Kisan Andolan: आंदोलन का एक साल पूरा, गाजीपुर बार्डर पर महापंचायत को मेरठ से भी जुटेंगे किसान, ऐसी है तैयारी

Kisan Andolan शुक्रवार को मेरठ से महापंचायत के लिए 15 ट्रैक्टर व 20 गाड़ियों के साथ रवाना होंगे भाकियू के किसान। मेरठ में सिवाया टोल पर भाकियू के धरने को पूरे हो जाएंगे छह माह 26 मई से सिवाया टोल पर जारी है धरना।

By Prem Dutt BhattEdited By: Publish:Thu, 25 Nov 2021 02:03 PM (IST) Updated:Thu, 25 Nov 2021 03:45 PM (IST)
Kisan Andolan: आंदोलन का एक साल पूरा, गाजीपुर बार्डर पर महापंचायत को मेरठ से भी जुटेंगे किसान, ऐसी है तैयारी
गाजीपुर बार्डर पर कल होने वाली महापंचायत में मेरठ से भी किसान जुटेंगे।

मेरठ,जागरण संवाददाता। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की घोषणा के बाद केंद्रीय मंत्रिमंडल की मंजूरी मिलने पर तीनों कृषि कानूनों को निरस्त करने की मंजूरी मिल गई है। लेकिन दिल्ली की सीमाओं पर किसान आंदोलन जारी है। संयुक्त किसान मोर्चा ने कहा है कि वह अपना आंदोलन खत्म नहीं करने वाले। क्योंकि उनकी मांगें अभी भी बाकी है। इन मांगों में मुख्य रूप से फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य एमएसपी पर कानून शामिल है। दिल्ली की सीमाओं पर चल रहे किसान आंदोलन को 26 नवंबर 2021 को पूरा एक साल हो जाएगा।

बनाई जाएगी आगे की रणनीति

एक साल पूरा होने पर गाजीपुर बार्डर पर किसानों की महापंचायत होगी। जिसमें आगे की रणनीति तय की जाएगी। इसके लिए बार्डर पर किसानों का हुजूम जुटना शुरू हो गया है। मेरठ से भी इसमें भाकियू के किसान शामिल होंगे। उधर, मेरठ में गुरुवार को भाजपा किसान मोर्चा ने ट्रैक्टर रैली का आयोजन करते हुए कृषि कानूनों की वापसी को अपना समर्थन दिया।

मेरठ से महापंचायत में जाएंगे भाकियू के किसान

संयुक्त किसान मोर्चा के आहवान पर किसानों ने गाजीपुर बार्डर पर 26 नवंबर शुक्रवार को होने वाली महापंचायत की तैयारी शुरू कर दी है।महापंचायत के लिए किसान जुटने शुरू हो गए हैं। मेरठ से भारतीय किसान यूनियन के पदाधिकारी लगभग 15 ट्रैक्टर व 20 गाड़ियों के काफिले के साथ गाजीपुर बार्डर के लिए शुक्रवार सवेरे रवाना होंगे। भाकियू जिलाध्यक्ष मनोज त्यागी ने बताया कि भारतीय किसान यूनियन की ओर से मेरठ से लगभग 200 किसानों की महापंचायत में भागीदारी होगी।

मेरठ के किसानों की रही सक्रिय भागीदारी

किसान आंदोलन को 26 नवंबर को एक वर्ष पूरा हो जाएगा। इसमें मेरठ का अहम योगदान रहा। भारतीय किसान यूनियन के किसानों ने आंदोलन के शुरूआती चरण में गाजीपुर बार्डर पर पूरा सहयोग किया। गाजीपुर बार्डर पर मेरठ से प्रतिदिन किसानों की आवाजाही जारी बनी रही। तय किए गए निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार किसानों की तैनाती की गई। मेरठ से जाने वाले किसान अपने साथ आटा, दाल, चावल आदि राशन सामग्री लेकर गाजीपुर बार्डर पहुचंते थे।

तीन ट्रैक्टर रैलियां मेरठ से होकर गुजरीं

किसान आंदोलन को मजबूती दिलाने वाली भाकियू की तीन बड़ी ट्रैक्टर रैलियां मेरठ से होकर गुजरी हैं। 24 जून को सहारनपुर, नौ जुलाई को शामली व 25 जुलाई को बिजनौर से भाकियू के नेतृत्व में किसानों की बड़ी ट्रैक्टर रैली मेरठ के बीच से होते हुए गाजीपुर बार्डर पहुंची और किसानों की ताकत का अहसास कराया। इन तीनों रैलियों में मेरठ से भी बड़ी संख्या में किसान शामिल हुए।

खत्म नहीं होगा सिवाया टोल का धरना

भाकियू जिलाध्यक्ष मनोज त्यागी ने बताया कि 26 मई 2021 से सिवाया टोल पर धरना प्रदर्शन जारी है। शुक्रवार को इस धरने को भी छह माह पूरे हो जाएंगे। इस बीच में कई बार राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने भी पहुंचकर किसानों को संबोधित करते हुए हौंसला बढ़ाया। उन्होंने कहा कि भाकियू के निर्देशानुसार ही आगे का निर्णय होगा। फिलहाल, अभी धरना प्रदर्शन समाप्त नहीं होगा। धरना यथावत जारी रहेगा। एमएसपी कानून की गारंटी समेत कई बिंदुओं पर सरकार से लड़ाई जारी रहेगी।

इनका कहना है

कृषि कानूनों से छोटे किसानों को अधिक लाभ होता। यह कानून छोटे किसानों को ध्यान में रखते हुए बनाए गए थे। छोटे रकबे के किसानों को सरकार से जो उम्मीद जगी थी, वह खत्म हो गई। राजनैतिक स्वार्थ में कुछ लोगों ने सरकार की बात को किसानों तक नहीं पहुंचने दी। किसानों को लगातार गुमराह किया गया।

- वेदव्रत आर्य, प्रगतिशील किसान, ग्राम मंडौरा

कृषि कानूनों में किसानों के लिए कुछ न कुछ गलत जरूर था। तभी सरकार ने इतना बड़ा निर्णय लिया है। यदि कृषि कानूनों में बुराई नहीं थी, तो सरकार इन्हें वापस ही नहीं करती। सरकार ने किसानों के हित में ही निर्णय लिया है।

- कुलानंद राणा, प्रगतिशील किसान, ग्राम जयसिंहपुर

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