मेरठ में लाखों के भ्रष्टाचार का मामला: डिफेंस कालोनीवासियों को कब मिलेगा एनओसी के नाम पर लूट से छुटकारा

एनओसी के नाम पर कालोनी के निवासियों को लंबे समय से उत्पीडऩ किया जा रहा है। आरोप है कि एनओसी के लिए लाभांश की राशि का दस फीसद पैसा मांगा जाता है। यह दस फीसद लाखों में होता है।

By Himanshu DwivediEdited By: Publish:Fri, 30 Jul 2021 10:18 AM (IST) Updated:Fri, 30 Jul 2021 10:18 AM (IST)
मेरठ में लाखों के भ्रष्टाचार का मामला: डिफेंस कालोनीवासियों को कब मिलेगा एनओसी के नाम पर लूट से छुटकारा
मेरठ में लाखों के भ्रष्टाचार का मामला

जागरण संवाददाता, मेरठ। मवाना रोड स्थित डिफेंस कालोनी में प्लाट अथवा मकान की बिक्री करने से पहले द सैनिक सहकारी आवास समिति से एनओसी लेनी होती है। लेकिन इस एनओसी के नाम पर कालोनी के निवासियों को लंबे समय से उत्पीडऩ किया जा रहा है। आरोप है कि एनओसी के लिए लाभांश की राशि का दस फीसद पैसा मांगा जाता है। यह दस फीसद लाखों में होता है। कालोनी के निवासियों का आरोप सही माने तो भारी भरकम राशि का नोटिस भेजकर उसके बाद मनमानी राशि में एनओसी जारी कर दी जाती है। इसमें से भी आधा अधूरा पैसा समिति के खाते में जमा किया जाता है।

सही मिले लाखों की धांधली के आरोप

कालोनी के निवासियों ने समिति के वर्तमान अध्यक्ष और सचिव पर एनओसी के नाम पर लाखों रुपये की आर्थिक क्षति समिति को पहुंचाने का आरोप लगाते हुए शिकायत की थी। जिसकी जांच में एसीएम सिविल लाइन को आरोप सही भी मिले। उनकी जांच रिपोर्ट को जिलाधिकारी ने संस्तुति के साथ आवास आयुक्त को भेजा था। जिस पर अध्यक्ष और सचिव दोनों को पद से हटाने का आदेश जारी किया जा चुका है।

नया आदेश 50 हजार में दें एनओसी, अध्यक्ष का मानने से इंकार

पूरे प्रदेश से एनओसी के नाम पर धांधली और भारी भरकम वसूली की शिकायतों को देखते हुए आवास आयुक्त ने अप्रैल 2021 में नया आदेश जारी किया। जिसके मुताबिक सर्किल रेट का एक फीसद अथवा 50 हजार रुपया (दोनों में से जो भी कम हो) लेकर एनओसी जारी की जाए। उक्त आदेश डिफेंस कालोनी के पदाधिकारियों के पास भी पहुंचा लेकिन समिति अध्यक्ष ने आवास आयुक्त को पत्र भेजकर अवगत कराया कि प्रबंध समिति की बैठक में इस नए आदेश को स्वीकार करने से इंकार कर दिया गया है। जिससे नाराज संयुक्त आयुक्त आवास और संयुक्त निबंधक ने समिति अध्यक्ष को कड़ा आदेश जारी किया है। जिसमें उन्होंने इसे मनमानी बताते हुए उच्चाधिकारियों के आदेशों की अवहेलना माना है तथा नए आदेश के मुताबिक कालोनी निवासियों को तत्काल एनओसी जारी करने का आदेश दिया है।

समिति कर रही भ्रष्टाचार की जांच

एनओसी के नाम पर लाखों रुपये की आर्थिक क्षति पहुंचाने के आरोपों के संबंध में सहकारी समिति के अध्यक्ष ने आवास आयुक्त से मिलकर बताया था कि जांच में उनका पक्ष नहीं सुना गया है। वहीं शिकायतकर्ताओं ने भी आवास आयुक्त से मिलकर साक्ष्य दिखाए और भ्रष्टाचार के आरोपियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई करने की मांग की थी। आवास आयुक्त ने डीएम को इस मामले की नए सिरे से जांच कराने और दोनों पक्षों की पूरी बात सुनकर निष्पक्ष रिपोर्ट उपलब्ध कराने का आदेश दिया है। जिसपर जिलाधिकारी ने एडीएम भूमि अध्याप्ति की अध्यक्षता में तीन अफसरों की जांच समिति का गठन किया था। समिति के सामने दोनों पक्ष 24 जुलाई को पेश हो चुके हैं।

गुरुवार को नहीं हुई सुनवाई

आवासीय समिति के अध्यक्ष को जांच समिति ने 29 जुलाई को आरोपों पर अपना जवाब दाखिल कराने का आदेश दिया था। वहीं शिकायतकर्ताओं ने भी अपने साक्ष्य शपथपत्र के साथ उपलब्ध कराने की तैयारी कर रखी थी। लेकिन गुरुवार को बागपत में मुख्यमंत्री का दौरा था। वहां जांच समिति के अध्यक्ष एडीएम भूमि अध्याप्ति की ड्यूटी लगी थी। जिसके चलते डिफेंस कालोनी के मामले में आज सुनवाई नहीं हो सकी। उन्होंने बताया कि जल्द नई तिथि में दोनों पक्षों को बुलाया जाएगा। 

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