Badan Singh Baddo: जांच में हुआ खुलासा, बद्दो का खर्च उठा रहे थे मेरठ के कई बड़े फाइनेंसर

दो लाख के इनामी हिस्ट्रीशीटर बदन सिंह बद्दो और उसके सहयोगियों पर फिर से कड़ी कार्रवाई की जा रही है। एएसपी कृष्ण विश्नोई ने बद्दो की पूरी हिस्ट्री खंगाली है। जांच में सामने आया कि बद्दो का खर्च शहर के कई फाइनेंसर उठा रहे थे।

By Prem BhattEdited By: Publish:Sat, 24 Oct 2020 12:04 AM (IST) Updated:Sat, 24 Oct 2020 07:22 AM (IST)
Badan Singh Baddo: जांच में हुआ खुलासा, बद्दो का खर्च उठा रहे थे मेरठ के कई बड़े फाइनेंसर
बदन सिंह बद्दो से शहर के कई बड़ फाइनेंसर से नाता था।

मेरठ, जेएनएन। दो लाख के इनामी हिस्ट्रीशीटर बदन सिंह बद्दो और उसके सहयोगियों पर फिर से कड़ी कार्रवाई की जा रही है। एएसपी कृष्ण विश्नोई ने बद्दो की पूरी हिस्ट्री खंगाली है। जांच में सामने आया कि बद्दो का खर्च शहर के कई फाइनेंसर उठा रहे थे। सभी को बारी-बारी से बुलाकर एएसपी पूछताछ कर रहे हैं। पांच नाम ऐसे सामने आए है, जिनके फर्जी कागजात बदन सिंह बद्दो ने उपयोग किए। उक्त सभी लोग वास्तविकता में नहीं पाए गए।

बद्दो के नाम पर अब भी वसूली

जांच में पता चला है कि बद्दो की धमकी देकर अभी भी फाइनेंस को दी गई रकम वसूली जा रही है। पुलिस मान रही है कि उक्त फाइनेंसरों के पास बदन सिंह का पैसा लगा है। फाइनेंसरों की पुरानी डायरी तक देखी जा रही है। एक फाइनेंसर की दुकान खरीद में भी 45 लाख का मामला सामने आ रहा है। उससे एएसपी ने दुकान के कागजात मंगाए हैं। इसके अलावा पांच ऐसे नाम सामने आए है, जो बद्दो की पुलिस और न्यायालय से मदद करा चुके हैं, लेकिन वास्तविकता में नहीं पाए गए। यानि उनके कागजात फर्जी तरीके से उपयोग किए गए। एसएसपी अजय साहनी ने बताया कि इसबार बदन सिंह बद्दो और उसके सहयोगी बड़ी कार्रवाई से बच नहीं पाएंगे। पुलिस सभी तथ्यों के आधार पर काम कर रही है।

नगर निगम पहुंच कर एएसपी ने मांगा रिकार्ड

टीपीनगर थाना क्षेत्र के जगन्नाथपुरी में बहादुर मोटर्स के पीछे इंदूबाला और शशिबाला दो बहनों ने कालोनी काटी थी। कालोनी के तीन हजार वर्ग मीटर पार्क पर बद्दो और उसके सहयोगी सोनू सहगल, डिपिन सूरी, अनिल हांडा, पपीत बड़ला, अमित कुमार पम्मा, बद्दो की भाभी कुलजीत कौर, बद्दो की बहन जगजीत कौर ने अवैध रूप से दुकानें बना दी है। उसका रिकॉर्ड लेने के लिए एएसपी शुक्रवार को नगर निगम गए थे। इसका पूरा रिकार्ड मिलने के बाद पार्क पर बनी दुकानों पर कार्रवाई हो सकती है।  

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