शामली: 23 साल पुराने मामले में दोषी पाए जाने पर दो लुटेरों को कोर्ट ने सुनाई चार-चार वर्ष की सजा, जुर्माना भी लगाया

1997 के लूट के एक मामले में दोष सिद्ध पाए जाने पर कोर्ट ने दो लुटेरों को चार वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई। दोषियों पर पांच-पांच हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया गया है। इस मामले में नामजद रहे दो अभियुक्तों की मौत हो चुकी है।

By PREM DUTT BHATTEdited By: Publish:Thu, 04 Mar 2021 08:56 PM (IST) Updated:Thu, 04 Mar 2021 08:56 PM (IST)
शामली: 23 साल पुराने मामले में दोषी पाए जाने पर दो लुटेरों को कोर्ट ने सुनाई चार-चार वर्ष की सजा, जुर्माना भी लगाया
शामली: दो लुटेरों को कोर्ट ने सुनाई चार-चार वर्ष की सजा

शामली, जेएनएन। वर्ष 1997 के लूट के एक मामले में दोष सिद्ध पाए जाने पर सीजेएम ने दो दोषियों को चार-चार वर्ष का कठोर कारावास व पांच-पांच हजार रुपये के अर्थदंड की सजा सुनाई है। मामले में नामजद रहे दो अभियुक्तों की पूर्व में ही मौत हो चकी है।

यह था मामला 

वादी के अधिवक्ता चौधरी सतेंद्र सिंह ने बताया कि शामली कोतवाली क्षेत्र के गांव सिंभालका निवासी शकुंतला देवी ने फरवरी 1997 में शामली कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया था। मुकदमे के अनुसार गांव के ही सुबोध पुत्र वीरेंद्र तथा वीरेंद्र, सोमपाल व हरपाल पुत्रगण होशियार सिंह ने उसकी चार पुत्रियों के साथ में मारपीट की और दो पुत्रियों के कानों से कुंडल लूट लिए गए। इसमें उसकी पुत्रियां घायल भी हुई। मामले में पुलिस ने विवेचना के उपरांत आरोप पत्र न्यायालय में प्रस्तुत कर दिया था। यह मामला कैराना स्थित मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट के यहां विचाराधीन चल रहा था। इसी बीच दो अभियुक्तों वीरेंद्र व हरपाल की मृत्यु हो गई थी। इस मामले में अभियोजन पक्ष की ओर से पांच गवाह पेश किए गए। गुरुवार को सीजेएम राजमंगल सिंह यादव ने दोनों पक्षों को सुनने तथा पत्रावलियों का अवलोकन करने के पश्चात सुबोध व सोमपाल को दोषी पाया। उन्‍हें आईपीसी की धारा 394 के तहत चार-चार वर्ष का कारावास व आईपीसी की धारा 411 के तहत तीन-तीन वर्ष के कारावास की सजा सुनाई। दोनों सजा साथ-साथ चलेंगी। वहीं, दोषियों पर पांच-पांच हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया गया है।

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