टर्म वन : परीक्षा होगी बहुविकल्पीय, पर निगेटिव मार्किंग होगी न स्टेप मार्किंग
सीबीएसई की ओर से टर्म-वन एग्जाम आफलाइन स्कूल में ही आयोजित कराई जा रही है। परीक्षा केंद्र बनेंगे या सेल्फ सेंटर होंगे इस पर अंतिम निर्णय लेना शेष है। कोविड की स्थिति ठीक रही तो परीक्षा आफलाइन होगी। टर्म-वन एग्जाम एमसीक्यू यानी बहुविकल्पीय होगी।
मेरठ, जेएनएन। सीबीएसई की ओर से टर्म-वन एग्जाम आफलाइन स्कूल में ही आयोजित कराई जा रही है। परीक्षा केंद्र बनेंगे या सेल्फ सेंटर होंगे, इस पर अंतिम निर्णय लेना शेष है। कोविड की स्थिति ठीक रही तो परीक्षा आफलाइन होगी। टर्म-वन एग्जाम एमसीक्यू यानी बहुविकल्पीय होगी। परीक्षा में कोई निगेटिव मार्किग नहीं होगी। साथ ही स्टेप मार्किग भी नहीं होगी। इसमें हर प्रश्न एक या डेढ़ अंक के होंगे जिनके उत्तर देने के लिए भी एक-डेढ़ मिनट ही मिलेंगे। उत्तर या तो सही होगा या गलत। उन पर अंक या तो पूरे मिलेंगे या फिर नहीं मिलेंगे। रटे तो फंसे, समझे तो चमके
थ्योरी परीक्षा में रटना कुछ हद तक मददगार होता था लेकिन एमसीक्यू में रटंत विद्या किसी काम नहीं आएगी। यह कांसेप्ट बेस्ड एग्जाम होगा जिसके लिए परीक्षार्थी का हर बिंदु पर पकड़ मजबूत होनी चाहिए। प्रश्न किसी भी तरह से घुमाकर पूछे जा सकते हैं। उनके सटीक उत्तर देने के लिए बारीक जानकारी अनिवार्य है। स्कूलों में शुरू से ही शिक्षकों को समझाने के तरीके बदलने और छात्रों को बेहतर समझ विकसित करने की दिशा में कार्य करने को कहा गया। नई प्रक्रिया से परीक्षार्थी उत्साहित हैं तो गलती होने से डर भी रहे हैं। समय कम है, रिवीजन जारी है
मेरठ स्कूल सहोदय काम्प्लेक्स के सचिव राहुल केसरवानी के अनुसार सभी स्कूलों ने छमाही परीक्षाएं आयोजित करा ली हैं। अब नवंबर मध्य से परीक्षा शुरू हो सकती है। ऐसे में दशहरा और दीपावली के बीच अधिक समय नहीं शेष है। ऐसे में कुछ स्कूल रिवीजन टेस्ट करा सकते हैं लेकिन फोकस परीक्षार्थियों को रिवीजन कराने पर ज्यादा है। कुछ स्कूल अपनी सुविधा के अनुसार प्री-बोर्ड भी करा रहे हैं। पेपर पूरे देश के लिए एक समान होंगे। ऐसे में कुछ जगह स्कूल पहले खुले तो बाकी जगह देर से खुले। ऐसे में मार्किग स्कीम और प्रश्नपत्र की कठिनता के स्तर पर लचीलापन बरता जा सकता है।
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इनका कहना है..
शनिवार से प्री-बोर्ड शुरू हो रहे हैं। यह पूरी तरह से टर्म-वन परीक्षा की ही तरह होगी। पेपर के तीन सेट बनाए हैं। परीक्षा 90 मिनट की होगी। एक कक्ष में 24 बच्चे होंगे। ओएमआर पर उत्तर भरने होंगे। इससे बच्चों का अभ्यास होगा। एमसीक्यू से बच्चों की पढ़ाई को कांसेप्ट क्लीयर करने में मदद मिल रही है। इसक लाभ उन्हें जेईई, नीट सहित हर प्रतियोगी परीक्षा में मिलेगा जिनकी परीक्षा कांसेप्ट आधारित ही होती हैं।
-एके दुबे, प्रिंसिपल, दीवान पब्लिक स्कूल ज्यादातर स्कूल बोर्ड आधारित एमसीक्यू और ओएमआर से प्रैक्टिस पेपर करा रहे हैं। यह सभी टेस्ट आफलाइन हो रहे हैं जिसमें बच्चे भी हिस्सा ले रहे हैं। प्री-बोर्ड नवंबर के पहले सप्ताह में होंगे। उसके करीब 10 दिन बाद टर्म-वन एग्जाम भी होगा। टर्म-वन के लिए सीबीएसई परीक्षा केंद्र बनाएगा या सेल्फ सेंटर होंगे, इस पर एक सप्ताह में होने वाली सिटी कोआर्डिनेटर्स की बैठक में निर्णय लिया जा सकता है।
-सुधांशु शेखर, सीबीएसई सिटी कोआर्डिनेटर व प्रिंसिपल, केएल इंटरनेशनल स्कूल