ससुर की फर्म पर अंकित सिंघल छाप रहा था एनसीईआरटी की अवैध किताबें

हापुड़ के धीरखेड़ा में अंकित सिंघल अपने ससुर सत्यप्रकाश गुप्ता की फर्म एसपी

By JagranEdited By: Publish:Sun, 19 Sep 2021 07:30 AM (IST) Updated:Sun, 19 Sep 2021 07:30 AM (IST)
ससुर की फर्म पर अंकित सिंघल छाप रहा था एनसीईआरटी की अवैध किताबें
ससुर की फर्म पर अंकित सिंघल छाप रहा था एनसीईआरटी की अवैध किताबें

सुशील कुमार, मेरठ। हापुड़ के धीरखेड़ा में अंकित सिंघल अपने ससुर सत्यप्रकाश गुप्ता की फर्म एसपी प्रिंटर्स के नाम से एनसीईआरटी की अवैध किताबें छाप रहा था। दिल्ली और एनसीआर में छह माह में करोड़ों की सप्लाई भी दी। हापुड़ पुलिस ने मौके से 27 लाख रुपये कीमत की किताबें बरामद की हैं। अंकित की तलाश में हापुड़ पुलिस ने न्यू हनुमानपुरी में उसके घर पर दबिश डाली लेकिन वह मकान का ताला लगाकर परिवार समेत फरार हो गया।

हापुड़ कोतवाली पुलिस ने खरखौदा के धीरखेड़ा में गोदाम पर छापा मारकर एनसीईआरटी की 27 लाख रुपये कीमत की अवैध किताबों के साथ छह लोगों को गिरफ्तार किया है। किताबों की छपाई न्यू अग्रवाल आफसेट के स्वामी गुड्डू अग्रवाल का भतीजा अंकित सिंघल कर रहा था। पुलिस जाच में सामने आया कि अंकित अपने ससुर परतापुर निवासी सत्यप्रकाश गुप्ता की फर्म एसपी प्रिंटर्स की आड़ में किताबें छाप रहा था।

एसपी हापुड़ दीपक भूकर ने बताया कि प्रिंटिंग प्रेस मालिक अंकित सिंघल न्यू हनुमानपुरी सिविल लाइन मेरठ निवासी है, जो प्रीत विहार नौचंदी के देवेंद्र से किताबों की छपाई कराता था। किताबों की बाइडिंग लिसाड़ीगेट के सिराज और इमरान करते थे।

पुलिस ने उसके ससुर सत्यप्रकाश गुप्ता से भी जानकारी ली है। पुलिस की जाच में सामने आ रहा है कि गुड्डू अग्रवाल ही अंकित से इस धंधे को करा रहा है। पुलिस गुड्डू और सत्यप्रकाश गुप्ता को भी मुकदमे में आरोपित बनाने जा रही है।

पिता की मौत के बाद शुरू किया था अवैध किताबों का धंधा : छह माह पहले पिता की मौत के बाद अंकित ने धीरखेड़ा में एनसीईआरटी की नकली किताबों की छपाई शुरू की। अंकित के चाचा गुड्डू अग्रवाल प्रीत विहार में न्यू अग्रवाल आफसेट चलाते हैं। देवेंद्र भी इस आफसेट पर काम करता था। न्यू अग्रवाल आफसेट की अवैध किताबें पहले भी लिसाड़ी गेट क्षेत्र में पकड़ी जा चुकी हैं।

किताबों का कनेक्शन तलाश रही पुलिस

एसटीएफ ने मेरठ के परतापुर और अमरोहा में एनसीइआरटी की अवैध किताबें पकड़ी थीं। हापुड़ पुलिस अंकित सिंघल का कनेक्शन उनसे जोड़कर देख रही है। एसपी हापुड़ दीपक भूकर ने बताया, आरोपितों की काल डिटेल में पहले आरोपित बना गए लोगों की काल देखी जा रही है। अभी तक ऐसा प्रमाण नहीं मिला है कि मेरठ में पकड़ी गई किताबों का कनेक्शन हापुड़ में पकड़ी गई किताबों से है। पूरे रैकेट का पर्दाफाश करने में पुलिस जुटी है।

------------------------------- एनसीईआरटी की नकली किताबें छापने की प्रिटिग प्रेस का पर्दाफाश

