अखिलेश रहें स्वस्थ, तेजप्रताप को पीएम पर टिप्पणी का अधिकार नहीं

कुछ नेताओं को हजम नहीं हो रही किसानों की तरक्की

By JagranEdited By: Publish:Sun, 17 Jan 2021 06:38 AM (IST) Updated:Sun, 17 Jan 2021 06:38 AM (IST)
अखिलेश रहें स्वस्थ, तेजप्रताप को  
पीएम पर टिप्पणी का अधिकार नहीं
अखिलेश रहें स्वस्थ, तेजप्रताप को पीएम पर टिप्पणी का अधिकार नहीं

जासं, मथुरा: कोरोना की वैक्सीन लगवाने को लेकर सूबे के पूर्व सीएम अखिलेश यादव पर कैबिनेट मंत्री लक्ष्मी नारायण चौधरी ने तंज कसा। कहा कि वह हमेशा स्वस्थ रहें और उनको वैक्सीन न लगे। पहले प्रधानमंत्री के वैक्सीन लगाने बयान को लेकर बिहार के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री तेजप्रताप पर भी निशाना साधा। कहा कि दो बार के एमएलए को प्रधानमंत्री पर टिप्पणी करने का कोई अधिकार नहीं है।

उपकृषि निदेशक कार्यालय परिसर में आयोजित कृषि मेले में कैबिनेट मंत्री लक्ष्मी नारायण चौधरी ने कहा, दिल्ली सीमा पर जो किसान धरने पर बैठे हैं, वह बैठे रहें। वह कृषि सुधार के कानूनों को मानें या न मानें। कृषि के पुराने कानून से कुछ भी नहीं हटाया गया है। नए कृषि सुधार कानूनों में प्रधानमंत्री ने इतना जोड़ा है कि किसानों को अपनी उपज को देश के किसी भी हिस्से में बेचने की छूट दे दी है। पहले से प्राइवेट एजेंसी खरीद करती आ रही हैं और कर रही हैं। अंतर सिर्फ इतना है, अब प्राइवेट एजेंसी को किसान के खलिहान और घर से कृषि उत्पाद खरीदने पर टैक्स नहीं देना पड़ेगा। पहले मंडी में 2.5 फीसद शुल्क देना पड़ता था। अब उस टैक्स का कुछ हिस्सा किसान को मिलेगा। मंत्री ने कहा, 20 हजार करोड़ रुपये प्रधानमंत्री ने मत्स्य पालन को दिए हैं। इसमें युवाओं की रुचि बढ़ रही है। दूध का उत्पादन बढ़ा है। भारत में सर्वाधिक दूध का उत्पादन प्रदेश में हो रहा है। मेले को पंडित दीनदयाल उपाध्याय पशु चिकित्सा विज्ञान विश्वविद्यालय एवं गो अनुसंधान संस्थान के कुलपति डा. जीके सिंह ने संबोधित किया। उन्होंने कृषि के साथ-साथ पशुपालन करने का अर्थशास्त्र किसानों को समझाया। उपकृषि निदेशक धुरेंद्र कुमार, उपकृषि निदेशक शोध तेजवीर सिंह तेवतिया, कृषि रक्षा अधिकारी विभाति चतुर्वेदी, कृषि विज्ञानी डा. एसके मिश्रा, डा. वाईके शर्मा ने भी किसानों को सरकारी योजना, फसल प्रबंधन और रोगों के बचाव के उपाय बताए।

--किसानों ने उठाया एमएसपी का मुद्दा : नगला ग्यासी के किसान रामजीलाल ने मंत्री के समक्ष बाजरा और गेहूं की इस बार न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीद नहीं होने का मुद्दा उठाया। बरसाना के एक किसान ने फसल बीमा नहीं मिलने की बात रखी। मंत्री ने कहा, पिछले साल धान, मक्का, सरसों और बाजना न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीदा गया था। मगर, इस बार कोरोना काल के कारण के दिक्कत आई है। फसल बीमा को लेकर मंत्री ने कहा, वह कृषि अधिकारियों से मिलकर पैरवी करें, ताकि उनको बीमा मिल जाएगा।

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