अवराडांड़ में घाघरा लाल निशान के ऊपर, दहशत में लोग
मैदानी व पहाड़ी जगहों पर हो रही निरंतर बरसात और पहाड़ी नदियों के उफनाने के वजह से घाघरा नदी के जलस्तर में निरंतर वृद्धि हो रही है। बढ़ते जलस्तर का हाल यह कि दोहरीघाट क्षेत्र के अवराडांड में नदी का जलस्तर खतरा बिदु को पार कर गया। नदी की लहरें यहां लाल निशान से 05 सेंमी ऊपर उफना रही है।
जागरण संवाददाता, दोहरीघाट (मऊ) : मैदानी व पहाड़ी जगहों पर हो रही निरंतर बरसात और पहाड़ी नदियों के उफनाने के वजह से घाघरा नदी के जलस्तर में निरंतर वृद्धि हो रही है। बढ़ते जलस्तर का हाल यह कि दोहरीघाट क्षेत्र के अवराडांड़ में नदी का जलस्तर खतरा बिदु को पार कर गया। नदी की लहरें यहां लाल निशान से 05 सेमी ऊपर उफना रही है। हालांकि दोहरीघाट कस्बे में घाघरा का जलस्तर अभी खतरा बिदु से 45 सेंटीमीटर नीचे है। नदी के रौंद्र रूप से निकटवर्ती गांवों में खलबली मच गई है। लोग एक बार फिर बाढ़ की विभीषिका झेलने के लिए तैयारियों में जुटे हैं।
बुधवार की दोपहर 12 बजे कस्बे के गौरीशंकर घाट पर नदी का जलस्तर 69.45 मीटर पहुंच गया है। यहां खतरा बिदु 69.90 मीटर है। नदी में पानी बढ़ने से तटवर्ती इलाके की फसलें जलमग्न हो गई हैं। बरसात के चलते ताल तलैयों में पानी भर गया है। नदी का जलस्तर ऊपर होने के नाते ताल-तलैयों का पानी नदी की ओर नहीं जा पा रहा है। इससे वह खेतों में जाम पड़ा हुआ है। फलस्वरूप धान की फसल डूबने की कगार पर है। क्षेत्र के रामनगर, बीबीपुर, बेलौली, नवली, रामपुर, धनौली, ठाकुरगांव, बीबीपुर, गौरीडीह, गोधनी, सरयां, पुरमोती, नई बाजार, कीर्तिपुर, भैंसाखरग, रसूलपुर आदि के किसान काफी मायूस हैं। घाघरा के तटवर्ती इलाकों के किसानों की फसल डूबने की कगार पर पहुंच चुकी हैं। खेतों का पानी निकल नहीं रहा है क्योंकि नदी का जलस्तर चढ़ चुका है। तटवर्ती इलाकों के लोगों में बेचैनी छाई हुई है। घाघरा का जलस्तर रामनगर अवराडांड में भी दोपहर 12 बजे लाल निशान के ऊपर हो गया। वहां खतरा बिदु 70.40 मीटर है। यहां नदी लाल निशान के 05 सेंटीमीटर ऊपर पहुंच चुकी है। घाघरा के तटवर्ती इलाकों में बाढ़ आने का खतरा बढ़ता जा रहा है।