जागरण संवाददाता, हापुड़ : हापुड़-मेरठ की सीमा से सटे धीरखेड़ा औद्योगिक क्षेत्र में संचालित एनसीइआरटी की नकली किताबें छापने वाली एक प्रिटिग प्रेस का पुलिस ने पर्दाफाश किया है। पुलिस ने छह आरोपितों को गिरफ्तार किया है। अवैध ढंग से फैक्ट्री में एनसीईआरटी की नकली किताबें बनाई जा रही थी, जिन्हें देशभर में सप्लाई किया जा रहा था। फैक्ट्री से 27 लाख रुपये की कीमत की छपी व आधी छपी किताबें, एक कार, 15 डाई, स्याही के तीन डिब्बे व छपाई वाली मशीनें इत्यादि सामग्री बरामद हुई हैं।

सीओ सिटी वैभव पांडेय ने बताया कि शुक्रवार को मुखबिर ने सूचना दी थी कि धीरखेड़ा औद्योगिक क्षेत्र में संचालित प्रिटिग प्रेस में एनसीइआरटी की नकली किताबों की छपाई की जा रही है। सूचना के बाद कोतवाली प्रभारी निरीक्षक सोमवीर सिंह ने पुलिस टीम के साथ छापा मारा। हालांकि, यहां टीम के पहुंचने से पहले ही कुछ कर्मचारी फरार हो चुके थे,लेकिन टीम ने मौके से फैक्ट्री मालिक जनपद मेरठ के थाना लिसाड़ी गेट क्षेत्र के श्यामनगर पिलोखड़ी निवासी सिराज व थाना नौचंदी क्षेत्र के प्रीत विहार निवासी देवेंद्र सिंह, थाना लिसाड़ी गेट क्षेत्र के श्यामनगर निवासी इरफान, थाना किठौर क्षेत्र के गांव महलवाला निवासी अर्जुन, थाना ब्रह्मपुरी क्षेत्र के पूर्वा इलाही बख्श निवासी पवन सैनी व थाना खरखौदा क्षेत्र के गांव अतराड़ा निवासी मिलन को गिरफ्तार किया था।

लेकिन, प्रिटिग प्रेस का दूसरा मालिक मेरठ के हनुमानगढ़ी निवासी अंकित सिघल मौके से फरार हो गया था। मौके से तैयार किताबें व आधी छपी किताबों के बंडल मिले हैं। करीब 27 लाख रुपये की अलग-अलग कक्षाओं की किताबें हैं। एक दशक से एनसीईआरटी की किताबों की कापी कर देश भर में सप्लाई करने का काला कारोबार संचालित हो रहा था। पुलिस फरार आरोपित की तलाश कर रही है। पुलिस यह भी जांच कर रही है कि आखिर किसकी सह पर यह कारोबार फल फूल रहा था। जांच में जिनके नाम प्रकाश में आएंगे, उन्हें भी गिरफ्तार किया जाएगा।

छापेमारी के दौरान भी चल रहा था काम

सीओ ने बताया कि जिस समय छापेमारी की उस दौरान फैक्ट्री में काम चल रहा था। सभी प्रिटिग मशीनें चालू थीं। छापे के वक्त किताबों की छपाई और उनकी बाइंडिग का काम किया जा रहा था। एक दर्जन लोगों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था। हालांकि, कुछ लोगों के नाम पते दर्ज कर छोड़ दिया है। पुलिस ने गोदाम को सील कर दिया है। चौकी के पास छप रही थीं नकली किताबें, पुलिस को भनक नहीं: एनसीईआरटी की नकली किताबों का धंधा धीरखेड़ा चौकी के पास हापुड़ रोड पर सड़क किनारे एक गोदाम में चल रहा था। हापुड़ पुलिस ने छापा मारकर कार्रवाई करते हुए 21 हजार किताबें बरामद करके छह युवकों को गिरफ्तार कर लिया। चौकी के पास इस धंधे को चलते हुए कई दिन हो गए थे, लेकिन खरखौदा पुलिस को भनक तक नहीं लगी। इससे खरखौदा पुलिस की कार्यशैली पर कई सवाल खड़े हो रहे हैं।

मेरठ में एनसीईआरटी की नकली किताबें छापने का बीते वर्ष भी राजफाश हुआ था। अब खरखौदा थाना क्षेत्र की धीरखेड़ा चौकी के पास गोदाम में नकली किताबों का जखीरा मिला है। सूत्रों के अनुसार आरोपित धीरखेड़ा में किताबों की छपाई करके दिल्ली समेत आसपास के शहरों में भेजते थे।

इन्होंने कहा-

छह युवकों को गिरफ्तार कर लिया गया है। अलीगढ़ से डाई लाकर मेरठ निवासी अंकित सिंघल ने श्यामनगर निवासी सिराज के साथ मिलकर नकली किताबों का धंधा शुरू किया था। 21 हजार किताबें बरामद की गई हैं।

-सोमवीर सिंह, इंस्पेक्टर कोतवाली हापुड़

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