Delhi-Meerut Expressway: किनारे मजबूत करेगा जियो सेल, बारिश से नहीं धंसेगा कंक्रीट वाला हिस्सा

दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे पर कंक्रीट वाले किनारे अंडरपास ओवरब्रिज के पास आरई वाल के साथ बनाए जाते हैं। इन हिस्सों की जांच हुई तो देखा गया कि उसमें मिट्टी की सतह धंस जाने से कंक्रीट वाली परत भी टूट गई। जिससे गहरे गड्ढे हो गए।

By Prem Dutt BhattEdited By: Publish:Sat, 31 Jul 2021 11:30 PM (IST) Updated:Sat, 31 Jul 2021 11:30 PM (IST)
Delhi-Meerut Expressway: किनारे मजबूत करेगा जियो सेल, बारिश से नहीं धंसेगा कंक्रीट वाला हिस्सा
दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे के बराबर में कंक्रीट वाले किनारे को मजबूत करने के लिए बिछाई जा रही जियो सेल।

मेरठ, जागरण संवाददाता। Delhi-Meerut Expressway दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे पर बारिश से मिट्टी से वाले किनारे तो कटे ही लेकिन किनारे के कंक्रीट वाले हिस्से भी जब धंसे तो कार्यदायी कंपनी को सोचने पर मजबूर कर दिया। कंक्रीट वाले किनारे अंडरपास, ओवरब्रिज के पास आरई वाल के साथ बनाए जाते हैं। इन हिस्सों की जांच हुई तो देखा गया कि उसमें मिट्टी की सतह धंस जाने से कंक्रीट वाली परत भी टूट गई। जिससे गहरे गड्ढे हो गए।

जियो सेल की व्यवस्था

ऐसे कुछ स्थानों को फिर से मिट्टी भरकर कंक्रीट करके संभालने की कोशिश हुई, लेकिन बारिश ने फिर से उसे तोड़ दिया। ऐसे में इसको हमेशा के लिए मजबूत करने के लिए जियो सेल की व्यवस्था की गई। यह प्लास्टिक का एक जाल होता है। मिट्टी की सतह के ऊपर इसे डालने के बाद जब कंक्रीट डाली जाती है तो इसकी सहायता से मिट्टी व कंक्रीट के बीच मजबूत बंध पैदा होता है। जिससे कभी भी कितनी बारिश होगी मिट्टी की सतह कंक्रीट को नहीं छोड़ेगी। इसकी सहायता से कंक्रीट वाले ऐसे किनारे हमेशा के लिए मजबूत हो जाएंगे।

एक्सप्रेस-वे के किनारे खेतों से हटवाई गई होर्डिंग

एक्सप्रेस-वे के किनारे खेतों में विज्ञापन ठेकेदारों ने होर्डिंग लगा दिए हैं। इन होर्डिंग को हटाने का अभियान एनएचएआइ ने शुरू कर दिया है। दरअसल, एक्सप्रेस-वे पर तेज रफ्तार से वाहन चलते हैं। ऐसे में होर्डिंग लगे होने से चालकों का ध्यान भटकता है। जिससे दुर्घटना की आशंका रहती है। इसे देखते हुए एनएचएआइ ने होर्डिंग हटवाने शुरू किए हैं।

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