Subhash Chandra Bose Jayanti 2021: नेताजी से ही है मेरठ की पहचान, शहर के कई स्‍थलों से जुड़ी है इनकी अनमोल यादें

मेरठ में एक बार नेताजी सुभाष चंद्र बोस के आने का जिक्र मिलता है लेकिन मेरठ में ऐसे कई स्थल हैं। जो उनकी अनमोल यादों को कभी भी विस्म़ृत नहीं होने देंगे। शहर की पहचान कराने वाला घंटाघर भी नेताजी सुभाष चंद्र बोस के नाम पर है।

By Himanshu DwivediEdited By: Publish:Sat, 23 Jan 2021 01:00 AM (IST) Updated:Sat, 23 Jan 2021 06:18 AM (IST)
Subhash Chandra Bose Jayanti 2021: नेताजी से ही है मेरठ की पहचान, शहर के कई स्‍थलों से जुड़ी है इनकी अनमोल यादें
मेरठ में सुबाष चंद्र बोस जुड़ी हैं अनमोल यादें।

[विवेक राव] मेरठ। 23 जनवरी को नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती है। मेरठ में एक बार नेताजी सुभाष चंद्र बोस के आने का जिक्र मिलता है, लेकिन मेरठ में ऐसे कई स्थल हैं। जो उनकी अनमोल यादों को कभी भी विस्म़ृत नहीं होने देंगे। शहर की पहचान कराने वाला घंटाघर भी नेताजी सुभाष चंद्र बोस के नाम पर है।

नेताजी सुभाष चंद्र बोस के नाम पर आज मेरठ के घंटाघर की पहचान है। ब्रिटिशकाल में 1913 में घंटाघर का निर्माण हुआ था। ब्रिटेन से ही घंटाघर पर लगाने के लिए घड़ी भी मंगाई गई थी। बताते हैं कि घंटाघर पर लगे इस घड़ी के पेंडलुम की आवाज हर घंटे पर कई किलोमीटर तक सुनाई देती थी। मेरठ में जब नेताजी सुभाष चंद्र आए थे, उन्हें घंटाघर की तारीफ की थी। आजादी के बाद घंटाघर की इस बिल्डिंग का नाम नेताजी सुभाष चंद्र बोस द्वार रखा गया। 1957 में इस द्वार का नाम नेताजी पर रखा गया था।

नेताजी के नाम पर समिति

हर साल नेताजी की जयंती पर मेरठ में एक बड़ा कार्यक्रम होता है। इसे उनके नाम पर बनी समिति कराती है। नेताजी ने दो संगठन बनाया था। सिपाही के तौर पर आजाद हिंद फौज में ज्वाइन करते थे। जो नागरिक होते थे, वह आजाद हिंद संघ से जुड़ते थे। इस संघ से मेरठ के बहुत से लोग जुड़े थे। 1969 में मेरठ में नेताजी सुभाष जन्मदिवस समिति गठित र्हुइ। जो हर साल उनके दिवस पर कार्यक्रम करती है।|

कमिश्नरी पार्क के सामने नेताजी

कमिश्नरी के सामने सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा का अनावरण 23 जनवरी 1985 को हुआ था। बताया जाता है कि पहले पार्क का नाम सुभाष चंद्र बोस के नाम पर ही था। बाद में इसका नाम बदल गया।

नेताजी के नाम पर सबसे बड़ा प्रेक्षागृह, कई कालेज

नेताजी सुभाष चंद्र बोस के नाम पर शहर का सबसे बड़ा प्रेक्षागृह चौधरी चरण सिंह विवि में है। वहीं जिले में कई कालेज और स्कूल भी नेताजी सुभाष चंद्र बोस के नाम पर हैं, जहां उनके जन्मदिवस पर गणतंत्र दिवस की तरह कार्यक्रम भी आयोजित किए जाते हैं।

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