूप से आपत्ति दर्ज करा सकते हैं। सोमवार को विध्य विद्यापीठ इंटर कालेज के प्रधानाचार्य रघुनाथ सिंह ने आपत्ति जताते हुए कहा कि मंदिर के पास मेरी जमीन है लेकिन जारी किए गए सूची में मेरा नाम नहीं है बल्कि वहां रहने वाले किराएदारों का नाम दर्ज किया गया है। इसलिए उनका नाम काटकर मेरा नाम दर्ज किया जाए। वहीं अजीत पाठक व सुदामा शुक्ला ने बताया कि उनका नाम लिस्ट में नहीं है। इसके अलावा प्रकाश पाठक न्यू वीआईपी, राजन गुप्ता मंदिर के पास, अनिल गुप्ता, कचौड़ी की गली का कहना है कि जमीन का सर्किल रेट दर्शाया नहीं जा रहा है। उन्हें जमीन के बदले कितना मुआवजा मिलेगा यह भी नहीं बताया जा रहा है। इन लोगों ने प्रशासन के कार्यशैली पर नाराजगी जताई। कहा कि इससे सभी के साथ छल होने की आशंका हो रही है। इनसेट
दो घंटे बाद भी कैंप से गायब हुए अधिकारी व कर्मचारी
विध्य कॉरिडोर के सन्दर्भ में विध्याचल के प्रशासनिक भवन में कैंप खोला गया है। इसमें सुबह दस से शाम चार बजे तक नायब तहसीलदार, लोक निर्माण विभाग के जेई व संबंधित लेखपाल तैनात रहेंगे। तीनों अधिकारी व कर्मचारी नौ से 11 दिसंबर मौजूद रहकर 92 भवन स्वामियों द्वारा दर्ज कराए जाने वाली आपत्ति को नोट करेंगे। लेकिन पहले ही दिन भवन में तैनात किए गए कर्मचारी एक घंटे विलंब से पहुंचे और दो घंटा वहां रूकने के बाद चले गए। इससे कैंप पर अपनी आपत्ति दर्ज कराने पहुंचे शिकायतकर्ताओं को परेशानी का सामना करना पड़ा। कई घंटे तक इंतजार करने के बाद जब कोई नहीं आया तो शिकायतकर्ता वहां से चले गए।