दौराला के किसानों ने जमीन का रेट मांगा 13,200 रुपये

रैपिड रेल का डिपो रुड़की रोड पर दौराला में 74 हेक्टेयर जमीन में बनेगा।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 21 May 2019 01:50 AM (IST) Updated:Tue, 21 May 2019 06:26 AM (IST)
दौराला के किसानों ने जमीन का रेट मांगा 13,200 रुपये
दौराला के किसानों ने जमीन का रेट मांगा 13,200 रुपये

मेरठ : रैपिड रेल का डिपो रुड़की रोड पर दौराला में 74 हेक्टेयर जमीन में बनेगा। इसके लिए एनसीआरटीसी आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे की तरह जमीन का अधिग्रहण नहीं करेगी, बल्कि आपसी सहमति से जमीन खरीदेगी। सोमवार को भूमि मूल्य अनुमोदन समिति ने किसानों से प्रथम चरण की वार्ता की। कुछ किसानों ने कम मूल्य देने का आरोप लगाते हुए जमीन न देने की घोषणा कर दी। वहीं कुछ किसानों ने नगरीय क्षेत्र के रेट (6600 रुपये प्रति वर्ग मीटर) के आधार पर 13,200 रुपये मूल्य की मांग की। किसानों का कहना था कि नगर पंचायत होने के बावजूद दौराला की जमीन का सर्किट रेट काफी कम है, जबकि सटे सिवाया गांव का सर्किल रेट दौराला से ज्यादा है।

रैपिड रेल के लिए मिंट्टी की जांच का काम लगभग पूरा होने वाला है। इस बीच एनसीआरटीसी अफसरों ने इसके लिए जमीन की व्यवस्था करने का कार्य शुरू कर दिया है। दिल्ली से मेरठ के बीच चलने वाली रैपिड रेल का मेरठ में डिपो रुड़की रोड पर दौराला में बनेगा। इसके लिए 74 हेक्टेयर जमीन की जरूरत होगी। एनसीआरटीसी अफसरों का कहना है कि भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया लंबी होती है लिहाजा यहां सीधे किसानों से बात करके आपसी सहमति से जमीन ली जाएगी। दौराला के लगभग 150 किसान परिवारों की जमीन ली जानी है। सोमवार को भूमि मूल्य अनुमोदन समिति के अधिकारियों ने किसानों से प्रथम चरण की वार्ता की। बचत भवन सभागार में हुई बैठक में अपर जिलाधिकारी भूमि अध्याप्ति ज्ञानेंद्र सिंह, अपर जिलाधिकारी वित्त सुभाषचंद्र प्रजापति, एआइजी स्टांप वीके तिवारी, आरआरटीएस के चीफ प्रोजेक्ट मैनेजर पंकज त्यागी आदि ने किसानों को बताया कि नई भूमि अधिग्रहण नीति के तहत ग्रामीण क्षेत्र में सर्किल रेट का चारगुना तथा शहरी क्षेत्र में दोगुना रेट किसानों को दिया जाएगा। जिस पर महकार सिंह, संजय दौरालिया, रवींद्र बाबा, अनुज कुमार, वेदपाल व सतबीर आदि समेत किसानों ने दो टूक कहा कि दौराला को नगर पंचायत घोषित करके नगरीय क्षेत्र बताया जा रहा है, जबकि दौराला से सटा सिवाया गांव है। दौराला का सर्किल रेट 1200 है, जबकि सिवाया गांव का सर्किल रेट 1400 रुपये हैं। नियमानुसार सिवाया को जमीन का रेट 5600 मिलेगा और दौराला को मात्र 2400 रुपये मीटर। यह हमें मंजूर नहीं है। किसानों ने कहा कि हम जमीन नहीं देंगे। बताया कि नगरीय क्षेत्र केवल आबादी तक सीमित है। उससे आगे कृषि भूमि होती है, जो ग्रामीण क्षेत्र में आती है। हमारी खतौनी और फरद में भी दौराला गांव लिखा है। डिपो के लिए कृषि भूमि ही ली जा रही है। मुख्य मार्ग से सटी भूमि के लिए अधिक दाम देना होगा। किसानों ने कहा कि यदि दौराला को नगरीय क्षेत्र मानते हैं तो वहां का रेट 6600 रुपये मीटर माना जाए। मुआवजा 13,200 रुपये मीटर चाहिए। बैठक में एनसीआरटीसी के लायजन अफसर डीपी श्रीवास्तव भी मौजूद रहे। कॉलेज मालिक का भूमि देने से इन्कार

बैठक में दौराला की सीमा में स्थित एक कॉलेज के मालिक भी शामिल रहे। कॉलेज के विस्तार के लिए खरीदी गई भूमि भी डिपो के लिए ली जानी है। उन्होंने कहा कि वह जमीन नहीं देंगे। किसान बोले, हम आपस में तय करेंगे रेट

बैठक में किसानों ने कहा कि आज बिना किसी तैयारी के आए हैं। वे अब किसानों की पंचायत करके उसमें फैसला लेंगे, जिससे जिला प्रशासन को अवगत करा दिया जाएगा।

अभी कई दौर में चलेगी किसानों से वार्ता

एडीएम एलए ज्ञानेंद्र सिंह और एडीएम एफ सुभाषचंद्र प्रजापति ने बताया कि किसानों से जमीन आपसी समझौते से ही ली जानी है। लिहाजा किसानों से अभी कई दौर की बातचीत होगी। अभी किसानों ने अपनी समस्याएं, शिकायतें और भूमि मूल्य के प्रस्ताव हमारे सामने रखे हैं। जल्द से जल्द चाहते हैं जमीन

रैपिड रेल महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट हैं, जिसके लिए केंद्र और प्रदेश दोनों सरकार गंभीर हैं। हम जल्द से जल्द जमीन अधिग्रहण करके काम शुरू करना चाहते हैं। जमीन का रेट तय करने के लिए भूमि मूल्य अनुमोदन समिति गठित की गई है, जिसकी मदद से यह काम आसानी से संभव हो जाएगा।

पंकज त्यागी, चीफ प्रोजेक्ट मैनेजर, एनसीआरटीसी शासन से लेनी होगी अनुमति

जिलाधिकारी की अध्यक्षता वाली भूमि मूल्य अनुमोदन समिति नियमानुसार 10 करोड़ तक के प्रोजेक्ट को अनुमति दे सकती है। 50 करोड़ तक वाले मामलों में कमिश्नर निर्णय लेंगे। इस प्रोजेक्ट को शासन स्तर से अनुमोदन दिलाना होगा।

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